नहीं चलेगी पटवारी की मर्जी सरकार ने बनाया खास प्‍लान आप भी कहेंगे सही है

कहते हैं कि पटवारी का लिखा कोई नहीं काट सकता है. यह बिल्‍कुल सही है, यह ज्‍यादा दिन तक चलने वाला नहीं है. डिजीटल एग्रीकल्‍चर मिशन के तहत यह बदलाव होने जा रहा है. उसे वास्‍तविक रिपोर्ट ही लगानी होगी. जानें सरकार का पूरा प्‍लान

नहीं चलेगी पटवारी की मर्जी सरकार ने बनाया खास प्‍लान आप भी कहेंगे सही है
नई दिल्‍ली. कहते हैं कि पटवारी का लिखा कोई नहीं काट सकता है. यह बिल्‍कुल सही है कि अगर वो आपने नाराज होकर अपनी रिपोर्ट में लिख दिया कि खेत में मक्‍का लगा है तो भले ही खेत में धान लगा हो, पर मक्‍का ही माना जाएगा. लेकिन जल्‍द ही ऐसा नहीं होगा, पटवारी की मर्जी नहीं चलेगी. खेत में जो लगा होगा, उसी की वास्‍तविक रिपोर्ट लगानी होगी. सरकार ने इसके लिए पूरा प्‍लान तैयार कर लिया है. डिजीटल एग्रीकल्‍चर मिशन यह बदलाव होने जा रहा है. किसान ने अपनी जमीन पर कौन सी फसल लगा रखी है, इसके लिए राज्‍य सरकारें गिरदावरी कराती हैं. इसमें खसरा नंबर के साथ दर्ज होता है, जो लैंड रिकार्ड का हिस्‍सा है. यह गिरदावरी हर सीजन में होती है, क्‍योंकि हर सीजन में फसल बदलती रहती है. इसकी रिपोर्ट पटवारी की मर्जी पर निर्भर करती है. लेकिन राज्‍य सरकारें इसे रिप्‍लेस करेंगी. पटवारी को वास्‍तविक रिपोर्ट ही लगानी होगी इस तरह किया जा रहा है बदलाव डिजीटल पब्लिक इंफ्रास्‍ट्रक्‍चर (डीपीआई) के तहत क्रॉप सोन रजिस्‍ट्री ( फसल बोई रजिस्‍ट्री) तैयार कराई जा रही है. मौजूदा समय कराए जा रहा डिजीटल क्रॉप सर्वे इसी का हिस्‍सा है. धीरे धीरे करके गिरदावरी बंद हो जाएगी. नहीं चलेगी होगी पटवारी की मनमर्जी गिरदावरी का डिजीटल क्रॉप सर्वे के तहत किया जाएगा. इसमें संबंधित किसान के खसरा नंबर वाले खेत पर जाकर फसल की फोटो खींचनी होगी और उसे लोड करना होगा. खास बात यह है कि यह जिस एप से डिजीटल क्रॉप सर्वे किया जा रहा है. उसमें संबंधित खसरा नंबर की जियो रेफरेंस चाहिए, जो उसी खेत (खसरा नंबर) पर जाकर एक्टिव होगा. यानी कहीं पर भी बैठकर पटवारी गिरदावरी नहीं कर सकेगा. क्‍योंकि बगैर लोकेशन पर जाए डिजीटल क्रॉप सर्वे नहीं होगा. कई राज्‍यों में 100 फीसदी तक हुआ डिजीटल क्रॉप सर्वे डिजीटल क्रॉप सर्वे लगतार चलने वाली प्रक्रिया है. हर फसल में करनी होती है. मौजूदा समय 17 राज्‍यों के 450 जिलों में यह शुरू हो चुका है. कई राज्‍य 100 फीसदी डिजीटल क्रॉप सर्वे पर आ चुके हैं. इसमें उत्‍तर प्रदेश, मध्‍य प्रदेश, गुजरात, ओडिशा, तमिलनाडु, कर्नाटक, आंध्र प्रदेश और तेलंगाना शामिल हैं. इसके अलावा असम और राजस्‍थान जैसे प्रदेशों काफी हद तक डिजीटल क्रॉप सर्वे का शुरू हो चुका है. कई राज्‍य पालयट प्रोजेक्‍ट कर चुके हैं, जो अगले साल तक 100 फीसदी कर लेंगे. Tags: Agriculture, Digital IndiaFIRST PUBLISHED : October 17, 2024, 11:48 IST jharkhabar.com India व्हॉट्सऐप चैनल से जुड़ें
Note - Except for the headline, this story has not been edited by Jhar Khabar staff and is published from a syndicated feed