चाबहार डील पर जयशंकर ने संभाला मोर्चा अमेरिका को याद दिलाई पिछली बात
चाबहार डील पर जयशंकर ने संभाला मोर्चा अमेरिका को याद दिलाई पिछली बात
भारत और ईरान के बीच हुई चाबहार डील से नाराज अमेरिका को समझाने के लिए विदेश मंत्री एस जयशंकर ने अब मोर्चा संभाल लिया है. अमेरिका ने मंगलवार को इस मामले में ईरान पर प्रतिबंधों का हवाला देते हुए भारत के खिलाफ भी ऐसे ही कदम की चेतावनी दी थी. हालांकि अब विदेश मंत्री जयशंकर ने कहा कि वह अमेरिका को समझाने को कोशिश करेंगे. इसके साथ ही उन्होंने यूएस की कही पुरानी बात याद दिलाई है
कोलकाता. भारत और ईरान के बीच हुई चाबहार डील से नाराज अमेरिका को समझाने के लिए विदेश मंत्री एस जयशंकर ने अब मोर्चा संभाल लिया है. अमेरिका ने मंगलवार को इस मामले में ईरान पर प्रतिबंधों का हवाला देते हुए भारत के खिलाफ भी ऐसे ही कदम की चेतावनी दी थी. हालांकि अब विदेश मंत्री जयशंकर ने कहा कि वह अमेरिका को समझाने को कोशिश करेंगे. इसके साथ ही उन्होंने यूएस की कही पुरानी बात याद दिलाई है, जिसमें उसने चाबहार पोर्ट की तारीफ की थी. अमेरिका ने कहा था कि इस प्रोजेक्ट से पूरे इलाके को फायदा होगा.
भारतीय विदेश मंत्री बुधवार को कोलकाता में अपनी किताब ‘व्हाई भारत मैटर्स’ के बांग्ला संस्करण के लॉन्च के बाद एक बातचीत में बोल रहे थे. इस दौरान पत्रकारों ने चाबहार पोर्ट को लेकर अमेरिका के बयान पर सवाल किया. इस पर जयशंकर ने कहा, ‘मैंने कुछ टिप्पणियां देखी हैं, लेकिन मुझे लगता है कि यह लोगों से बात करने, समझाने और मनाने का मुद्दा है, कि यह असल में सभी लोगों के फायदे के लिए है. मुझे नहीं लगता कि लोगों को इसके बारे में छोटा नजरिया रखना चाहिए.’
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इसके साथ ही उन्होंने कहा, ‘उन्होंने (अमेरिका ने) अतीत में ऐसा नहीं किया है. इसलिए, अगर आप चाबहार पोर्ट को लेकर अमेरिका के रवैये को देखें तो वह भी इस बात की तारीफ करता रहा है कि चाबहार की बड़ी अहमियत है… हम इस पर काम करेंगे.’
बता दें कि भारत ईरान, अफगानिस्तान, कजाकिस्तान और उज्बेकिस्तान जैसे मध्य एशियाई देशों तक अपनी पहुंच आसान बनाने के लिए चाबहार पोर्ट पर एक टर्मिनल विकसित कर रहा है. ईरान के साथ इस समझौते को चीन द्वारा पाकिस्तान में विकसित किए जा रहे ग्वादर बंदरगाह की काट के तौर पर देखा जा रहा है. हालांकि अमेरिका ने ईरान के परमाणु कार्यक्रम को लेकर उस पर प्रतिबंध लगा दिए थे, जिसके चलते बंदरगाह के विकास का काम धीमा पड़ गया था.
वहीं अब इस नए समझौते को लेकर अमेरिका ने एक बार फिर नाराजगी जताई है और भारत पर ईरान जैसे प्रतिबंध लगाए जाने के खतरों को लेकर आगाह किया था. अमेरिकी विदेश मंत्रालय के उप प्रवक्ता वेदांत पटेल ने रोजाना होने वाली प्रेस कॉन्फ्रेंस में इस सवाल पर कहा, ‘हमें यह खबरें मिली हैं कि ईरान और भारत ने चाबहार पोर्ट को लेकर एक समझौता किया है, मैं चाहूंगा कि भारत सरकार इस अपनी विदेश नीति के लक्ष्यों पर बात करे.’
पटले ने कहा, ‘मैं सिर्फ इतना कहना चाहूंगा कि चूंकि यह अमेरिका से जुड़ा है, ईरान पर अमेरिकी प्रतिबंध लागू हैं और हम उन्हें बरकरार रखेंगे. आपने हमें कई मामलों में यह कहते हुए सुना है कि कोई भी… कोई भी… जो ईरान के साथ बिजनेस डील की सोच रहा है, उन्हें संभावित खतरों और प्रतिबंधों के बारे में पता होना चाहिए.’
Tags: America, Iran, S JaishankarFIRST PUBLISHED : May 15, 2024, 10:03 IST jharkhabar.com India व्हॉट्सऐप चैनल से जुड़ें Note - Except for the headline, this story has not been edited by Jhar Khabar staff and is published from a syndicated feed