एक पेड़ पर उगेंगे 100 किलो फल कम लागत में किसान बन जाएंगे लखपति

Red Lady Papaya: यूपी में बागपत के एक किसान ने रेड लेडी पपीते के फसल को अपने खेतों में तैयार किया है. किसान न बताया कि उसने 4 एकड़ भूमि में पपीते को तैयार किया है. जहां एक पेड़ में 100 किलो तक फल लग सकता है. जिससे उसे अच्छा मुनाफा होगा.

एक पेड़ पर उगेंगे 100 किलो फल कम लागत में किसान बन जाएंगे लखपति
बागपत: यूपी के बागपत में एक किसान ने ‘रेड लेडी पपीते’ की फसल उगानी शुरू की है. किसान ने कम लागत में अधिक आमदनी करने के लिए इस फसल को उगाने का फैसला लिया है. यह फसल अब 3 महीने की हो चुकी है. साथ ही पेड़ों में फल आने शुरू हो गए हैं. जानें पके पपीता की कीमत बागपत के लहचौड़ा गांव के किसान आदेश कुमार ने विदेशी पपीता उगाना शुरू किया है. वहीं, किसान का कहना है कि पके हुए पपीते की कीमत करीब 60 से 70 रुपए किलो होती है, जबकि कच्चे पपीते की कीमत 25 से 30 रुपए किलो होती है. ये पपीता फल के साथ-साथ सब्जी बनाने में प्रयोग होता है. इसलिए इस रेड लेडी पपीपे से तगड़ी कमाई होगी. जानें कहां से लाए थे पौधे वैसे तो यह फसल भारत के महाराष्ट्र और मध्य प्रदेश के किसानों द्वारा ज्यादा उगाई जाती है, लेकिन बागपत में यह फसल पहली बार किसान आदेश कुमार ने उगानी शुरू की है. यह पौधा गुजरात से आता है. आदेश कुमार इसे स्वास्तिक नर्सरी खुर्जा से लाये हैं. किसान का कहना है कि उसके खेत में अन्य फसल खराब होती जा रही थी. इस खेती को देखते हुए उन्होंने कुछ नया करने का मन में ठान लिया. उन्होंने यूट्यूब पर इस पपीते के बारे में जानकारी ली और इसे उगाना शुरू कर दिया. 100 किलो तक पपीते होते हैं तैयार किसान ने बताया कि फिलहाल उनकी फसल 3 महीने की हो चुकी है. एक पेड़ पर करीब 50 किलो से लेकर 100 किलो तक पपीते आ जाते हैं. यह पपीता फल के साथ-साथ सब्जी में भी प्रयोग किया जाता है. इस पपीते के पके हुए फल की कीमत 60 से 70 रुपए किलो तक होती है, जबकि सब्जी में यह एक पपीता कच्चा भी यूज होता है, जिसकी कीमत 25 रुपए होती है. किसान का कहना है कि यह अन्य फसलों से अधिक मुनाफे की फसल मानी जाती है. उन्होंने भी इसी को सोचकर इस फसल को उगाना शुरू किया है. कम लागत में होगी तगड़ी कमाई वहीं, किसान ने बताया कि उसके तैयार रेड लेडी पपीते को देखने के लिए आसपास के भी किसान आते हैं. वह 4 एकड़ जमीन में 2.50 लाख की लागत से पपीता उगाया है. जहां सुरक्षा के लिए जमीन की चारदीवारी की हुई है. इस फसल की अच्छी पैदावार के लिए जुताई करनी पड़ती है और ड्रिप सिंचाई की जाती है. पौधों को कीट से बचाने के लिए सप्ताह में एक बार कीटनाशक दवाइयों का स्प्रे किया जाता है. Tags: Baghpat news, Local18, Success Story, UP newsFIRST PUBLISHED : September 11, 2024, 14:13 IST jharkhabar.com India व्हॉट्सऐप चैनल से जुड़ें
Note - Except for the headline, this story has not been edited by Jhar Khabar staff and is published from a syndicated feed