जूडिशियरी पर से उठा भरोसा जब सीजेआई चंद्रचूड़ ने वकील को लगा दी फटकार
जूडिशियरी पर से उठा भरोसा जब सीजेआई चंद्रचूड़ ने वकील को लगा दी फटकार
RG Kar Hearing: सीजेआई डीवाई चंद्रचूड़ ने आरजी कर मामले की सुनवाई के दौरान एक वकील को फटकार लगाई. उस वकील ने न्यायपालिका पर से भरोसा उठ जाने का दावा किया था.
नई दिल्ली. भारत के चीफ जस्टिस (CJI) डीवाई चंद्रचूड़ ने आरजी कर मेडिकल कॉलेज में महिला डॉक्टर के रेप और मर्डर मामले की सुनवाई के दौरान एक वकील को जोरदार फटकार लगाई. उस वकील ने दावा किया था कि पश्चिम बंगाल के लोगों का ‘न्यायपालिका पर से भरोसा उठ गया है.’ वकील के बयान को तुरंत खारिज करते हुए सीजेआई ने पूछा कि ‘आप किसका प्रतिनिधित्व करते हैं? आपका मुवक्किल कौन है… यह कैंटीन गपशप, कैंटीन गॉसिप जैसा है कि ‘लोगों का न्यायपालिका पर से भरोसा उठ गया है. अगर सबूत है, तो उसे शपथ पर रखिए.’ सीजेआई ने कहा कि ‘देखिए, आपके पास कोई मुवक्किल भी नहीं है. फिर भी आप इस तरह का गंभीर बयान दे रहे हैं.’
आरजी कर मामले की सुप्रीम कोर्ट में अगली सुनवाई 11 नवंबर को होगी. सुनवाई के दौरान सीबीआई की ओर से वकील कनु अग्रवाल ने अदालत को एक नई स्टेटस रिपोर्ट सौंपी. रिपोर्ट की समीक्षा करते हुए सीजेआई चंद्रचूड़ ने कहा कि आरोपी संजय रॉय के खिलाफ 4 नवंबर को आरोप तय किए गए थे, और अगली सुनवाई 11 नवंबर को होनी है. सीजेआई चंद्रचूड़ ने देश भर में मेडिकल पेशेवरों की सुरक्षा के लिए सुप्रीम कोर्ट की बड़ी चिंता को भी सामने रखा. उन्होंने कहा कि ‘केवल आरजी कर या पश्चिम बंगाल ही नहीं, हम पूरे भारत को देख रहे हैं.’ सीजेआई ने कहा कि ‘देश भर में डॉक्टर, चिकित्सा पेशेवर सुरक्षित होने चाहिए.’
‘एनटीएफ की सिफारिशों को लागू करें’
नेशनल टास्क फोर्स (एनटीएफ) की रिपोर्ट का हवाला देते हुए सीजेआई ने निर्देश दिया कि रिपोर्ट को राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों के सभी मुख्य सचिवों के साथ-साथ संबंधित स्थायी वकीलों के साथ शेयर किया जाए. उन्होंने कहा कि इसे इस उम्मीद के साथ भेजा जाए कि सिफारिशों को तीन हफ्तों के भीतर लागू किया जाएगा. इस रिपोर्ट में डॉक्टरों, नर्सों और अन्य चिकित्सा कर्मचारियों के खिलाफ यौन हिंसा की रोकथाम और शारीरिक हिंसा की रोकथाम के लिए सिफारिशें की गई थीं.
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मुकदमा बाहर भेजने का अनुरोध नामंजूर
सीजेआई चंद्रचूड़ ने रिपोर्ट को बेहतर बनाने के लिए सुझाव देने के लिए वकीलों को आमंत्रित किया और कहा कि ‘हमें बताएं कि किस तरह की निगरानी प्रणाली तैयार की जा सकती है और अगर इसे लागू किया जा सकता है, तो हम ऐसा करने का निर्देश देंगे.’ सीजेआई ने मुकदमे को पश्चिम बंगाल से बाहर भेजने के वकील के अनुरोध को भी खारिज कर दिया. उन्होंने कहा कि ‘हां, हमने मणिपुर जैसे मामलों में ऐसा किया है. लेकिन हम यहां ऐसा कुछ नहीं कर रहे हैं.’
Tags: DY Chandrachud, Justice DY Chandrachud, Supreme Court, Supreme court of indiaFIRST PUBLISHED : November 7, 2024, 19:48 IST jharkhabar.com India व्हॉट्सऐप चैनल से जुड़ें Note - Except for the headline, this story has not been edited by Jhar Khabar staff and is published from a syndicated feed