आपके बच्चों को मिला यहां एंट्री तो नौसेना में मिल जाएगी नौकरी!

Indian Navy College: बच्चों की पढ़ाई को लेकर पैरेंट्स को चिंता रहती है कि उन्हें कहां से दाखिला दिलाया जाए, जिससे उनका भविष्य उज्जवल और सुरक्षित रहे. ऐसे ही कॉलेज के बारे में बताने जा रहे हैं, जहां एंट्री मिलने पर नेवी में नौकरी पा सकते हैं.

आपके बच्चों को मिला यहां एंट्री तो नौसेना में मिल जाएगी नौकरी!
Indian Navy College: अक्सर पैरेंट्स को चिंता रहती है कि अपने बच्चों को कहां से पढ़ाई करवाया जाए, ताकिं उनका भविष्य सुरक्षित और उज्जवल हो. ऐसे कॉलेज की तलाश हर पैरेंट्स को होती है. अगर आप भी ऐसे कॉलेज तलाश रहे हैं, तो आपके लिए एक कॉलेज के बारे में बताने जा रहे हैं, जहां से 12वीं के बाद यहां दाखिला पा सकते हैं. एक बार यहां दाखिला मिलने पर नौकरी पाने की संभावना बढ़ जाती है. हम जिस कॉलेज के बारे में बात कर रहे हैं, उसका नाम INS Chilka है. क्या है INS Chilka आईएनएस चिल्का भारतीय नौसेना का प्रमुख संस्थान है, जो नव-भर्ती अग्निवीरों को प्रारंभिक प्रशिक्षण प्रदान करता है. यह संस्थान व्यापक और बेसिक ट्रेनिंग प्रोग्रामों के माध्यम से युवा नौसैनिकों को तैयार करता है. वर्षों के दौरान आईएनएस चिल्का ने अपनी ट्रेनिंग सिस्टम को न केवल एडवांस्ड किया है, बल्कि इसे आधुनिक तकनीकी आवश्यकताओं और नौसेना की चुनौतियों के अनुरूप ढाला भी है. यहां ट्रेनिंग की प्रक्रिया का उद्देश्य केवल तकनीकी ज्ञान प्रदान करना नहीं है, बल्कि नए अग्निवीरों को मानसिक, शारीरिक और आत्मिक रूप से ‘समुद्री योद्धा’ बनने के लिए तैयार करना है. इस केंद्र में ट्रेनिंग के दौरान व्यक्तियों की क्षमताओं को उभारने और सही दृष्टिकोण विकसित करने पर जोर दिया जाता है. ऐसे मिलता है एडमिशन भारतीय नौसेना के ट्रेनिंग कॉलेज आईएनएस चिल्का में दाखिला के लिए सबसे पहले उम्मीदवारों को 12वीं पास होना चाहिए. इसके बाद उन्हें अग्निवीर (SSR/MR) के लिए आवेदन करना होगा. जब इस भर्ती प्रक्रिया को पूरा कर लेते हैं, तब उन्हें INS चिल्का में भेजा जाता है. इसके बाद उनका ट्रेनिंग शुरू होता है. यहां फाइनल रूप से सेलेक्शन डॉक्यूमेंट्स की शुद्धता, मेडिकल फिटनेस, पुलिस वेरिफिकेशन सर्टिफिकेट आदि के अधीन होगा. डिवीजनों में मिलती है एजुकेशन प्रशासन की आसानी और उनमें कंपीटेटिव भावना विकसित करने के लिए ट्रेनी को दस डिवीजनों में संगठित किया जाता है. प्रत्येक डिवीजन में 200 ट्रेनी होते हैं और इसका नेतृत्व लेफ्टिनेंट कमांडर या लेफ्टिनेंट रैंक के डिवीजनल कमांडर द्वारा किया जाता है. एक मास्टर चीफ पेटी ऑफिसर और चार से पांच चीफ पेटी ऑफिसर/पेटी ऑफिसर/लीडिंग डिवीजन के प्रशासन में डिवीजनल कमांडर की सहायता करते हैं. डिवीजनों का नाम भारतीय पौराणिक कथाओं और इतिहास के नायकों के नाम पर रखा गया है. इन विषयों की मिलती है शिक्षा सर्विस सब्जेक्ट एकेडमिक्स आउटडोर ट्रेनिंग एक्स्ट्रा करिकुलम ये भी पढ़ें… UGC NET एग्जाम डेट में क्या हो सकता है बदलाव? कनिमोझी ने शिक्षा मंत्री को लिखा पत्र, पढ़ें यहां पूरा मामला CBSE CTET आंसर की ctet.nic.in पर जल्द, ऐसे आसानी से कर पाएंगे डाउनलोड Tags: College education, Education news, Indian navyFIRST PUBLISHED : December 22, 2024, 16:21 IST jharkhabar.com India व्हॉट्सऐप चैनल से जुड़ें
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