गुजरात जीतेगा इंडिया गठबंधन राहुल गांधी के बयान में दम या पूरा मामला हवाई
गुजरात जीतेगा इंडिया गठबंधन राहुल गांधी के बयान में दम या पूरा मामला हवाई
लोकसभा चुनाव में कांग्रेस पार्टी के प्रदर्शन में सुधार के बाद पार्टी का नेतृत्व उत्साहित है. राहुल गांधी ने सदन में कहा कि इंडिया गठबंधन गुजरात में जीत हासिल करेगा. लेकिन, उनके इस बयान के पीछे कोई बड़ा आधार नहीं दिख रहा है. राज्य में कांग्रेस करीब तीन दशक से सत्ता से बाहर है.
लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी के भाषण पर बवाल मचा हुआ है. उन्होंने भाजपा पर हिंदू विरोधी होने का आरोप लगाया था. लेकिन, अपने भाषण में उन्होंने एक और बात कही. उसको लेकर गुजरात में खूब चर्चा हो रही है. राहुल गांधी ने अपने पहले भाषण में कहा कि इंडिया गठबंधन गुजरात में भाजपा को हराएगा. इसके बाद यह बहस छिड़ गई है कि क्या राहुल गांधी के नेतृत्व में विपक्ष ऐसा कर पाएगा?
गुजरात में अगला चुनाव 2027 में होना है. राहुल गांधी के बयान के बाद यह बहस शुरू हो गई है कि क्या कांग्रेस वाकई ऐसा काम कर सकती है कि वह पीएम मोदी और अमित शाह के गृह राज्य गुजरात में भाजपा को हरा सके. कांग्रेस नेता राहुल गांधी के दावे के पीछे का आधार जो भी हो, गुजरात में कांग्रेस की हालत खस्ता है. 2024 के लोकसभा चुनाव में कांग्रेस पार्टी मुश्किल से एक सीट जीत सकी. पिछले दो लोकसभा चुनावों में कांग्रेस शून्य पर रही.
200 से ज्यादा बड़े नेता भाजपा में शामिल
182 सदस्यीय विधानसभा में भी कांग्रेस के पास केवल 13 विधायक हैं. 2022 में गुजरात विधानसभा चुनाव होने के बाद से कांग्रेस के चार विधायक पार्टी छोड़कर भाजपा में शामिल हो चुके हैं. भविष्य में कोई और विधायक पार्टी छोड़ेगा या नहीं, इसकी पुख्ता गारंटी गांधी नगर से लेकर दिल्ली तक कोई नहीं दे सकता. अब सोशल मीडिया पर सवाल उठा है कि क्या गुजरात कांग्रेस में कोई बचा है? 2002 से अब तक 200 से ज्यादा बड़े नेता कांग्रेस छोड़कर बीजेपी में शामिल हो चुके हैं. इनमें से कई नेता मौजूदा भूपेन्द्र पटेल सरकार में कैबिनेट और राज्य स्तर के मंत्री हैं. ऐसे में कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने ऐसा क्यों कहा?
क्या यह है मिशन गुजरात की शुरुआत
राजनीतिक विश्लेषक राहुल गांधी के इस बयान को उनके मिशन गुजरात की शुरुआत मान रहे हैं. उनका मानना है कि राजकोट के गेम जोन अग्निकांड के मुद्दे पर कांग्रेस के सफल बंद से राहुल गांधी खुश हैं. इसीलिए उन्होंने जोश में आकर इतना बड़ा बयान दे दिया है. ऐसे में संभावना जताई जा रही है कि राहुल गांधी मिशन गुजरात पर काम कर रहे होंगे बावजूद इसके कि अगले विधानसभा चुनाव में अभी काफी वक्त बचा है. शायद इसीलिए उन्होंने ऐसा बयान दिया है. कांग्रेस की मौजूदा स्थिति पर नजर डालें तो राज्य में पार्टी के पास 13 विधायक, 1 राज्यसभा और 1 लोकसभा सांसद हैं. गुजरात के सभी प्रमुख शहरों के नगर निगमों पर बीजेपी का कब्जा है. इतना ही नहीं, सहकारी क्षेत्र में भी कांग्रेस का दबदबा टूट चुका है.
जमीन-आसमान एक करना होगा
करीब तीन दशक पहले 14 मार्च 1995 को कांग्रेस ने गुजरात में अपनी सत्ता खोई थी. छबीलदास मेहता गुजरात में कांग्रेस के आखिरी मुख्यमंत्री थे. इसके बाद राज्य में बीजेपी का उदय हुआ. बाद में शंकर सिंह वाघेला कांग्रेस के समर्थन से अक्टूबर 1996 से 27 अक्टूबर 1997 तक मुख्यमंत्री बने, लेकिन वह राष्ट्रीय जनता पार्टी के मुख्यमंत्री थे. ऐसे में कांग्रेस लंबे समय के लिए राज्य की सत्ता से बाहर है. एक पूरी पीढ़ी ने कांग्रेस का शासन नहीं देखा है. हिंदुत्व का गढ़ और हिंदुत्व की प्रयोगशाला कहे जाने वाले गुजरात में कांग्रेस की राह आसान नहीं है.
अगर कांग्रेस गुजरात में सत्ता पाने की सोच रही है तो ये कांग्रेस के लिए जमीन आसमान एक करने जैसा है. लोकसभा चुनाव में बीजेपी को 61.86 फीसदी वोट मिले जबकि कांग्रेस को 31.24 फीसदी वोट मिले. अगर आम आदमी पार्टी के 2.69 फीसदी वोट भी जोड़ दें तो भी कांग्रेस और बीजेपी के बीच बड़ा अंतर है. ऐसे में कांग्रेस के लिए गुजरात में जीत दूर ही नहीं बल्कि मीलों दूर है. कांग्रेस की सबसे बड़ी कमजोरी यह है कि उसके पास कोई संगठन नहीं है. जबकि उनका मुकाबला उस पार्टी से है जिसका संगठन बेहद मजबूत है.
Tags: Gujarat Elections, Rahul gandhiFIRST PUBLISHED : July 3, 2024, 15:31 IST jharkhabar.com India व्हॉट्सऐप चैनल से जुड़ें Note - Except for the headline, this story has not been edited by Jhar Khabar staff and is published from a syndicated feed