इंदौर में इस दिन होगा महंत नृत्य गोपाल दास का सम्मान स्वागत में उमड़ेगा शहर

महापौर पुष्यमित्र भार्गव एवं पूर्व विधायक आकाश विजयवर्गीय के मुताबिक, श्रीराम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र और श्रीकृष्ण जन्मभूमि न्यास के अध्यक्ष महंत नृत्य गोपाल दास 24 अगस्त को इंदौर आएंगे.

इंदौर में इस दिन होगा महंत नृत्य गोपाल दास का सम्मान स्वागत में उमड़ेगा शहर
इंदौर: मध्य प्रदेश के इंदौर में पहली बार अयोध्या श्री राम मंदिर ट्रस्ट के अध्यक्ष महंत नृत्य गोपाल दास का स्वागत किया जाएगा. दरअसल, इंदौर नगर निगम और देव से महादेव नामक धार्मिक संस्था द्वारा आयोजित कार्यक्रम में महंत नृत्य गोपाल दास का सम्मान होगा. महापौर पुष्यमित्र भार्गव एवं पूर्व विधायक आकाश विजयवर्गीय के मुताबिक, श्रीराम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र और श्रीकृष्ण जन्मभूमि न्यास के अध्यक्ष महंत नृत्य गोपाल दास 24 अगस्त को इंदौर आएंगे. दिन में पितृ पर्वत पर पूजा-पाठ के बाद पौधरोपण करेंगे. शाम को उनका नागरिक अभिनंदन होगा. आगे बताया कि वह अपने साथ अयोध्या के राम मंदिर से अभिमंत्रित एक लाख रक्षा सूत्र भी लाएंगे. 25 अगस्त से पितृ पर्वत और अन्य मंदिरों से इनका वितरण किया जाएगा. अयोध्या में रामलला की प्राण प्रतिष्ठा एवं सनातन धर्म के प्रति दिए गए योगदान को लेकर देश के प्रमुख संतों और धर्माचार्यों की मौजूदगी में शाम 6 बजे सयाजी होटल की वृंदावन वाटिका में नगर निगम एवं देव से महादेव संस्था द्वारा महंत नृत्य गोपाल दास को सम्मानित किया जाएगा. शमी, पारिजात एवं तुलसी रोपेंगे आकाश विजयवर्गीय ने बताया कि गुरुदेव द्वारा पितृ पर्वत पर राम वन गमन पथ से जुड़े समस्त तीर्थों की पवित्र माटी एवं जल से शमी, पारिजात एवं तुलसी के पौधे रोपे जाएंगे. वे अयोध्या के श्रीराम मंदिर के ब्राह्मणों द्वारा राम रक्षा स्तोत्र से अभिमंत्रित एक लाख सिद्ध रक्षा सूत्र एवं प्रसाद भी लाएंगे, जिनका वितरण 25 अगस्त से किया जाएगा. श्रीकृष्ण जन्मस्थान सेवा संस्थान के प्रमुख भी महंत नृत्य गोपाल दास अयोध्या के मणि रामदास की छावनी के प्रमुख होने के साथ ही श्रीराम जन्मभूमि न्यास एवं श्रीराम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र के प्रमुख हैं. वह श्रीकृष्ण जन्मस्थान सेवा संस्थान के प्रमुख भी हैं. उनका जन्म 11 जून 1938 को यूपी के मथुरा के रहला गांव में हुआ था. 12 साल की उम्र में वह अयोध्या चले गए. अयोध्या में वह महंत राम मनोहर दास के शिष्य बन गए और वाराणसी में संस्कृत विश्वविद्यालय से शास्त्री की डिग्री के साथ स्नातक की उपाधि प्राप्त की. 1965 में वह श्री मणिराम दास छावनी (छोटी छावनी) के छठे महंत के उत्तराधिकारी बने. उन्हें रामायण भवन और श्री चार धाम मंदिर सहित मंदिरों के निर्माण का श्रेय दिया जाता है. वे 1984 से ही राम जन्मभूमि आंदोलन से सक्रिय रूप से जुड़े रहे हैं. 2006 में संभाला पद 2006 में रामचंद्र दास परमहंस के निधन के बाद महंत नृत्य गोपाल दास राम जन्मभूमि न्यास के प्रमुख का पद संभाल रहे हैं. राम मंदिर आंदोलन के उनके त्याग और समर्पण को भुलाया नहीं जा सकता. उन्हीं के नेतृत्व में 5 अगस्त 2020 को राम मंदिर निर्माण का मार्ग प्रशस्त हुआ. इसके बाद 22 जनवरी 2024 को उन्हीं की अगुवाई में राम मंदिर में रामलला की मूर्ति की प्राण प्रतिष्ठा हुई. Tags: Ayodhya ram mandir, Indore news, Local18FIRST PUBLISHED : August 22, 2024, 20:50 IST jharkhabar.com India व्हॉट्सऐप चैनल से जुड़ें
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