कभी कारखाने में की 2 हजार की नौकरी फिर शुरू किया यह काम बदल गई तकदीर!

मोती व्यापारी दिनेश गुप्ता ने बताया कि आज से लगभग 25 साल पहले उन्होंने एक मोती कारखाने में दो हजार रूपए महीने की नौकरी की थी. वहीं उनकी पत्नी भी एक प्राइवेट स्कूल में 800 रुपए की नौकरी करती थी. लेकिन जैसे जैसे उनका काम चलना शुरू हुआ, तो उनकी किस्मत भी बदल गई.

कभी कारखाने में की 2 हजार की नौकरी फिर शुरू किया यह काम बदल गई तकदीर!
धीर राजपूत/ फिरोजाबाद: इरादे अगर मजबूत हों तो एक न एक दिन मंजिल मिल ही जाती है. ऐसी ही कुछ कहानी है फिरोजाबाद के रहने वाले मोती व्यापारी की. बहुत ही छोटी उम्र में सिर से पिता का साया उठ गया, लेकिन फिर भी हौसला कम नहीं हुआ. गांव से पढ़ाई करने के बाद कुछ सालों तक एक कारखाने में नौकरी की. फिर मां ने खेत बेचकर पैसे दिए, तो उससे फैक्ट्री खोली और फिर पीछे मुड़कर नहीं देखा. मोती का काम धीरे धीरे चलने लगा तो सफलता के रास्ते खुल गए. आज उनका मोती का व्यापार पूरे देश में फैला है. कई राज्यों से उन्हे लाखों के ऑर्डर मिलते हैं. अपनी लगन और मेहनत से उन्होंने करोड़ों रुपए का व्यापार खड़ा कर लिया है. मां ने खेत बेचकर दिए थे पैसे तब शुरू किया मोती का व्यापार फिरोजाबाद के शिकोहाबाद में रहने वाले दिनेश गुप्ता ने लोकल 18 से बातचीत करते हुए अपने जीवन के संघर्ष की कहानी को बताया. उन्होंने कहा कि बचपन में ही उनके पिता का साया सिर से उठ गया था. गांव में ही रहकर उन्होंने प्राथमिक शिक्षा ग्रहण की. फिर उसके बाद वह शिकोहाबाद आकर रहने लगे. जहां उन्होंने पहले एक गारमेंट्स की दुकान खोली जो कुछ ही सालों में फेल हो गई और फिर उसे बंद कर एक मोती कारखाने में नौकरी की. तभी मां ने खेत बेचकर रूपयों के तीन हिस्से किए. जिनमें एक हिस्सा बड़े भाई को, दूसरा मुझे और तीसरा मां ने रखा. उनके हिस्से में 75000 रुपए आए थे. जिससे उन्होंने मोती फैक्ट्री की शुरुआत की थी. दिनेश गुप्ता ने बताया कि शुरुआत में उन्हें काफी उतार चढ़ाव देखने को मिले. उनके अपनों ने उनकी खूब टांग खींची. लेकिन वो हिम्मत नहीं हारे और आगे बढ़ते रहे. उनकी शादी होने के बाद उनकी पत्नी की भी सरकारी नौकरी लग गई. जिससे उनको और सहारा मिल गया. फिर उन्होंने जीवन में कभी भी पीछे मुड़कर नही देखा. आज उनका मोती का काम बहुत ही अच्छे से चल रहा है. उनके यहां तैयार होने वाला माल देश के कई राज्यों में जाता है.आज उनका करोड़ों का टर्न ओवर है. दो हजार रुपए में की थी कारखाने में नौकरी मोती व्यापारी दिनेश गुप्ता ने बताया कि आज से लगभग 25 साल पहले उन्होंने एक मोती कारखाने में दो हजार रूपए महीने की नौकरी की थी. वहीं उनकी पत्नी भी एक प्राइवेट स्कूल में 800 रुपए की नौकरी करती थी. लेकिन जैसे जैसे उनका काम चलना शुरू हुआ, तो उनकी किस्मत भी बदल गई. उन्हें  कई जगहों से लाखों के ऑर्डर मिलना शुरू हो गए. उनके मोती कारखाने में आज लगभग 400 लोग काम करते हैं. इसके साथ ही उन्होंने कहा कि उनका लगभग 7 करोड़ रुपए का टर्न ओवर है. Tags: Hindi news, Local18, Success StoryFIRST PUBLISHED : May 21, 2024, 12:17 IST jharkhabar.com India व्हॉट्सऐप चैनल से जुड़ें
Note - Except for the headline, this story has not been edited by Jhar Khabar staff and is published from a syndicated feed