OPINION: तो क्या कांग्रेस के लिए गोल्ड मेडल लाएंगी विनेश फोगाट

Vinesh Phogat In Politics: रेसलर विनेश फोगाट ने आखिरकार सक्रिय राजनीति में पहला कदम रख दिया. विनेश एक अन्‍य पहलवान बजरंग पूनिया के साथ कांग्रेस पार्टी में शामिल हो गई हैं. उम्‍मीद है कि कांग्रेस उन्‍हें हरियाणा विधानसभा चुनाव में प्रत्‍याशी के तौर पर उतारेगी. विनेश और बजरंग के कदम से हरियाणा के साथ देश की राजनीति भी गर्मा गई है.

OPINION: तो क्या कांग्रेस के लिए गोल्ड मेडल लाएंगी विनेश फोगाट
नई दिल्‍ली. आखिरकार कुश्ती के अखाड़े से राजनीति के दंगल में विनेश फोगाट की एंट्री हो ही गई. उनके साथ बजरंग पूनिया भी हरियाणा चुनाव से ठीक पहले कांग्रेस में शामिल हो गए. हालांकि उनके इस फैसले से शायद ही किसी को हैरानी हुई होगी. कई मौकों पर दोनों पहलवान कांग्रेस के साथ होने के संकेत पहले ही दे चुके थे. पेरिस ओलंपिक में अपने जबरदस्त प्रदर्शन से पूरी दुनिया का ध्यान खींचने वाली विनेश की राजनीति में एंट्री को लेकर कयास पहले से ही लगाए जा रहे थे, लेकिन जब कांग्रेस ने X हैंडल पर राहुल गांधी के साथ विनेश और बजरंग का फोटो शेयर किया, तभी यह पक्का हो गया था कि दोनों ही पहलवान कांग्रेस में शामिल होंगे. अब कांग्रेस का हाथ जब विनेश और बजरंग के साथ होने पर से पर्दा हट ही गया है, तो इससे हरियाणा की ही नहीं, बल्कि देश की राजनीति भी एक बार गर्माती दिख रही है.वैसे सवाल ये नहीं है कि विनेश और बजरंग की राजनीति में एंट्री हो रही है. ये कोई पहले पहलवान नहीं हैं, जो राजनीति में आए हैं. हरियाणा की राजनीति की ही अगर बात करें तो योगेश्वर दत्त और बबीता फोगाट जैसे पहलवान भी पहले से सक्रिय हैं. सवाल ही सवाल सवाल तो विनेश की राजनीति में आने के रास्ते को लेकर उठ रहा है, क्योंकि इससे पहले एक ऐसी घटना घटी थी जिसको लेकर विनेश और बजंरग पर सवाल उठे. उन पर आरोप लगे थे कि वो कांग्रेस के एजेंडा को कुश्ती के मामले में घुसेड़ रहे हैं. मामला तब का है जब भारतीय कुश्ती संघ के तत्कालीन अध्यक्ष बृजभूषण शरण सिंह के खिलाफ महिला पहलवानों ने यौन शोषण का आरोप लगाया. जनवरी 2023 में बजरंग पूनिया, विनेश फोगाट, साक्षी मलिक सहित दो दर्जन से ज्यादा पहलवानों ने बृजभूषण शरण सिंह के खिलाफ कई दिनों तक प्रदर्शन किया था. तब विनेश फोगाट, बजरंग पूनिया, साक्षी मलिक ये कहते रहे कि उनका विरोध बृजभूषण शरण सिंह के खिलाफ है और इसमें किसी राजनीतिक दल का हाथ नहीं. WFI की तकरार केंद्र सरकार ने पहलवानों के आरोपों की जांच के लिए कमेटी बनाई थी, फिर ये मामला कोर्ट गया, जहां अब भी न्यायिक प्रक्रिया जारी है. बृजभूषण शरण सिंह तब से लगातार ये कहते रहे हैं कि दीपेंदर हुड्डा और कांग्रेस के इशारे पर पहलवानों ने उनके खिलाफ झूठे आरोप लगाए. अब उन आरोपों को बल भी मिल रहा है, क्योंकि उस विरोध प्रदर्शन में शामिल साक्षी मलिक भी विनेश और बजरंग के इस फैसले से नाखुश दिख रही हैं. साक्षी का मानना है कि विनेश और बजरंग के कांग्रेस में शामिल होने से गलत संदेश जाएगा. ‘यह उनका निजी फैसला है कि वे किसी पार्टी में शामिल हो रहे हैं, लेकिन हमारे आंदोलन को गलत रूप न दिया जाए. महिलाओं के लिए मेरा आंदोलन आज भी जारी है.’ -साक्षी मलिक, ओलंपिक मेडल विनर साक्षी मलिक को भी मिला था ऑफर साक्षी ने यह भी कहा कि राजनीतिक दलों से ऑफर तो उन्हें भी मिले, लेकिन वो इस लड़ाई को जारी रखना चाहती हैं. जाहिर है बृजभूषण शरण सिंह के खिलाफ विरोध प्रदर्शन में विनेश और बजरंग के साथ डटकर खड़ी रहने वाली साक्षी मलिक को भी लग है कि उनकी लड़ाई को एक झटका लगा है. खैर साक्षी क्या सोचती हैं, इससे भला विनेश और बजरंग को क्या मतलब? शायद उन्हें तो लगता होगा कि अब पहलवानी में ज्यादा कुछ बचा नहीं है, तो अब राजनीति में ही कुछ बड़ा किया जाए. इसके लिए लोहा गर्म भी है कि अक्टूबर में हरियाणा में विधानसभा चुनाव हो रहा है और कांग्रेस को लगता है कि वह इस बार बीजेपी को पटखनी दे देगी और इस काम में विनेश और बजरंग उनके हथियार बन सकते हैं. विनेश को जब लोगों ने सिर-माथे बिठाया अभी अगस्त 2024 की ही तो बात है जब विनेश पेरिस ओलंपिक में गोल्ड मेडल के बिल्कुल पास पहुंच गई थीं. 50 किग्रा के कैटेगरी में विनेश ने जोरदार प्रदर्शन करके फाइनल तक जगह बना ली थी. जहां कम से कम सिल्वर मेडल तो पक्का था ही, साथ ही वो गोल्ड मेडल की प्रबल दावेदार थीं. लेकिन फाइनल से पहले विनेश का वजन 50 ग्राम ज्यादा निकला जिसकी वजह से उन्हें अयोग्य घोषित कर दिया गया. भारतीय ओलंपिक संघ और केंद्र सरकार की तमाम कोशिशों के बावजूद इस फैसले को पलटा नहीं जा सका और विनेश खाली हाथ देश लौटीं. लेकिन मेडल नहीं लाने‌ के बावजूद भारत के लोगों ने विनेश को सिर माथे पर बिठाया. विनेश क्‍या हरियाणा में… ओलंपिक में मिली निराशा को पीछे छोड़ विनेश ने अब राजनीति में कदम रखा है और कांग्रेस को उनसे बहुत उम्मीदें हैं. ऐसे में लाख टके का सवाल यह है कि ओलंपिक में भारत को मेडल दिलाने से चूक जाने वालीं विनेश क्या हरियाणा में कांग्रेस को ‘गोल्ड मेडल’ दिला पाएंगी? (डिस्क्लेमर: ये लेखक के निजी विचार हैं. लेख में दी गई किसी भी जानकारी की सत्यता/सटीकता के प्रति लेखक स्वयं जवाबदेह है. इसके लिए jharkhabar.comHindi उत्तरदायी नहीं है.) Tags: Haryana Election, Haryana election 2024, National News, Vinesh phogatFIRST PUBLISHED : September 6, 2024, 18:50 IST jharkhabar.com India व्हॉट्सऐप चैनल से जुड़ें
Note - Except for the headline, this story has not been edited by Jhar Khabar staff and is published from a syndicated feed