भिखारी समझ जिन्हें पिलाया पानी हकीकत पता चली तो सन्न रह लोग

Emotional Story : पिछले 15 दिन में उत्तर प्रदेश के दो शहरों वाराणसी और कानपुर से दिल को झकझोर देने वाली कहानियां सामने आईं. दोनों कहानियों में मानवता जीत गई. भिखारी समझकर लोगों ने मदद की. जब हकीकत पता चली तो होश उड़ गए. यकीन ही नहीं हुआ कि जिंदगी में ऐसा कुछ हो सकता है.

भिखारी समझ जिन्हें पिलाया पानी हकीकत पता चली तो सन्न रह लोग
वाराणसी/कानपुर. पिछले 15 दिन में उत्तर प्रदेश के दो अलग-अलग शहरों से एक जैसी कहानियां सामने आईं. दोनों ही कहानियों में मानवता जीत गई. दोनों ही कहानियां दो युवकों से जुड़ी हैं जो बहुत ही दयनीय हालत में मिले थे. भिखारी समझकर समाजसेवी और पुलिस ने मदद की तो झकझोर देने वाली कहानी सामने आई. पहली कहानी वाराणसी से है. यहां एक रेस्टोरेंट में बर्तन धोकर पेट पाल रहे एक जवान को ‘अपना घर’ आश्रम के समाजसेवी संजय पाल लेकर आए. लगातार इलाज करवाया तो युवक ने अपना पता तमिलनाडु में बताया. दक्षिण भारतीय अप्पसामी संस्था के अरुण कुमार ने युवक के घर पर संपर्क किया. पता चला कि युवक भारतीय सशस्त्र सुरक्षा बल का जवान है. मानसिक स्थिति खराब होने की वजह से घर गुमशुदा थे. परिजनों ने तमिलनाडु में गुमशुदगी की रिपोर्ट भी दर्ज कराई थी. बाद में तमिलनाडु से आए परिजन जवान प्रभु को अपने साथ ले गए. दूसरी कहानी उत्तर प्रदेश के औरेया जिले के बिधूना तहसील के समायन गांव के एक युवक से जुड़ी है जो दो साल पहले लापता हो गया था. युवक के घर वापसी की कहानी भावुक कर देने वाली है. 27 अप्रैल 2024 की रात 8 बजे कानपुर सेंट्रल रेलवे स्टेशन के प्लेटफॉर्म नंबर एक पर एक थका-मांदा, बढ़ी हुई दाढ़ी वाला युवक पानी की तलाश में कूड़ेदान के पास खड़ा था. आरपीएफ की टीम ने भिखारी समझकर उसे पानी पिलाया. पानी पीने के बाद युवक कें मुंह से अंग्रेजी के शब्द ‘थैंक्यू वेरी मच’ निकला जिसे सुनकर आरपीएफ टीम चौंक गई. पुलिस टीम ने उसका नाम पता पूछा. युवक ने अपनी जो आपबीती सुनाई, उसे सुनकर अधिकारियों को एक पल के लिए तो यकीन ही नहीं हुआ. युवक ने अपना नाम महावीर बताया. यह भी बताया कि वह ग्रेजुएट है और औरेया जिले के बिधूना कस्के के समायन गां का रहने वाला है और दक्षिण भारत के किसी स्थान से कई ट्रेन बदलकर कानपुर तक पहुंचा है. बकौल महावीर ’26 जून 2022 को वह रुपये निकालने के लिए बिधूना के किसी एटीएम बूथ में गया था. एटीएम से पैसे नहीं निकले तो अपने दोस्त के यहां से आधार कार्ड के लिए कियोस्क से पैसे निकाले. वापसी में बस स्टॉप के पास जब वह गांव जाने के लिए गाड़ी का इंतजार कर रहा था, तभी एक चार पहिया वाहन उसके पास आया. दो व्यक्ति कार से उतरे और उसे पीछे से जकड़ लिया. उसके मुंह पर रुमाल रख दिया. जब उसे होश आया तो उसने अपने आपको एक बाथरूम में बंद पाया. फिर उसे एक कमरे में बंद कर दिया गया. उसके पैसे छीन लिए गए और एटीएम पिन पूछा गया. उसके साथ बहुत मारपीट की गई. फिर उसे दो साल तक बंधुआ रूप से मजदूरी करवाई गई. युवक ने बताया कि उनकी बातचीत से ऐसा लगा कि जैसे वह साउथ इंडिया में किसी जगह पर था. किसी तरह उनके चंगुल से भागा. कई दिनों तक पैदल चलने के बाद छोटे से रेलवे स्टेशन पर पहुंचा. वहां से कई ट्रेनें बदलकर दरभंगा पहुंचा. दरभंगा से कानपुर आया. आरपीएफ ने साधा युवक के परिजनों से संपर्क युवक महावीर की आपबीती सुनकर अधिकारी सन्न रह गए. उन्होंने महावीर से उसके घर के सदस्यों का मोबाइल नंबर पूछा. युवक ने चचेरे भाई रवीन्द्र सिंह का मोबाइल नंबर बताया. रवींद्र सिंह फिलहाल गुरुग्राम में रहता है. अधिकारियों ने जब रवींद्र सिंह की बात महावीर से करवाई तो दोनों की आंखों में आंसू आ गए. Tags: Kanpur news, Shocking news, UP news, Varanasi newsFIRST PUBLISHED : May 7, 2024, 19:43 IST jharkhabar.com India व्हॉट्सऐप चैनल से जुड़ें
Note - Except for the headline, this story has not been edited by Jhar Khabar staff and is published from a syndicated feed