हादसे में गंवा दिया एक हाथ ICSE बोर्ड में 92% के साथ बनीं स्कूल टॉपर

ICSE Board Topper Motivational Story: अनामता अहमद नाम की एक लड़की चर्चा में है. इसने आईसीएसई बोर्ड 10वीं में 92 प्रतिशत मार्क्स हासिल किए हैं. वह अपने स्कूल के टॉप स्टूडेंट्स में शामिल है. लेकिन बात बस इतनी सी नहीं है. दो साल पहले अनामता अहमद ने एक हादसे में अपना एक हाथ खो दिया था. पढ़िए अनामता अहमद की पूरी कहानी.

हादसे में गंवा दिया एक हाथ ICSE बोर्ड में 92% के साथ बनीं स्कूल टॉपर
नई दिल्ली (ICSE Board Topper Motivational Story). सीआईएससीई बोर्ड ने इस साल 10वीं, 12वीं की टॉपर लिस्ट जारी नहीं की है. लेकिन स्कूलों ने अपने यहां के टॉपर्स की जानकारी मीडिया को दी है. इसी में मुंबई के एक स्कूल में पढ़ने वाली अनामता अहमद का नाम सुर्खियों में आया है (Anamta Ahmed). अनामता अहमद ने दो साल पहले इलेक्ट्रिक शॉक दुर्घटना में अपना एक हाथ गंवा दिया था. उस ट्रॉमा से गुजरने के बावजूद उन्होंने हार नहीं मानी और नतीजा पूरे देश के सामने है. विभिन्न बोर्ड रिजल्ट जारी होने के साथ ही टॉपर स्टोरी भी सामने आने लगी हैं. किसी ने गरीबी से जूझते हुए टॉपर्स लिस्ट में जगह बनाई तो कोई घर-बाहर माता-पिता का हाथ बंटाते हुए इस मुकाम तक पहुंचा. सीआईएससीई बोर्ड ने 06 मई, 2024 को आईसीएसई, आईएससी रिजल्ट जारी किए थे. आईसीएसई बोर्ड से 10वीं पास करने वाली अनामता अहमद चर्चा में हैं. जानिए अनामता अहमद के साथ क्या हुआ था और उन्होंने परीक्षा की तैयारी कैसे की. अनामता के जज्बे को सलाम अनामता अहमद मुंबई के अंधेरी में स्थित सिटी इंटरनेशनल स्कूल की छात्रा हैं. दो साल पहले वह अलीगढ़ में अपने चचेरे भाइयों के साथ खेल रहीं थीं. तभी बिजली का झटका लगने से उनका हाथ बुरी तरह जल गया था. उस समय उनकी उम्र सिर्फ 13 साल थी. हॉस्पिटल में उनका दाहिना हाथ काटना पड़ा था और बायां हाथ सिर्फ 20 फीसदी काम करने लायक बचा था. लंबे समय तक बिस्तर पर रहने से उन्हें बड़े ट्रॉमा से गुजरना पड़ा. तमाम तकलीफों के बावजूद उन्होंने अपने जज्बे को कमजोर नहीं पड़ने दिया. डॉक्टरों ने दी थी ब्रेक की सलाह अनामता अहमद ने टाइम्स ऑफ इंडिया के साथ हुई बातचीत में बताया- वह बहुत दर्दनाक समय था. डॉक्टरों ने उनके माता-पिता को सुझाव दिया था कि उन्हें पढ़ाई से एक या दो साल के लिए छुट्टी ले लेनी चाहिए. लेकिन अनामता इसके लिए तैयार नहीं हुईं. वह घर में बैठकर स्कूल से दूर नहीं होना चाहती थीं. हॉस्पिटल से डिस्चार्ज होने के बाद उन्होंने डॉक्टरों द्वारा सुझाई गईं एक्सरसाइज के जरिए बाएं हाथ को एक्टिव रखने की कोशिश की. उन्होंने कुछ महीनों तक बाएं हाथ से लिखने की प्रैक्टिस की. परीक्षा से पहले मानी टीचर्स की बात अनामता शुरू से ही मेधावी छात्रा रही हैं. ऐसे में वह हर चुनौती को पार कर अपना फोकस सिर्फ पढ़ाई और परीक्षा पर रखना चाहती थीं. अब वह अपने बाएं हाथ से काम करने में सक्षम हैं. लेकिन टीचर्स ने उन्हें परीक्षा के दौरान स्क्राइब रखने की सलाह दी. इससे उन्हें बोर्ड परीक्षा के दौरान स्पीड से कोई समझौता नहीं करना पड़ेगा. इसलिए आईसीएसई बोर्ड परीक्षा 2024 में उन्हें एक राइटर उपलब्ध करवाया गया था. अनामता के पिता अकील अहमद एड फिल्म डायरेक्टर हैं. रिजल्ट देखते ही शुरू हुआ जश्न आईसीएसई बोर्ड रिजल्ट 2024 (ICSE Board Result 2024 Class 10) जारी होते ही अनामता, उनके परिजनों और शिक्षकों व दोस्तों की खुशी का ठिकाना नहीं रहा. तमाम परेशानियों और ट्रॉमा से गुजरने के बावजूद अनामता स्कूल की टॉप स्कोरर्स में से एक बन गईं. उन्होंने कक्षा 10वीं बोर्ड परीक्षा में ओवरऑल 92 परसेंट मार्क्स हासिल किए हैं. सिर्फ इतना ही नहीं, हिंदी में 98 फीसदी अंकों के साथ वह अपने स्कूल में इस विषय की टॉप स्कोरर भी हैं. Tags: Board Results, ICSE, Motivational Story, Success StoryFIRST PUBLISHED : May 7, 2024, 16:43 IST jharkhabar.com India व्हॉट्सऐप चैनल से जुड़ें
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