KCR-Nitish Kumar Meet: क्या नीतीश कुमार के जरिए 2024 में KCR मुरझा पाएंगे कमल
KCR-Nitish Kumar Meet: क्या नीतीश कुमार के जरिए 2024 में KCR मुरझा पाएंगे कमल
KCR-Nitish Kumar Meet: 2014 में तेलंगाना के मुख्यमंत्री बनने के बाद केसीआर की ये पहली बिहार यात्रा है. केसीआर ने हाल ही में नीतीश कुमार के "आरएसएस-मुक्त भारत" की तर्ज पर 2024 के चुनावों से पहले "बीजेपी मुक्त भारत" का आह्वान किया है. तेलंगाना राष्ट्र समिति (TRS) के नेता केसीआर ने पटना में बिहार के डिप्टी सीएम और आरजेडी के उत्तराधिकारी तेजस्वी यादव (Tejashwi Yadav) से भी मुलाकात की.
पटना. साल 2024 के लोकसभा चुनाव (2024 Lok Sabha Elections) को लेकर बीजेपी को केंद्र की सत्ता से बेदखल करने के लिए देश की तमाम विपक्षी पार्टियां अभी से तैयारियों में जुट गई हैं. बिहार में बीजेपी के सहयोगी रहे जेडीयू नेता और मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने भी विपक्ष को एकजुट करने का बीड़ा उठाया है. इसी कड़ी में तेलंगाना के सीएम के चंद्रशेखर राव (KCR) और बिहार के सीएम नीतीश कुमार (Nitish Kumar) के बीच आज पटना में मुलाकात हुई. इस मुलाकात की तस्वीरों की खूब चर्चा हो रही है. मीटिंग के बड़े सियासी मायने भी लगाए जा रहे हैं. दोनों नेता पीएम नरेंद्र मोदी के धुर विरोधी हैं. ऐसे में टोपी पहन नीतीश कुमार से मिलने पहुंचे केसीआर इससे पहले बीजेपी के खिलाफ संयुक्त मोर्चा बनाने के लिए कई विपक्षी नेताओं से भी मिल चुके हैं.
2014 में तेलंगाना के मुख्यमंत्री बनने के बाद केसीआर की ये पहली बिहार यात्रा है. केसीआर ने हाल ही में नीतीश कुमार के “आरएसएस-मुक्त भारत” की तर्ज पर 2024 के चुनावों से पहले “बीजेपी मुक्त भारत” का आह्वान किया है. तेलंगाना राष्ट्र समिति (TRS) के नेता केसीआर ने पटना में बिहार के डिप्टी सीएम और आरजेडी के उत्तराधिकारी तेजस्वी यादव (Tejashwi Yadav) से भी मुलाकात की.
केसीआर ने बिहार के मुख्यमंत्री के साथ गलवान घाटी में शहीद हुए भारतीय सैनिकों के परिवारों से मुलाकात की. उन्होंने तेलंगाना सरकार की ओर से शहीद जवानों के प्रत्येक परिवार को 10-10 लाख रुपये का चेक सौंपा. उन्होंने मार्च 2022 में सिकंदराबाद में एक लकड़ी डिपो में आग की दुर्घटना में मारे गए 12 बिहार श्रमिकों के परिवारों को भी 5-5 लाख रुपये की सहायता दी. अब बड़ा सवाल ये है कि दक्षिण से बिहार आकर केसीआर ये सब क्यों कर रहे हैं? उनका मकसद क्या है?
मिशन 2024 की लड़ाई के लिए सभी पार्टियां अपनी-अपनी तैयारियां तो कर रही हैं. मेल-मुलाकात का सिलसिला भी चल रहा है. लेकिन पीएम नरेंद्र मोदी के खिलाफ विपक्षी मोर्चे की धुरी कौन होगा, इसपर अभी स्थिति साफ नहीं हो पाई है. हाल के दिनों में बिहार में सत्ता का खेला देखकर विपक्ष को नई लीड मिलती दिख रही है. नीतीश कुमार के एनडीए का साथ छोड़ने के बाद से ही विपक्षी खेमा उत्साहित है. नीतीश कुमार ने पीएम मोदी के खिलाफ उनके सीएम कार्यकाल के दौरान से ही अलग-अलग समय पर मोर्चा खोल रखा है. ऐसे में बड़ा सवाल है कि क्या विपक्षी दल नीतीश कुमार के नाम पर सहमत हो पाएंगे.
वहीं, बीजेपी नेता सुशील कुमार मोदी ने दो मुख्यमंत्रियों के बीच बैठक पर तंज कसते हुए कहा कि यह दो सपने देखने वालों का मिलन है, जिनका प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के सामने कोई स्टैंड नहीं है. उन्होंने नीतीश कुमार और केसीआर की मुलाकात को “विपक्षी एकता का नवीनतम कॉमेडी शो” करार दिया.
एमएलसी और जेडीयू के मुख्य प्रवक्ता नीरज कुमार ने पहले कहा था कि केसीआर और नीतीश कुमार की मुलाकात बीजेपी को हराने के लिए “दक्षिण और उत्तर के बीच एकता” होगी. केसीआर निस्संदेह दक्षिण के एक प्रमुख नेता हैं और बीजेपी के खिलाफ एक महत्वपूर्ण आवाज हैं. नीतीश कुमार में विपक्ष को नई उम्मीद नजर आ रही है. दोनों नेताओं के बीच बैठक का राष्ट्रीय असर होना तय है.
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Tags: Bihar BJP, CM KCR, CM Nitish Kumar, Loksabha Election 2024, Narendra modiFIRST PUBLISHED : August 31, 2022, 17:32 IST