बढ़िया कारीगरी ! 80 साल से मशहूर है यहां की वायलिन जानें खासियत
बढ़िया कारीगरी ! 80 साल से मशहूर है यहां की वायलिन जानें खासियत
Rampur Violin Manufacturing: यूपी के रामपुर जिला वायलिन निर्माण के लिए खास पहचान रखता है. यहां के कारीगर 15 दिनों में एक वायलिन तैयार कर देते हैं. बता दें कि वायलिन के निर्माण में 3 प्रकार की लकड़ियों का इस्तेमाल होता है.
रामपुर: भारत की सांस्कृतिक धरोहरों में संगीत का महत्वपूर्ण स्थान है. ऐसे में रामपुर अपने वायलिन निर्माण के लिए खास पहचान रखता है. जहां एक ओर वायलिन का संगीत हमारी रूह तक पहुंचता है. वहीं, दूसरी ओर इसे तैयार करने की कला उतनी ही जटिल और बारीक होती है. रामपुर के कारीगरों की अनमोल प्रतिभा और समर्पण के बिना यह संभव नहीं होता. करीब 80 से भी अधिक वर्षों से रामपुर वायलिन बनाने की परंपरा को जिंदा रखे हुए है.
जानें कितने दिन में तैयार होते हैं वायलिन
यहां के वायलिन अपने बेहतरीन ध्वनि गुण और उच्च गुणवत्ता के लिए मशहूर हैं. एक वायलिन को तैयार करने में 15 दिन लगते हैं और इसे बनाने में 25 कारीगरों की मेहनत जुड़ी होती है. वायलिन के निर्माण में 3 प्रकार की लकड़ियों का इस्तेमाल होता है. मेपल वुड, ब्राजील और कनाडा से मंगाई जाती है. इंडियन वुड और पाइन वुड पहाड़ों से प्राप्त होती है.
यहां बनाए जाते हैं 4 प्रकार के वायलिन
रामपुर में चार प्रकार के वायलिन बनाए जाते हैं. जहां फोर स्ट्रिंग, फाइव स्ट्रिंग, सेवन स्ट्रिंग और तरब वायलिन है. इसकी कीमत 35 हजार से लेकर 15 हजार रुपए तक होती है, जो इसे संगीत प्रेमियों और पेशेवरों के बीच खासा लोकप्रिय बनाती है.
यहां के कारीगर इस शिल्प को पीढ़ी दर पीढ़ी आगे बढ़ा रहे हैं. जहां मेपल वुड का आयात महंगा और जटिल होता है. वहीं, इंडियन वुड और पाइन वुड के साथ इसे जोड़कर तैयार किया गया वायलिन अपनी आवाज में अनोखी मिठास और गहराई लाता है.
Tags: Business news, Local18, Rampur newsFIRST PUBLISHED : September 19, 2024, 08:58 IST jharkhabar.com India व्हॉट्सऐप चैनल से जुड़ें Note - Except for the headline, this story has not been edited by Jhar Khabar staff and is published from a syndicated feed