संसद के खास मानसून सत्र के लिए विपक्ष ने कमर कसी सरकार बोली- हर मुद्दे पर चर्चा को तैयार
संसद के खास मानसून सत्र के लिए विपक्ष ने कमर कसी सरकार बोली- हर मुद्दे पर चर्चा को तैयार
Parliament Monsoon Session: संसद का मानसून सत्र 18 जुलाई से शुरू होकर 12 अगस्त तक चलेगा. इस दौरान राष्ट्रपति और उपराष्ट्रपति के चुनाव भी होंगे. विपक्षी दल अग्निपथ योजना, नूपुर शर्मा, बेरोजगारी, महंगाई, जांच एजेंसियों के कथित दुरुपयोग जैसे मुद्दों पर सरकार को घेरने की तैयारी कर रहे हैं.
नई दिल्ली. संसद का 18 जुलाई से शुरू होने वाला मानसून सत्र सत्ता पक्ष और विपक्ष दोनों के लिये काफी महत्वपूर्ण रहेगा. इस दौरान राष्ट्रपति और उपराष्ट्रपति के चुनाव होंगे. सरकार महत्वपूर्ण विधेयकों को पारित कराना चाहती है, वहीं विपक्ष अग्निपथ योजना, बेरोजगारी, महंगाई, जांच एजेंसियों के कथित दुरुपयोग जैसे मुद्दों पर सरकार को घेरने की तैयारी कर रहे हैं. संसदीय कार्य राज्य मंत्री अर्जुन राम मेघवाल ने कहा, ‘संसद का मानसून सत्र काफी महत्वपूर्ण है. इस अवधि में राष्ट्रपति एवं उपराष्ट्रपति के चुनाव भी होने हैं. यह मानसून का समय है, ऐसे में कृषि, बरसात के महत्वपूर्ण विषय भी रहेंगे.’
उन्होंने कहा कि ‘कई विधेयक भी संसद में पेश किये जायेंगे जिनमें चार विधेयक ऐसे हैं, जो संसदीय समितियों के समक्ष विचारार्थ हैं और इन्हें पेश किया जा सकता है. विपक्ष द्वारा सरकार को महत्वपूर्ण मुद्दों पर घेरने की तैयारी के बारे में एक सवाल के जवाब में मेघवाल ने कहा कि सत्र से पहले सर्वदलीय बैठक में सभी दलों के साथ चर्चा होगी. सरकार नियमों के तहत हर विषय पर चर्चा के लिए तैयार है.’
वहीं, लोकसभा में कांग्रेस के मुख्य सचेतक कोडिकुनिल सुरेश ने कहा, ‘आगामी मानसून सत्र में जिन मुद्दों को उठाना है, उनके बारे में अगले कुछ दिनों के भीतर पार्टी के रणनीतिक समूह की बैठक में फैसला होगा, लेकिन कई ऐसे मुद्दे हैं जिनको उठाया जाना तय है. इनमें महंगाई, बेरोजगारी, अग्निपथ योजना और जांच एजेंसियों के दुरुपयोग के विषय प्रमुख हैं.’ उन्होंने यह भी कहा, ‘भाजपा की निलंबित प्रवक्ता नुपुर शर्मा के विवादित बयान से देश का जो माहौल खराब हुआ है, वह विषय भी इस सत्र में उठेगा. हम जनहित के मुद्दों पर इस सरकार को आक्रामक ढंग से घेरेंगे.’
कांग्रेस नेता सुरेश ने सरकार पर चर्चा से भागने और सदन को जानबूझकर नहीं चलने देने का आरोप लगाया और कहा, ‘हम इस बार उम्मीद करते हैं कि सरकार जनता से जुड़े मुद्दों पर चर्चा कराने और विपक्ष की बातों को सुनने के लिए तैयार होगी.’ उन्होंने आरोप लगाया कि सदन चलाने की सबसे बड़ी जिम्मेदारी सरकार की होती है और इस सरकार ने अब तक इस जिम्मेदारी को सही ढंग से नहीं निभाया है.
कांग्रेस के वरिष्ठ नेता जयराम रमेश ने कहा कि विपक्षी पार्टी संसद के आगामी सत्र के दौरान माल एवं सेवा कर (जीएसटी) पर चर्चा कराने की मांग करेगी. आरएसपी के सांसद एनके प्रेमचंद्रन ने कहा कि मानसून सत्र के दौरान अग्निपथ योजना, महंगाई और बेरोजगारी जैसे मुद्दों को उठाया जायेगा. इसके अलावा लोक कल्याण से जुड़े विषयों पर भी सरकार से सवाल पूछे जायेंगे.
संसद का मानसून सत्र 18 जुलाई से शुरू होगा और 12 अगस्त तक चलेगा. संसद का यह सत्र खास रहने वाला है क्योंकि 18 जुलाई को ही राष्ट्रपति चुनाव के लिए मतदान होना है. दूसरी ओर, उपराष्ट्रपति का चुनाव 6 अगस्त को होगा. उपराष्ट्रपति पद के लिए यदि निर्विरोध निर्वाचन नहीं हुआ तो उसी दिन मतों की गणना भी होगी.
संसद में अभी भारतीय अंटार्कटिक विधेयक, बाल विवाह रोकथाम संशोधन विधेयक, राष्ट्रीय डोपिंग रोधी विधेयक और जैव विविधता संशोधन विधेयक जैसे महत्वपूर्ण विधेयक लंबित हैं. सत्र के दौरान संसदीय समितियां महत्वपूर्ण विषयों पर अपनी रिपोर्ट भी प्रस्तुत करेंगी. संसदीय कार्य मंत्री प्रह्लाद जोशी ने अपने ट्वीट में कहा था कि 18 जुलाई से 12 अगस्त तक चलने वाले मानसून सत्र में 18 बैठकें होगी.
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Tags: Monsoon Session, ParliamentFIRST PUBLISHED : July 03, 2022, 13:55 IST