Rajouri Attack : एक का आखिरी कॉल एक की हुई थी पिछले साल शादी पढ़िए राजौरी में शहीद हुए सैनिकों के पीछे छूट गए परिजनों की कहानी
Rajouri Attack : एक का आखिरी कॉल एक की हुई थी पिछले साल शादी पढ़िए राजौरी में शहीद हुए सैनिकों के पीछे छूट गए परिजनों की कहानी
Rajouri terror attack: भारत के तीन अलग-अलग कोनों में चार परिवारों के लिए जम्मू-कश्मीर के राजौरी जिले में एक सैन्य शिविर पर आतंकवादी हमले में सैनिकों की मौत के साथ गुरुवार को उनके परिवार का जीवन अचानक थम गया. इसके साथ ही उनके जीवन जीने का मकसद कहीं खो गया. पढ़िए इनके पीछे छूट गए परिजनों की कहानी...
हाइलाइट्ससूबेदार राजेंद्र प्रसाद भांबू अपने पीछे दो बेटियां और एक बेटा को छोड़ गए.राइफलमैन निशांत मलिक की बहन ने रक्षाबंधन के दिन किया था कॉल.राइफलमैन डी लक्ष्मण जुड़वां भाई थे.
नई दिल्ली. भारत के तीन अलग-अलग कोनों में चार परिवारों के लिए जम्मू-कश्मीर के राजौरी जिले में एक सैन्य शिविर पर आतंकवादी हमले में सैनिकों की मौत के साथ गुरुवार को उनके परिवार का जीवन अचानक थम गया. इसके साथ ही उनके जीवन जीने का मकसद कहीं खो गया. पढ़िए इनके पीछे छूट गए परिजनों की कहानी…
गुरुवार तड़के आतंकवादियों की गोलियों से शहीद होने से कुछ घंटे पहले 48 वर्षीय सूबेदार राजेंद्र प्रसाद भांबू ने खराब सेलफोन नेटवर्क के कारण कॉल डिसक्नेक्ट होने से पहले अपनी बेटी के साथ एक वीडियो कॉल पर बात की थी. भांबू के छोटे भाई राजेश एक सरकारी स्कूल में शिक्षक हैं.
भांबू के हैं दो बेटियां और एक बेटा
राजेश कहते हैं कि आज सुबह लगभग 5 बजे हमें सूचित किया गया कि वह घायल हो गए हैं. बाद में हमें बताया गया कि वह शहीद हो गए हैं. भांबू 2023 में रिटायर होने वाले थे. उनकी बेटी की शादी उनके रिटायर होने के बाद अगले साल मार्च में होनी थी. भांबू के परिवार में दो बेटियां और एक बेटा है.
रक्षाबंधन के दिन बहन ने किया था कॉल
इंडियन एक्सप्रेस की एक रिपोर्ट के मुताबिक 21 वर्षीय राइफलमैन निशांत मलिक ने बुधवार को एक वीडियो कॉल पर हरियाणा के हिसार जिले के हांसी शहर में स्थित अपने परिवार के साथ बात की थी. गुरुवार की सुबह उनकी बहन ने उनको कॉल किया, यह रक्षाबंधन का दिन था. लेकिन उधर से कोई प्रतिक्रिया नहीं आई. हांसी में तैनात एक अनुमंडल अधिकारी (सार्वजनिक स्वास्थ्य) और निशांत के पारिवारिक मित्र रणबीर मलिक ने कहा कि शाम को उसके पिता को निशांत की शहादत की सूचना दी गई.
राइफलमैन डी लक्ष्मण जुड़वां भाई थे
तमिलनाडु के मदुरै जिले के टी पुडुपट्टी गांव में राइफलमैन डी लक्ष्मण के जुड़वां भाई रामू ने कहा कि वो दोनों सेना में शामिल होना चाहते थे और भर्ती प्रक्रिया की तैयारी के लिए उन्होंने कड़ी मेहनत की थी. लक्ष्मण अकेले ही भर्ती हो पाए. हमें उन पर गर्व है.
नवंबर में हुई थी शादी
हरियाणा के फरीदाबाद जिले के शाहजहांपुर गांव के राइफलमैन मनोज कुमार दो साल पहले सेना में शामिल हुए थे. फरीदाबाद पुलिस के प्रवक्ता सूबे सिंह ने बताया कि परिवार में चार भाई-बहनों में सबसे छोटे कुमार की शादी नवंबर 2021 में हुई थी. सिंह ने कहा कि कुमार के परिवार को गुरुवार सुबह उनके शहीद होने की सूचना दी गई.
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Tags: Encounter, Indian armyFIRST PUBLISHED : August 12, 2022, 13:30 IST