25 साल में 15 साल की लड़की जैसा ग्रोथ देख हैरान रह गए डॉक्टर्स फिर हुआ कमाल!
25 साल में 15 साल की लड़की जैसा ग्रोथ देख हैरान रह गए डॉक्टर्स फिर हुआ कमाल!
Unusual News: रांची के प्रतिष्ठित अस्पताल रिम्स में एक अजीबोगरीब मामला देख डॉक्टर्स भी हैरान-परेशान हो गए. पीडियाट्रिक्स विभाग में भर्ती ढाई साल की बच्ची का शारीरिक विकास 15 साल की लड़की की तरह हो रहा था. बाहरी के साथ ही आंतरिक संरचना का विकास भी एक किशोर बच्ची जैसा ही था. ऐसे में डॉक्टर्स हैरान हो गए और रिसर्च में जुट गए. इसके बाद बच्ची का सफल इलाज कर रिम्स में इतिहास बन गया.
हाइलाइट्स ढाई साल की बच्ची में 15 साल के बच्ची के तरह हो रहा था शारीरिक विकास. शारीरिक के साथ 15 साल की बच्ची की तरह ही हो रहा था आंतरिक विकास. रांची रिम्स के इतिहास में पहली बार ऐसे मरीज का किया गया सफल इलाज. तीन महीने के लगातार इलाज के बाद डॉक्टरों को मिली बहुत बड़ी सफलता.
रांची. कहते हैं डॉक्टर भगवान का रूप होते हैं और यह उस वक्त चरितार्थ होता है जब कोई डॉक्टर किसी मरीज का सफल इलाज करता है. कुछ ऐसी ही सफलता का कीर्तमान राज्य के सबसे बड़े अस्पताल रिम्स के डॉक्टर ने स्थापित किया है. पीडियाट्रिक्स विभाग के डॉक्टर ने एक अजीबोगरीब बीमारी का इलाज किया है. डॉक्टरों का कहना है कि 2.5 साल की बच्ची में 15 साल के बच्ची के तरह शारीरिक विकास हो रहा था. शारीरिक के साथ आंतरिक विकास भी 15 साल की बच्ची की तरह ही हो रहा था.
विभाग के असिस्टेंट प्रोफेसर डॉ पीके चौधरी की मानें तो 3 महीने पहले धनबाद की एक बच्ची अस्पताल पहुंची थी, जो गाइनेकोमैस्टिया बीमारी से ग्रसित थी. यानी ढाई वर्ष की बच्ची का शरीर 15 वर्ष की बच्ची की तरह हरकत करने लग गया था. बच्ची के शरीर में 15 वर्ष की लड़की की तरह विकास हो रहा था. डॉक्टर की मानें तो रिम्स के इतिहास में पहली बार ऐसा कोई मरीज था जो इतनी कम उम्र में गाइनेकोमैस्टिया जैसी बीमारी से जूझ रहा था.
डॉक्टर्स के जज्बे से हुआ कमाल
डॉ पीके चौधरी ने बताया कि चूंकि ऐसी बीमारी पहली बार रिम्स अस्पताल में आई थी तो इसका इलाज के लिए कई तरह के शोध पुस्तकों का भी उपयोग किया गया. यह ऐसी बीमारी थी जिसका कोई भी कारण और इलाज नहीं दिख रहा था. लेकिन, शोध की पुस्तकों के माध्यम से इसका इलाज खोजा गया और पहली बार इस बीमारी का सफल इलाज किया गया. यह डॉक्टरों को जज्बे की बड़ी सफलता है.
डॉक्टर्स को भगवान कह रहे परिजन
डॉ पीके चौधरी की मानें की माने तो अक्टूबर के बाद लगातार हर महीने बच्ची को हार्मोन का डोज लगवाने के लिए रिम्स बुलाया जाता था. आज बच्ची को तीसरे महीने का डोज डॉक्टर द्वारा दिया गया. इसके लिए जब बच्ची के माता-पिता अस्पताल पहुंचे तो डॉक्टर को धन्यवाद दिया. डॉक्टर ने एक अजीबोगरीब बीमारी का सफल इलाज कर फिर यह साबित किया है कि इस वह भगवान का रूप होते हैं.
Tags: Jharkhand news, Ranchi newsFIRST PUBLISHED : January 7, 2025, 20:26 IST jharkhabar.com India व्हॉट्सऐप चैनल से जुड़ें Note - Except for the headline, this story has not been edited by Jhar Khabar staff and is published from a syndicated feed