ऐसे करें खीरा की खेती बेहतर उत्पादन के साथ होगी तगड़ी कमाई
ऐसे करें खीरा की खेती बेहतर उत्पादन के साथ होगी तगड़ी कमाई
किसान प्रदीप यादव ने बताया कि आधे एकड़ में खीरा की खेती कर रहे हैं. सीजन में इससे डेढ़ से दो लाख तक की कमाई हो जाती है. किसान प्रदीप यादव ने बताया कि पिछले दो साल से मच्लिंग विधि से खीरे की खेती कर रहे हैं. वैसे तो इसकी खेती मार्च-अप्रैल में होती है. लेकिन यहां के किसान बरसात में भी इसकी खेती करते हैं.
बाराबंकी. खेती का ट्रेंड लगातार बदलते जा रहा है. यूपी में भी इसका असर देखने को मिला है. खासकरकिसान सब्जी की खेती पर अधिक ध्यान दे रहे हैं. सब्जी की खेती से कम लागत में बेहतर मुनाफा कमा सकते हैं. आज हम आपको एक ऐसे सब्जी के बारे में बताएंगे, जिसकी खेती सीमित जगह पर कर के भी अच्छी कमाई कर सकते हैं.
हम बात कर रहे हैं खीरा की, मल्चिंग विधि से खेती कर किसान बेहतर मुनाफा कमा सकते हैं. खीरा मुख्य रूप से गर्मी के मौसम का फसल का है. लेकिन, बरसात में इसकी खेती कर लाखों की कमाई कर सकते हैं.
आधे एकड़ में खीरा की खेती करते हैं प्रदीप
यूपी में बाराबंकी के किसान खीरा की खेती कर कम लागत में अच्छी कमाइ कर रहे हैं. खासकर बाराबंकी के सहेलिया गांव में किसान कई सालों से खीरे की खेती करते आ रहे हैं. किसान प्रदीप यादव ने बताया कि आधे एकड़ में खीरा की खेती कर रहे हैं. सीजन में इससे डेढ़ से दो लाख तक की कमाई हो जाती है. किसान प्रदीप यादव ने बताया कि पिछले दो साल से मच्लिंग विधि से खीरे की खेती कर रहे हैं. वैसे तो इसकी खेती मार्च-अप्रैल में होती है. लेकिन यहां के किसान बरसात में भी इसकी खेती करते हैं.
दो तरीके से कर सकते हैं खीरा की खेती
बारिश के सीजन में बहुत ही कम किसान खेती करते हैं क्योंकि इसमें रोग लगने के साथ फसल सड़ने व गलने का खतरा ज्यादा रहता है. इस दौरान खीरे का रेट अच्छा मिल जाता है, जिससे अच्छी कमाई हो जाती है. एक बीघे में 20 हजार की लागत आता है और कमाई डेढ़ से दो लाख हो जाती है. इसकी खेती दो प्रकार से की जाती है. पहला खेत को समतल कर और दूर बेड बनाकर खीरा की खेती कर सकते हैं. पहले खेत की गहरी जुताई की जाती है और उसके बाद खेत में मेड़ बनाकर उसपर मल्चिंग करने के बाद निसत दूरी नी छेद कर बीज की बुआई की जाती है. पौधे के बड़े होने पर बांस और रस्सी के सहारे बांध दिया जाता है. जिससे खीरे का लत उसपर फैल जाता है और इससे अच्छी पैदावार होती है और नुकसान कम होता है.
Tags: Agriculture, Barabanki News, Local18, Uttarpradesh newsFIRST PUBLISHED : August 19, 2024, 09:25 IST jharkhabar.com India व्हॉट्सऐप चैनल से जुड़ें Note - Except for the headline, this story has not been edited by Jhar Khabar staff and is published from a syndicated feed