पत्थरबाजों को करेंगे रिहा जद-यू ने कश्मीर चुनाव में BJP से अलग रुख अपनाया
पत्थरबाजों को करेंगे रिहा जद-यू ने कश्मीर चुनाव में BJP से अलग रुख अपनाया
Jammu Kashmir Elections: कश्मीर के विधानसभा चुनाव में सहयोगी बीजेपी से अलग रुख अपनाते हुए जद-यू ने पत्थरबाजों और राजनैतिक कैदियों की रिहाई का वादा अपने चुनावी घोषणा-पत्र में किया है. जबकि केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह कह चुके हैं कि पत्थरबाजों के साथ कोई रियायत नहीं बरती जाएगी.
नई दिल्ली. केंद्र में बीजेपी की अगुवाई वाले एनडीए के एक प्रमुख सहयोगी जनता दल (यूनाइटेड) ने जम्मू-कश्मीर में आगामी विधानसभा चुनाव के लिए अपने घोषणापत्र में पत्थरबाजों और राजनीतिक कैदियों की रिहाई का वादा किया है. कश्मीर के चुनाव में बीजेपी से अलग रुख अपनाते हुए जद-यू ने 18 सितंबर को होने वाले पहले चरण के मतदान के लिए दो उम्मीदवार मैदान में उतारे हैं. पार्टी का दावा है कि व्यवस्था से असंतुष्ट कई उम्मीदवार दूसरे चरण में चुनाव लड़ रहे हैं, जिसके लिए 25 सितंबर को मतदान होगा. जद-यू ने अपने घोषणापत्र में कहा कि ‘शांति और सुलह को बढ़ावा देने के लिए राजनीतिक कैदियों और पत्थरबाजों की रिहाई के साथ ही उन पर चलाए जा रहे मामलों की समीक्षा होगी.’
जद-यू की स्टेट यूनिट ने यह भी दावा किया है कि उसने केंद्रीय गृह मंत्रालय को पत्थरबाजों के मामलों की जांच करने और उन्हें जेलों से रिहा करने के लिए पत्र लिखा है. जद-यू के प्रदेश अध्यक्ष जीएम शाहीन ने कहा कि ‘हमारे पास घाटी के विभिन्न इलाकों से 840 पत्थरबाजों के बारे में जानकारी है, जो जेलों में सड़ रहे हैं. उन पर या तो नेशनल कॉन्फ्रेंस या पीपुल्स डेमोक्रेटिक पार्टी के सत्ता में रहने के दौरान मामला दर्ज किया गया था.’ उन्होंने आरोप लगाया कि पिछली सरकारें सांठगांठ में शामिल थीं और पैसे के लिए युवाओं को गिरफ्तार करती थीं. जिसके कारण उन्हें गृह मंत्रालय से मामलों की समीक्षा करने की मांग करनी पड़ी.
जद-यू का रुख बीजेपी से अलग
जद-यू के प्रदेश अध्यक्ष जीएम शाहीन ने कहा कि ‘हमने अपने लोगों को उनकी रिहाई का वादा किया है और पार्टी केंद्र के साथ इस पर सक्रिय रूप से काम कर रही है. हमने राजनीतिक कैदियों के लिए भी सरकार से हस्तक्षेप करने की मांग की है.’ जद-यू का रुख इस मुद्दे पर भाजपा के रुख से कई मायनों में अलग है. हाल ही में जारी पार्टी घोषणापत्र में, जनता दल (यूनाइटेड) ने जम्मू-कश्मीर को एक अग्रणी राज्य में बदलने और इसके सभी निवासियों के लिए समृद्धि और सम्मान सुनिश्चित करने की प्रतिबद्धता जताई है.
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आतंकी इको-सिस्टम खत्म
गौरतलब है कि केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने पहले ही कहा था कि जम्मू-कश्मीर में आतंकवादियों के किसी भी परिवार के सदस्य या पत्थरबाजों के किसी भी करीबी रिश्तेदार को सरकारी नौकरी नहीं दी जाएगी. मई में न्यूज एजेंसी पीटीआई को दिए एक इंटरव्यू में केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने दावा किया था कि नरेंद्र मोदी सरकार ने न केवल आतंकवादियों को निशाना बनाया है, बल्कि आतंकी इको-सिस्टम को भी खत्म कर दिया है. जिससे देश भर में आतंकी घटनाओं में उल्लेखनीय कमी आई है.
Tags: Assembly elections, Jammu kashmir, Jammu Kashmir Election, Jammu kashmir election 2024FIRST PUBLISHED : August 31, 2024, 14:46 IST jharkhabar.com India व्हॉट्सऐप चैनल से जुड़ें Note - Except for the headline, this story has not been edited by Jhar Khabar staff and is published from a syndicated feed