विकल्प कुदेशिया/बरेली: चाइनीज मांझा का जिक्र आपने की बार सुना होगा. मजबूत होने के साथ-साथ यह खतरनाक भी होता है. क्योंकि यह त्वचा को काट भी सकता है. ऐसे में बरेली में इको फ्रेंडली मांझा बेचा जा रहा है. जो की पूरी तरह जड़ी बूटियां से निर्मित है. रुई के समान है. इसे हाथों से ही कलर किया जाता है.
बरेली का मंझा है मशहूर
बरेली का मंझा पूरे हिंदुस्तान में बनकर सप्लाई होता है. खासतौर पर यूपी के शहरों में. जिनमें लखनऊ ,बेंगलुरु, कोलकाता, औरंगाबाद,अहमदाबाद, नासिक ,नागपुर मुंबई, मेरठ और मुजफ्फरनगर जैसे कई शहर आते हैं. इसके अतिरिक्त चाइनीस मांझा नोएडा, मुंबई और दिल्ली जैसी जगहों पर बनता है.
बसंत पंचमी पर खूब पतंग उड़ाते हैं लोग
बरेली का मांझा बेच रहे मिनाबली ने लोकल 18 से एक खास बातचीत के दौरान बताया कि बरेली का मांझा बहुत ही अलग किस्म का मांझा होता है.यह और कहीं भी नहीं बनता. इसके अलावा वह बताते हैं कि यह मांझा हर फेस्टिवल पर बनता है. जैसे की बसंत पंचमी मकर संक्रांति होली दिवाली ईद जैसे कई त्योहारों में यह पतंगे लोग का कई पुरानी मान्यताओं की वजह से उड़ते हैं.
ग्राहकों का क्या है कहना
त्योहारों पर पतंग उड़ाने के लिए मजा लेने आए ग्राहकों ने लोकल 18 को खास बातचीत के दौरान बताया कि उन्हें यहां के हर्बल टच वाले इको फ्रेंडली मांझे काफी पसंद आते हैं. हालांकि यह महंगे ज्यादा है, लेकिन सेफ भी हैं. वह अपने बच्चों को इस मांझे से पतंग उड़ाने दे सकते हैं, जो कि यह पूरी तरह सेफ है. इसके अलावा बताते हैं कि यहां पर मांझा बनाने का तरीका उन्हें काफी पसंद आता है.
पतंग उड़ाते वक्त लापरवाही करना भारी पड़ सकता है. समय के साथ लोगों को यह बात समझ आ चुकी है. इसलिए वो बरेल का हर्बल मांझा खरीदना पसंद कर रहे हैं.
Tags: Local18, UP newsFIRST PUBLISHED : September 14, 2024, 09:01 IST jharkhabar.com India व्हॉट्सऐप चैनल से जुड़ें Note - Except for the headline, this story has not been edited by Jhar Khabar staff and is published from a syndicated feed