ऑर्गेनिक तरीके से खेती करते हैं ये किसान मुख्यमंत्री कर चुके हैं सम्मानित

किसान संजय चौहान ने ऑर्गेनिक तरीके से की सांवा और कंगनी की खेती कर रहे हैं. किसान संजय चौहान ने बताया कि सांवा में अन्य अनाज के मुकाबले शुगर नहीं होता है. सांवा को बार्नयार्ड मिलेट के नाम से भी जाना जाता है, किसान जून से जुलाई के बीच सांवा की बुवाई कर बेहतर मुनाफा कमा सकते हैं. चावल की तुलना मेप्रोटीन की पाचन योग्यता 40 प्रतिशत तक होती है.

ऑर्गेनिक तरीके से खेती करते हैं ये किसान मुख्यमंत्री कर चुके हैं सम्मानित
सहारनपुर. सरकार श्री अन्न यानी मोटे अनाजों को सेहत के लिए बेहतर बताते हुए इसकी खेती को प्रोत्साहन दे रही है. इस कारण से ज्वार, बाजरा, सांवा, कंगनी, कोदो और कुटकी जैसे मोटे अनाज फिर से भोजन की थाली में अपनी जगह बनाने लगा है. इसी मुहिम को आगे बढाते हुए मुख्यमंत्री से सम्मानित हो चुके सहारनपुर जिला स्थित बेहट के कोठरी बहलोलपुर गांव के रहने वाले किसान संजय चौहान ने सांवा और कंगनी की खेती शुरू की है. किसान संजय आधा एकड़ में सांवा की खेती कर रहे हैं. सांवा और कंगनी की खेती कर रहे हैं संजय किसान संजय चौहान ने लोकल 18 को बताया कि सांवा में अन्य अनाज के मुकाबले शुगर नहीं होता है. सांवा को बार्नयार्ड मिलेट के नाम से भी जाना जाता है, यह एक पौष्टिक अनाज है. किसान जून से जुलाई के बीच सांवा की बुवाई कर बेहतर मुनाफा कमा सकते हैं. सांवा का दाना बेहद छोटा होता है और यह प्राचीन काल से उगाई जा रही है. किसान इसको भूलते जा रहे है. उन्होंने बताया कि आधा एकड़ खेत में सांवा और कंगनी की खेती शुरू की है. सरकार मोटे अनाज पर काफी जोर दे रही है. सांवा का इस्तेमाल इडली, डोसा, खीर बनाने में अधिक किया जाता है.  खास बात यह होती है कि इसमें सिंचाई की जरूरत दूसरे फसलों के मुकाबले बहुत कम है. 100 रूपए किलो तब बिकता है सांवा किसान संजय चौहान ने लोकल 18 को बताया कि इसका चारा पशुओं के लिए काम आ जाता है. इसमें चावल की तुलना में पोषक तत्वों के साथ-साथ प्रोटीन की पाचन योग्यता 40 प्रतिशत तक होती है. सबसे बड़ी बात यह है कि सांवा और कंगनी की खेती में किसी खाद की आवश्यकता नहीं पड़ती है. जरूरत पड़ने पर गोबर के खाद डाला जाता है. किसान संजय चौहान पथरीली जमीन में इसकी खेती कर रहे हैं. मार्केट की बात करें तो 80 से 100 रूपए प्रति किलो सांवा बिकता है. जबसे प्रधानमंत्री ने इस पर जोर दिया है तब से मार्केट में इसकी डिमांड बढ़ गई है. किसान संजय चौहान ऑर्गेनिक खेती के लिए जाने जाते हैं. कृषि के क्षेत्र में बेहतर योगदान के लिए मुख्यमंत्री सम्मानित भी कर चुके हैं. Tags: Agriculture, Local18, Saharanpur news, UP newsFIRST PUBLISHED : September 14, 2024, 13:23 IST jharkhabar.com India व्हॉट्सऐप चैनल से जुड़ें
Note - Except for the headline, this story has not been edited by Jhar Khabar staff and is published from a syndicated feed