कावेरी ट्रेन में महिलाएं करती रहीं मिन्नतें मनमानी करते रहे पुरुष पैसेंजर
कावेरी ट्रेन में महिलाएं करती रहीं मिन्नतें मनमानी करते रहे पुरुष पैसेंजर
Indian Railway News: इंडियन रेलवे की ओर से पैसेंजर्स की सुरक्षा के लिए तमाम तरह के कदम उठाने का दावा किया जाता है. लेकिन, तमिलनाडु में ऐसा मामला सामने आया है, जिससे रेलवे के इन दावों पर गंभीर सवाल खड़े होते हैं.
चेन्नई/मैसूर. इंडियन रेलवे की गिनती दुनिया के विशालतम रेल नेटवर्क में होती है. मैदानी से लेकर पर्वतीय और शहर से लेकर ग्रामीण क्षेत्रों तक इसका विस्तार है. ऐसे में रेल यात्रियों और रेलवे की संपत्तियों की सुरक्षा को सुनिश्चित करना एक बड़ी चुनौती है. रेलवे सुरक्षाबल (RPF) राजकीय रेल पुलिस (GRP) के जवानों के कंधों पर महत्वपूर्ण जिम्मेदारी रहती है. इंडियन रेलवे सिक्योरिटी को लेकर काफी सतर्क और चौकस रहता है. इसके बावजूद कई बार ऐसे मामले सामने आते हैं, जिससे जीआरपी और आरपीएफ की सजगता पर सवाल उठ जाते हैं. तमिलनाडु में ऐसी ही एक घटना सामने आई है. महिला पैसेंजर्स के साथ रनिंग ट्रेन में बदसलूकी की गई. पीड़ित महिलाओं का आरोप है कि उनकी तरफ से गुहार लगाने के बावजूद उनकी सुरक्षा के लिए कोई भी सामने नहीं आया.
जानकारी के अनुसार, महिला यात्रियों के साथ चलती ट्रेन में बदसलूकी का यह मामला मैसूर-चेन्नई रेलवे सेक्शन से जुड़ा है. महिलाओं का एक ग्रुप मैसूर-चेन्नई कावेरी एक्सप्रेस (ट्रेन संख्या 16022) से ट्रैवल कर रहा था. तमिलनाडु कांग्रेस कमेटी की ओबीसी विंग की महासचिव दिव्या मरुंथिया और 4 अन्य महिलाएं इस ग्रुप में शामिल थीं. यह मामला 24 नवंबर 2024 की है. जब वह कावेरी एक्सप्रेस में सवार हुईं तो उन्होंने पाया की उनकी सीट पर तकरीबन 10 पुरुष यात्री पहले से ही बैठे हैं. उनका दावा है कि इन सभी पैसेंजर्स के पास वैलिड टिकट भी नहीं था. दिव्या ने उन सभी से सीट छोड़ने को कहा. आरोप है कि इन यात्रियों ने रिजर्व्ड कंपार्टमेंट को छोड़ने से इनकार कर दिया और उनके साथ बदसलूकी की. आरोपियों पर गाली-गलौज करने का भी आरोप है.
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कब क्या हुआ?
दिव्या ने बताया कि वह अपने महिला साथियों के साथ रात में तकरीबन 9:30 बजे कावेरी एक्सप्रेस ट्रेन के S-1 कोच में सवार हुईं थीं. उन्होंने बताया कि तकरीबन 6 बेटिकट यात्रियों ने कंपार्टमेंट और उनकी सीट को छोड़ने से इनकार कर दिया. दिव्या का कहना है कि इन पुरुष यात्रियों ने कहा कि उन्हें मांड्या जाना है और उससे पहले वह वहां से नहीं उठेंगे. जब महिला यात्रियों ने सीट छोड़ने की मिन्नतें की तो उनमें से एक धमकी देना और अगले स्टेशन पर अपने लोगों को बुलाने की धमकी देने लगा. रात के तकरीबन 10:10 बजे दिव्या ने चेन पुलिंग कर ट्रेन को रोक दी. इसके बाद पुलिसवाले आए लेकिन उन्होंने कथित तौर पर हस्तक्षेप करने से मन कर दिया.
GRP-RPF नदारद, TTE का भी पता नहीं
ट्रेन रुकते ही मौके पर सुरक्षाबल का एक जवान पहुंचा. दिव्या का आरोप है कि उन्होंने इस मामले में हस्तक्षेप करने से मना कर दिया. ‘द न्यूज मिनट’ की रिपोर्ट के अनुसार, वर्दी में पहुंचा शख्स RPF जवान लग रहा था, जिन्होंने चिल्लाकर कहा कि वह कुछ नहीं कर सकते हैं. हैरत वाली बात यह है कि यह पूरी घटना तकरीबन डेढ़ घंटे तक चली, लेकिन TTE कहीं नहीं दिखे. दिव्या ने बताया कि उन्होंने विभिन्न हेल्पलाइन नंबर पर मदद के लिए कॉल भी किया, लेकिन वही रटा-रटाया जवाब मिला. इस पूरे वाकये के दौरान आरपीएफ से लेकर जीआरपी तक के जवानों की तरफ से कोई कदम नहीं उठाया गया.
Tags: Chennai news, Indian Railway newsFIRST PUBLISHED : November 29, 2024, 16:21 IST jharkhabar.com India व्हॉट्सऐप चैनल से जुड़ें Note - Except for the headline, this story has not been edited by Jhar Khabar staff and is published from a syndicated feed