शेरनी ने छोड़ दिया दूध पिलाना फिर ऐसे बची शावक की जान आज इस शेर का जन्मदिन

Safari Park Etawah: पिछले साल 3 सितंबर को शेरनी रूपा ने इस शावक को जन्म दिया था. लेकिन, जन्म के बाद शेरनी ने उसे दूध पिलाना बंद कर दिया. विशेषज्ञों के अनुसार, जब शेरनी को शावक का जीवन असुरक्षित लगता है तो वह उसे दूध पिलाने से इंकार कर देती है. इस कठिनाई के सामने सफारी प्रबंधन ने शावक को बोतल से दूध पिलाने का निर्णय लिया, जिससे उसका जीवन बचाया जा सके.

शेरनी ने छोड़ दिया दूध पिलाना फिर ऐसे बची शावक की जान आज इस शेर का जन्मदिन
इटावा: उत्तर प्रदेश के इटावा स्थित सफारी पार्क में बोतल के दूध से जीवनदान पाए शेरनी रूपा के शावक का पहला जन्मदिन उत्साहपूर्वक मनाया गया. यह सफारी एशियाई शेरों के सबसे बड़े आश्रय स्थल के रूप में प्रसिद्ध है. और इस शावक का जीवन सफारी प्रबंधन की कड़ी मेहनत का परिणाम है. जन्मदिन के मौके पर केक काटा गया और शावक से जुड़ी कई जानकारियां साझा की गईं. इस खास अवसर पर सफारी पार्क के निदेशक डॉ. अनिल कुमार पटेल, उप निदेशक डॉ. विनय कुमार सिंह, क्षेत्रीय वन अधिकारी रूपेश कुमार श्रीवास्तव और बायोलॉजिस्ट बी.एम. सिंह समेत कई अधिकारी उपस्थित रहे. साथ ही सफारी के प्रचार-प्रसार में जुटे चार यूट्यूबर्स को प्रतीक चिन्ह, बुक और प्रशस्ति पत्र देकर सम्मानित किया गया. शेरनी नहीं पिलाती थी अपना दूध पिछले साल 3 सितंबर को शेरनी रूपा ने इस शावक को जन्म दिया था. लेकिन, जन्म के बाद शेरनी ने उसे दूध पिलाना बंद कर दिया. विशेषज्ञों के अनुसार, जब शेरनी को शावक का जीवन असुरक्षित लगता है तो वह उसे दूध पिलाने से इंकार कर देती है. इस कठिनाई के सामने सफारी प्रबंधन ने शावक को बोतल से दूध पिलाने का निर्णय लिया, जिससे उसका जीवन बचाया जा सके. शावक का ध्यान रखने वाले शख्स 5 हजार का इनाम शावक की देखभाल के लिए कीपर अजय सिंह और डॉक्टर रॉबिन यादव को जिम्मेदारी सौंपी गई, जिन्होंने कड़ी मेहनत कर शावक को सुरक्षित और स्वस्थ रखा. सफारी प्रबंधन ने अजय सिंह के उत्कृष्ट कार्य के लिए उन्हें 5000 रुपये का इनाम भी दिया. शावक को दिया जाता है ये खाना शावक को स्वस्थ रखने के लिए अमेरिका से विशेष दूध मंगवाया गया और इसके साथ ही उसे पड्डे का सूप और अंडे का सफेद हिस्सा भी खिलाया जा रहा है. ताकि, उसका शरीर मजबूत हो सके. सफारी प्रबंधन इस घटना को एक ऐतिहासिक सफलता मानता है, जिसमें बोतल के दूध के सहारे शावक को नया जीवन दिया गया. अब मौज-मस्ती में जी रहा शावक इटावा सफारी पार्क के निदेशक डॉ. अनिल कुमार ने कहा कि एशियाई शेर बेहद समझदार होते हैं और जब उन्हें लगता है कि शावक का जीवन सुरक्षित नहीं है, तो वे उसे खुद से दूर कर देते हैं. शावक के जीवन को संरक्षित रखने में सफारी के अधिकारी और कर्मचारी पूरी तरह से जुटे रहे हैं, जिसके चलते अब शावक पूरी तरह से स्वस्थ है और मौज-मस्ती कर रहा है. Tags: Etawah Lion Safari, Etawah news, Hindi news, Local18FIRST PUBLISHED : September 9, 2024, 16:27 IST jharkhabar.com India व्हॉट्सऐप चैनल से जुड़ें
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