बिहार में इन दिनों जमीन सर्वे का काम चल रहा है. लोगों से डॉक्यूमेंट जमा करवाए जा रहे हैं, ताकि सरकारी रिकॉर्ड को ठीक किया जा सके. लेकिन सबसे बड़ी दिक्कत ये है कि जमीन का मालिकाना हक पेश करने के लिए लोगों को खतियान, केवाला से लेकर और भी कई तरह के दस्तावेज दिखाने पड़ रहे हैं. इसे निकलवाने में काफी परेशानी हो रही है. इससे नीतीश सरकार भी टेंशन में है और जल्द कोई बड़ा फैसला ले सकती है.
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, बिहार के राजस्व मंत्री डॉ. दिलीप जायसवाल ने कुछ दिनों पहले लोगों को भरोसा दिया था कि कागजात जमा करने के लिए उन्हें और वक्त दिया जाएगा. तीन महीने और मिल सकते हैं. लेकिन विभाग के अधिकारी इससे संतुष्ट नहीं हैं. उनका मानना है कि सिर्फ तीन महीना बढ़ाने से दिक्कतें दूर नहीं हो पाएंगे. इसे कम से कम चार या साढ़े चार महीना कर देना चाहिए.
सबसे बड़ी दिक्कते ये है कि बिहार विशेष सर्वेक्षण एवं बंदोबस्त नियमावली, 2012 के नियम 3 (1) के तहत लोगों को जमीन के कागजात के साथ एक स्व-घोषणा पत्र भी देना है. अफसरों के मुताबिक, यही सबसे बड़ी परेशानी का सबब है. सरकार भी जान रही है कि इसमें दिक्कतें आ रही हैं. इसलिए सरकार इस पर गंभीरता से विचार कर रही है. सरकार मानती है कि अगर लोगोंं को कुछ वक्त और मिल जाए, तो वे सारे कागजात जमा कर देंगे. लेकिन जनता को हो रही दिक्कत को लेकर सरकार कोई बड़ा फैसला भी ले सकती है.
सर्वे के कागज जुटाने के लिए लोग इतने परेशान हैं कि सभी जिलों के अभिलेखागारों में रोज भारी भीड़ उमड़ रही है. पुराने कागजात निकलवाने के लिए लोग लाइन लगा रहे हैं. हजारों रुपये खर्च कर रहे हैं. इसके बावजूद कई लोगों को इंतजार करना पड़ रहा है. सूत्रों के मुताबिक, सरकार को भी इसके बारे में जानकारी है. इसलिए कुछ मुद्दों पर गंभीरता से विचार किया जा रहा है. हो सकता है कि कुछ दिनों में सरकार इसपर बड़ा फैसला ले ले.
Tags: Bihar latest news, CM Nitish Kumar, Nitish kumar, Patna News UpdateFIRST PUBLISHED : September 27, 2024, 02:11 IST jharkhabar.com India व्हॉट्सऐप चैनल से जुड़ें Note - Except for the headline, this story has not been edited by Jhar Khabar staff and is published from a syndicated feed