आजमगढ़ में तमसा नदी पर बना हुआ है शाही पुल इस शासक से जुड़ा है इतिहास
आजमगढ़ में तमसा नदी पर बना हुआ है शाही पुल इस शासक से जुड़ा है इतिहास
तमसा नदी पर शाही पुल का निर्माण शेरशाह सूनी ने 1530 ई. में करवाया था. शेरशाह सूरी जब अपनी सेना के साथ जौनपुर के लिए यात्रा कर रहे थे तो उस वक्त आजमगढ़ पहुंचने के बाद सेना के साथ तमसा नदी को पार करना था. उस नदी पर कोई पुल मौजूद नहीं था. शेरशाह सूरी ने अपनी सेना के साथ मिलकर दो दिन के अंदर ही इस पुल का निर्माण करा दिया था.
आजमगढ़. यूपी के आजमगढ़ जनपद में कई ऐसी इमारतें आज भी मौजूद है, जो मुगल और अंग्रेज जमाने का बना हुआ है. अब यह आजमगढ़ के ऐतिहासिक धरोहर में शामिल हो गया है. इसी तरह आजमगढ़ के तमसा नदी पर बना शाही पुल लगभग 500 साल पुराना है. इस पुल को शेरशाह सूरी ने जौनपुर की यात्रा करने दौरान महज 2 दिन के अंदर बनावाया था. जिले के हरबंशपुर स्थित तमसा नदी पर बना यह पुल ऐतिहासिक रूप से काफी महत्वपूर्ण है.
1530 में शेरशाह सूरी ने बनवाया था पुल
बता दें कि तमसा नदी पर इस शाही पुल का निर्माण शेरशाह सूनी ने 1530 ई. में करवाया था. शेरशाह सूरी जब अपनी सेना के साथ जौनपुर के लिए यात्रा कर रहे थे तो उस वक्त आजमगढ़ पहुंचने के बाद उसे अपनी सेना के साथ तमसा नदी को पार करना था. उस वक्त तमसा नदी पर कोई पुल मौजूद नहीं था. शेरशाह सूरी ने अपनी सेना के साथ मिलकर दो दिन के अंदर ही इस पुल का निर्माण करा दिया था. इतिहासकारों के अनुसार, उस समय में पुल को बनाने के लिए ठंडे मसाले का इस्तेमाल किया गया था. पुल को बनाते समय चुना, राख और गोंद आदि जैसे ठंडे सामाग्री का उपयोग किया गया था.
संरक्षित करने की दिशा में प्रशासन ने नहीं की पहल
सबसे खास बात यह है कि इसमें किसी भी तरीके के सीमेंट या अन्य सामाग्री का इस्तेमाल नहीं किया गया था. फिर भी यह पुल बिगत 500 सालों से टिका हुआ है. लेकिन, वर्तमान में यह पुल प्रशासन की अपेक्षाओं का शिकार हो चुका है. प्रशासन की ओर से इस पुल को संरक्षित करने का कोई प्रयास नहीं किया जा रहा है. नतीजतन, यह पुल अब वीरान हो चुका है. मरम्मत नहीं होने की वजह से यह पुल कमजोर हो चुका है. प्रशासन ने इसके पास ही दूसरा पुल बना दिया है. लेकिन, शाही पुल को संरक्षित करने के लिए कोई ठोस कदम नहीं उठाया.
Tags: Azamgarh news, Historical monument, Local18, UP newsFIRST PUBLISHED : September 22, 2024, 16:58 IST jharkhabar.com India व्हॉट्सऐप चैनल से जुड़ें Note - Except for the headline, this story has not been edited by Jhar Khabar staff and is published from a syndicated feed