राममंदिर प्राण प्रतिष्ठा में खाया तिरुपति से आया प्रसाद तो यहां लीजिए पंचगव्य

Panchgavya Distribut in Ayodhya: पंचगव्य जो गाय के मूत्र, घी, दही, गोबर और दूध से तैयार किया जाता है. इसका इस्तेमाल अपवित्र आत्मा और शरीर को पवित्र करने के लिए किया जा रहा है. फिलहाल, इसे अयोध्या में बांटा जा रहा है. लेकिन भविष्य में इसे प्रदेश और फिर देशभर में घर-घर जाकर लोगों को सेवन कराया जाएगा. ताकि प्रसाद ग्रहण करने वाले किसी भी प्रकार की दिक्कत से बच सकें.

राममंदिर प्राण प्रतिष्ठा में खाया तिरुपति से आया प्रसाद तो यहां लीजिए पंचगव्य
अयोध्या: तिरुपति बालाजी मंदिर के प्रसाद से जुड़ा विवाद थमने का नाम नहीं ले रहा है. हाल ही में ज्योर्तिमठ के शंकराचार्य अविमुक्तेश्वरानंद ने अयोध्या में एक घोषणा की थी, जिसमें उन्होंने कहा कि जिन लोगों ने तिरुपति बालाजी का प्रसाद ग्रहण किया है, उन्हें पंचगव्य पिलाया जाएगा ताकि वे “शुद्ध” हो सकें. इसी कड़ी में, अयोध्या के सरयू तट पर स्टॉल लगाकर लोगों को पंचगव्य का सेवन कराया गया. गोध्वज यात्रा के साथ अयोध्या पहुंचे शंकराचार्य जगद्गुरु स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद के निर्देश पर धर्मसेना प्रमुख संतोष दुबे ने इस पहल का नेतृत्व किया. दुबे ने बताया कि तिरुपति मंदिर के प्रसाद में आपत्तिजनक सामग्री जैसे गाय की चर्बी मिलने की खबरें सामने आई हैं. रामलला की प्राण प्रतिष्ठा के दौरान भी तिरुपति से आए प्रसाद का वितरण किया गया था, जिससे प्रसाद ग्रहण करने वाले लोग पाप बोध से ग्रस्त हो गए थे. उन्हें इस पाप बोध से मुक्त करने और पवित्र करने के उद्देश्य से पंचगव्य पिलाया गया. पंचगव्य के वितरण का उद्देश्य संतोष दुबे ने बताया कि पंचगव्य जो गाय के मूत्र, घी, दही, गोबर और दूध से तैयार किया जाता है. इसका इस्तेमाल अपवित्र आत्मा और शरीर को पवित्र करने के लिए किया जा रहा है. फिलहाल, इसे अयोध्या में बांटा जा रहा है. लेकिन भविष्य में इसे प्रदेश और फिर देशभर में घर-घर जाकर लोगों को सेवन कराया जाएगा. ताकि प्रसाद ग्रहण करने वाले किसी भी प्रकार की दिक्कत से बच सकें. घर-घर पहुंचाया जाएगा पंचगव्य आगामी दिनों में पंचगव्य को एक सीसी में भरकर लोगों के घर-घर जाकर दिया जाएगा, ताकि जो भी लोग तिरुपति बालाजी का प्रसाद ग्रहण कर चुके हैं, वे इस प्रक्रिया से गुजरकर “शुद्ध” हो सकें. Tags: Ayodhya News, Local18FIRST PUBLISHED : September 25, 2024, 16:08 IST jharkhabar.com India व्हॉट्सऐप चैनल से जुड़ें
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