सावधान! इन 10 गांव का पानी है जहर जैसालापरवाही की तो पड़ सकते हैं बीमार

UP News: कन्नौज के 10 गांव का पानी इतना खराब है कि लोगों को पीने से पहले भी सोचना चााहिए. आइए जानते हैं इस 10 गांव की लिस्ट में कौन से गांव शामिल हैं.  

सावधान! इन 10 गांव का पानी है जहर जैसालापरवाही की तो पड़ सकते हैं बीमार
अंजली शर्मा/कन्नौज: पानी का साफ होना जरूरी है. नहीं तो एक दिन क्या, एक बार भी गंदा पानी नहीं पीया जा सकता है. लेकिन भारत के बहुत से हिस्सों से लोग गंदा पानी पीने के लिए मजबूर हैं. कन्नौज जिले के 10 गांव ऐसे हैं, जहां पर पानी पीने योग्य नहीं है. जांच में उसकी गुणवत्ता सही नहीं मिली है. ऐसे में लगातार कन्नौज जिले में घटता जलस्तर और खेतों में रासायनिक पदार्थ के ज्यादा प्रयोग पानी दूषित होने का सबसे बड़ा कारण माना जा रहा है. ऐसे में समय रहते अगर लोग सतर्क नहीं हुए तो आने वाले समय में यह जहरीला पानी लोगों की जान तक ले लेगा. हर घर जल योजना में हुआ खुलासा हर घर जल योजना के तहत जल निगम ने जब जिले की सभी ग्राम पंचायत में बोरिंग के बाद पानी की गुणवत्ता की जांच की. तो चौंकाने वाला सच सामने आया. जिले के 10 गांव ऐसे मिले, जिनका पानी पीने योग्य ही नहीं है. इन गांवों का पानी है गंदा जिन गांवों में पानी बिल्कुल पीने योग्य नहीं, इसमें सदर ब्लाक के गांव सैदही, तला ग्राम ब्लॉक में रोहली, मलिकपुर,गुगरापुर ब्लॉक में राजूपुर,उमर्दा ब्लॉक में पट्टी, हसेरन ब्लाक में राजपुर, छिबरामऊ ब्लॉक में, डालूपुर, सुल्तानपुर, सदरपुर द्वारिकापुर महमूदपुर, जागीर एवं खानपुर, कसावा गांव शामिल है. इन सभी गांव के पानी में गंदलापन 5% से अधिक पाया गया है. 5% या उससे कम गंदापन होने पर पानी पीने योग्य होता है. यहां पर 6 से 10% के बीच पानी में गंदापन पाया गया है. गिरता जल स्तर एक बड़ा कारण जल निगम के खंडीय प्रयोगशाला के प्रभारी अमजद खान ने बताया कि जिले में भूगर्भीय जलस्तर हर साल गिर रहा है, जिसके कारण पानी खराब हो रहा है. नाइट्रोजन, क्लोराइड, फ्लोराइड, आर्सेनिक, सीसा, सेलेनियम और यूरेनियम जैसे हानिकारक तत्व भोजन को प्रदूषित कर रहे हैं. हालांकि जिले में अभी फ्लोराइड की मात्रा कम है. क्या बोले अधिकारी जल निगम के अधिशासी अभियंता सुरेंद्र कुमार ने बताया कि जांच में जिन गांवों में पानी की गुणवत्ता खराब मिली है. वहां गहरी बोरिंग करवाई जाएगी. हालांकि, जिले में नाइट्रेट, क्लोराइड, आर्सेनिक, सीसा, सेलेनियम और यूरेनियम जैसे हानिकारक तत्व नहीं मिले हैं. केवल टर्बो डिरटी अधिक है, जिसे जल्द से जल्द सही कर दिया जाएगा. लेकिन आने वाले समय में सभी को सावधान रहने की जरूरत है. यहां पर रासायनिक तत्वों का खेती में ज्यादा प्रयोग हो रहा है. वह पानी को दूषित करने का सबसे महत्वपूर्ण कारण बन सकता है. Tags: Kannauj news, Local18FIRST PUBLISHED : August 2, 2024, 14:55 IST jharkhabar.com India व्हॉट्सऐप चैनल से जुड़ें
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