शंभू बॉर्डर: किसान आंदोलन का एपी सेंटर है यह जगह कैसा है हालात पढ़े अपडेट

Shambu Border: पंजाब और हरियाणा के किसानों ने न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) को लेकर आज दिल्ली कूच का ऐलान किया है. खबर है सैंकड़ों की संख्या में किसान शंभू बॉर्डर पर जुट रहे हैं. दोपहर के समय वे पैदल दिल्ली के लिए कूच कर सकते हैं. हालांकि सरकार ने उनको प्रवेश की अनुमति नहीं दी है. वहीं, किसान आंदोलन के लिए शंभू बॉर्डर एपी सेंटर बन गया है.

शंभू बॉर्डर: किसान आंदोलन का एपी सेंटर है यह जगह कैसा है हालात पढ़े अपडेट
नई दिल्ली. आज गुरु तेगबहादुर का जयंती है और पंजाब-हरियाणा के किसानों ने भी दिल्ली कूच का ऐलान कर दिया है. किसान न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) गारंटी कानून की मांग को लेकर केंद्र की सरकार से भीड़े हैं. यह पहली बार नहीं है कि किसानों ने सरकार के खिलाफ आंदोलन शुरू किया है. किसान 2020 में कृषि कानून के विरोध सरकार के विरोध में 1 साल से अधिक समय तक शंभू बॉर्डर पर डेरा डाले रहे. केंद्र सरकार अंततः उनकी मांग को स्वीकार करते हुए तीनों बिल को रद्द कर दिया था. पहली बार किसानों ने 9 अगस्त 2020 में आंदोलन शुरू हुआ था. जो 378 दिन तक चला था. इस साल फरवरी में भी किसानों ने दिल्ली कूच का बिगूल फूंका था, लेकिन प्रशासन ने किसानों को दिल्ली से पहले ही रोक दिया था. इन आंदोलनों में जो एक बात कॉमन है वह हरियाणा और पंजाब को जोड़ने वाला शंभू बॉर्डर. जब-जब प्रशासन ने उनको दिल्ली में घुसने से रोका तो किसानों ने विरोध में ‘शंभू बॉर्डर’ लंबे समय तक डेरा डालते रहे हैं. 10 लेयर की सिक्योरिटी किसानों के विरोध को देखते हुए शंभू बॉर्डर, दिल्ली-चंडीगढ़ हाईवे पर सिंघु बॉर्डर और खनौरी बॉडर पर प्रशासन की फौज तैनात कर दिया गया है. शंभू बॉर्डर पर पहले से कई सिक्योरिटी की लेयर बना हुआ है. किसान नेता सरवन सिंह पंधेर के ऐलान के बाद किसानों ने जब दिल्ली कूच का ऐलान किया तो प्रशासन तुरंत अलर्ट मोड पर चली गई. शंभू बॉर्डर पर प्रशासन ने 7 लेयर के सिक्योरिटी के बाद 3 लेयर का एक और सुरक्षा व्यवस्था तैनात किया है. शंभू बॉर्डर: आंदोलन का प्रमुख केंद्र हरियाणा और पंजाब को जोड़ने वाला शंभू बॉर्डर इस आंदोलन का मुख्य केंद्र बन चुका है. किसानों इसी जगह इकट्ठा होकर दिल्ली कूच की योजना बनाते हैं. वहीं, हरियाणा पुलिस ने किसानों को रोकने के लिए शंभू, खनौरी और डाटा सिंह बॉर्डर पर भारी सुरक्षा व्यवस्था की है. बैरिकेडिंग, कंटीली तारें और ड्रोन निगरानी से बॉर्डर पर तनाव का माहौल है. दिल्ली में प्रवेश की अनुमति नहीं हरियाणा के अंबाला और जींद पुलिस ने स्पष्ट कर दिया है कि दिल्ली में बिना अनुमति प्रवेश नहीं दिया जाएगा. अंबाला के उपायुक्त ने किसानों से आंदोलन स्थगित करने की अपील की है, लेकिन किसान अपने संकल्प पर अडिग हैं. उनका कहना है कि शांतिपूर्ण तरीके से अपनी मांगों के समर्थन में दिल्ली में धरना देना उनका अधिकार है. शंभू बॉर्डर पर तनाव का माहौल आज किसानों के दिल्ली कूच के ऐलान की वजह से पंजाब-हरियाणा बॉर्डर पर किसान और पुलिस के बीच सीधा टकराव होने की संभावना बढ़ गई है. किसानों ने अपने ट्रैक्टर-ट्रॉलियों के साथ बॉर्डर पर डेरा जमा लिया है. किसी भी तरह की कार्रवाई का शांतिपूर्ण ढंग से सामना करने की तैयारी कर ली है. शंभू बॉर्डर पर लगी बैरिकेडिंग, पानी की बौछारों और आंसू गैस जैसे साधनों की तैनाती से माहौल और भी गंभीर हो गया है. Tags: Farmer Protest, Kisan AandolanFIRST PUBLISHED : December 6, 2024, 10:13 IST jharkhabar.com India व्हॉट्सऐप चैनल से जुड़ें
Note - Except for the headline, this story has not been edited by Jhar Khabar staff and is published from a syndicated feed