एक कमरे की कीमत तुम क्या जानो OYO ने नहीं दिया 1 रूम अब देने पड़ गए 16 लाख

OYO Latest News:यह मामला तमिलनाडु के थूथुकुडी में एक जिला उपभोक्ता विवाद निवारण आयोग (कंज्‍यूमर कोर्ट) ने ओयो के संस्थापक रितेश अग्रवाल और चेन्नई के एक गेस्ट हाउस को म‍िलकर ₹16 लाख से अधिक का मुआवजा देने का निर्देश दिया है. बताया जा रहा है क‍ि स्‍टूडेंट ने होटल बुकिंग करवाई थी लेक‍िन वह कैंसल हो गई ज‍िसके बाद लॉ स्टूडेंट की पढ़ाई की गुंजाइश खत्‍म हो गई थीं.

एक कमरे की कीमत तुम क्या जानो OYO ने नहीं दिया 1 रूम अब देने पड़ गए 16 लाख
चेन्‍नई. ओयो रूम्‍स (Oyo Rooms)आपने हर जगह देखें होगे, पर इस कंपनी को एक स्‍टूडेंट ने उसकी घट‍िया सर्व‍िस के ल‍िए कोर्ट में घसीट ल‍िया. ज‍िसके बाद कोर्ट ने इस मामले में जो फैसला द‍िया वो भी आपको जानना चाह‍िए. उपभोक्ता अदालत ने ओयो पर अनुचित व्यापार व्यवहार के लिए कंपनी और गेस्ट हाउस को जवाबदेह ठहराया. इसके बदले में कोर्ट ने दोनों पर 16 लाख रुपये का मुआवजा स्‍टूडेंट को देने का आदेश द‍िया. यह मामला तमिलनाडु के थूथुकुडी में एक जिला उपभोक्ता विवाद निवारण आयोग (कंज्‍यूमर कोर्ट) ने ओयो के संस्थापक रितेश अग्रवाल और चेन्नई के एक गेस्ट हाउस को म‍िलकर ₹16 लाख से अधिक का मुआवजा देने का निर्देश दिया है. बताया जा रहा है क‍ि स्‍टूडेंट ने होटल बुकिंग करवाई थी लेक‍िन वह कैंसल हो गई ज‍िसके बाद लॉ स्टूडेंट की पढ़ाई की गुंजाइश खत्‍म हो गई थीं. इसके बाद स्‍टूडेंट ने कोर्ट में अर्जी दाख‍िल की थी ज‍िस पर कंज्‍यूमर कोर्ट ने यह फैसला सुनाया है. क्‍या था मामला? शिकायतकर्ता ने अर्जी में कहा था क‍ि 2022 में उसने 3 दिनों के लिए चेन्नई में एक होटल बुक किया था. उसने बताया क‍ि उसकी छोटी बहन, जो लॉ की छात्रा है. उसको ऑल इंडिया लॉ एंट्रेंस टेस्ट (AILET) देना था. ऑनलाइन बुक‍िंग होने के बाद भी होटल ने इसे मानने से इनकार कर दिया. इतना ही नहीं ओयो ने क‍िसी दूसरे होटल में वैकल्पिक व्‍यवस्‍था प्रदान करने में व‍िफल रहा. जब उनके पास कोई ऑप्‍शन नहीं रहा तो उन्‍होंने ज्‍यादा पैसे देकर गेस्‍ट हाउस बुक करवाया. इसके चलते दोनों भाई-बहन को कई समस्‍या हुईं. ओयो पर लगाया क्‍या आरोप? स्‍टूडेंट ने अर्जी में दलील दी क‍ि रूम लेने के ल‍िए उन्‍हें बहुत भटकना पड़ा और एग्‍जाम से पहले इसका मेरी बहन के मानस‍िक स्‍थ‍िति पर बुरा असर पड़ा. स्‍टूडेंट ने कहा क‍ि इसके चलते एग्‍जाम में मेरी बहन अच्‍छा परफॉर्म नहीं कर सकी और उसका परीक्षा खराब गई. इसकी वजह से नामचीन नेशनल लॉ यूनिवर्सिटी (NLU) में एडम‍िशन पाने का मौका उसके हाथ से चला गया. 25 जुलाई को फैसले में कंज्‍यूमर कोर्ट के अध्यक्ष ए थिरुनीला प्रसाद और सदस्यों एन नामचिवयम और ए शंकर ने माना कि OYO और गेस्ट हाउस की दोनों के साथ गलत व्‍यवहार क‍िया. इसके चलते लड़की के फ्यूचर काफी प्रभाव‍ित हुआ. कोर्ट ने द‍िया क्‍या आदेश? कोर्ट ने इस मामले में दोनों पार्ट‍ियों भुगतान करने का आदेश दिया है. – इसमें बुकिंग और यात्रा व्यय के लिए ₹6,797, – बहन की कोर्स फीस के लिए ₹1.23 लाख, – बहन के टूटे सपनों, प्रयासों और बर्बाद हुए समय के लिए मुआवजे के रूप में ₹10 लाख, – शिकायतकर्ता और उसकी बहन दोनों को हुई मानसिक पीड़ा के लिए ₹5 लाख, – लीगल एड के ल‍िए ₹10,000 अदालत ने इस बात पर जोर दिया कि ओयो और गेस्‍ट हाउस की लापरवाही ने याच‍िकाकर्ता की बहन के सपने और कड़ी मेहनत को ‘मृगतृष्णा’ में बदल दिया है. यह आदेश एकपक्षीय रूप से पारित किया गया क्योंकि न तो ओयो और न ही गेस्ट हाउस अदालत के समक्ष उपस्थित हुए. Tags: Consumer CourtFIRST PUBLISHED : September 4, 2024, 16:50 IST jharkhabar.com India व्हॉट्सऐप चैनल से जुड़ें
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