दिवाली पर रंगीन मिठाइयों से करें परहेज मिलावटी मावा से ख़ुद को बचाने के लिए अपनाएं ये रामबाण तरीके
दिवाली पर रंगीन मिठाइयों से करें परहेज मिलावटी मावा से ख़ुद को बचाने के लिए अपनाएं ये रामबाण तरीके
मेरठ के सीएमओ डॉ. अखिलेश मोहन का कहना है कि जो मिठाई रंग से मुक्त है, उसी का सेवन करें. रंगीन मिठाई से तौबा कर लें. अगर किसी मिठाई में रंग के रूप में केमिकल आदि की संभावना हो तो उसका सेवन बिल्कुल न करें, क्योंकि केमिकल आपकी किडनी, हार्ट को बहुत नुकसान पहुंचा सकते हैं.
हाइलाइट्समिठाई में रंग के रूप में मौजूद केमिकल आपकी किडनी, हार्ट को नुकसान पहुंचा सकते हैं. अगर मावे में नमकीन स्वाद आता है तो समझ जाएं मावा नकली है.
Diwali 2022: दिवाली के त्योहार पर हम सभी एक-दूसरे को ख़ुशियों की बधाई देते हैं. इसके लिए घर आने वाले मेहमानों को तरह-तरह की मिठाइयों से मुंह मीठा करा कर दीपावली की बधाई देते हैं, लेकिन इन ख़ुशियों पर ग्रहण तब लग जाता है, जब आप मिलावटी मिठाइयों का सेवन अनजाने में कर बैठते हैं. त्योहारों के सीजन में हर साल मिलावटखोर सक्रिय हो जाते हैं. अपने मुनाफे के लिए ये दूसरों की ज़िन्दगी में ज़हर घोलने पर आमादा हो जाते हैं. ऐसे में आप चंद नुस्खे अपनाकर मिलावटखोरों को शिकस्त दे सकते हैं. क्या हैं वो नुस्खे हम आपको बताते हैं.
न्यूज 18 की टीम ने मिलावट से बचने के तरीकों पर अलग-अलग डॉक्टर्स और खाद्य विभाग के अधिकारियों से बात की. मेरठ के सीएमओ डॉ. अखिलेश मोहन का कहना है कि जो मिठाई रंग से मुक्त है, उसी का सेवन करें. रंगीन मिठाई से तौबा कर लें. अगर किसी मिठाई में रंग के रूप में केमिकल आदि की संभावना हो तो उसका सेवन बिल्कुल न करें, क्योंकि केमिकल आपकी किडनी, हार्ट को बहुत नुकसान पहुंचा सकते हैं. सारे केमिकल्स टॉक्सिक होते हैं. लिहाज़ा ऐसी मिठाइयों का सेवन न करें, जिसमें केमिकल के मिलाए जाने की संभावना बनती हो.
वरिष्ठ चिकित्सक डॉ. वीरोत्तम तोमर का कहना है कि मिलावटखोरों पर कठोर कार्रवाई होनी चाहिए, क्योंकि मिलावट की वजह से किसी को डायरिया तो किसी की किडनी फेल हो रही है.
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खाद्य विभाग के अधिकारियों का कहना है कि मावे में आमतौर पर पाउडर या फिर रिफाइंड ऑयल का भी इस्तेमाल किया जाता है. अभिहीत अधिकारी दीपक सिंह ने बताया कि थोड़ा सा मावा हाथ में लेकर देखने से उससे देशी घी की महक आती है तो समझिए वो मावा असली है. अगर मावे में नमकीन स्वाद आता है तो समझ जाइए कि मावा नकली है. आप थोड़ा सा टिंचर आयोडीन केमिकल मावे में मिक्स करके देखें. अगर मावे का रंग नीला हो जाता है तो वो खाने के लायक बिल्कुल भी नहीं है. उसमें स्टार्च मिला हुआ है. खाद्य विभाग का ये भी कहना है कि आप रंगीन मिठाइयां कतई ना लें, क्योंकि उसमें मिलावट की संभावना सबसे ज्यादा रहती है. खाद्य विभाग अपने स्तर से लोगों को जागरूक कर रहा है. मिलावटखोरों को पकड़ भी रहा है, लेकिन आपका सतर्क रहना सबसे आवश्यक है. अगर आपको अपने ज़िले में किसी भी मिठाई कारोबारी या फिर मावे के विक्रेता पर शक हो कि इसके यहां मिलावट की जा रही है तो इसकी जानकारी आप अपने ज़िले के खाद्य अधिकारी को ज़रूर दें.
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गौरतलब है कि बीते दिनों में मेरठ में 4800 किलो मिलावटी मावा बरामद हुआ है. खाद्य विभाग की टीम ने मेरठ के बिजली बंबा बाईपास के पास 4800 किलो मिलावटी मावा बरामद किया था, जिसे ज़मीन में दबाकर नष्ट कराया गया है. इस सड़े हुए मावे को मार्केट में खपाने की तैयारी थी.
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Tags: Diwali, Diwali Celebration, Diwali Food, Health, LifestyleFIRST PUBLISHED : October 22, 2022, 13:32 IST