पूर्वांचल के तराई इलाकों में क्यों हो रही लंग्स इंफेक्शन और पथरी की समस्या

Science News: गोरखपुर यूनिवर्सिटी के शिक्षक प्रो. अभय कुमार ने अपने शोध में पाया है कि पूर्वांचल के तराई क्षेत्र में मौसम में आए बदलाव की वजह से लोगों को सांस संबंधी बीमारियां हो रही हैं. इसके अलावा पानी की गुणवत्ता सही नहीं होने के कारण महिलाओं में गॉलब्लैडर स्टोन यानी पथरी के लक्षण दिखाई पड़ रहे हैं.

पूर्वांचल के तराई इलाकों में क्यों हो रही लंग्स इंफेक्शन और पथरी की समस्या
रजत भटृ/गोरखपुर. यूपी के पूर्वांचल के तराई इलाकों में लोगों को फेफड़े का संक्रमण (Lungs Infection) और खासकर महिलाओं में गाल ब्लैडर (Gall Bladder Stone) की समस्या ज्यादा पाई जा रही है. यह चौंकाने वाली जानकारी गोरखपुर यूनिवर्सिटी के बॉटनी डिपार्टमेंट के प्रोफेसर अभय कुमार के रिसर्च से सामने आई है. प्रो. कुमार ने लोकल18 को बताया कि पूर्वांचल के तराई क्षेत्र का वातावरण काफी ह्यूमिड (Humid) रहता है. यहां बरसात भी काफी होती है. इसकी वजह से जलवायु परिवर्तन का प्रभाव पड़ता है. यही वजह है कि लंग्स इन्फेक्शन की समस्या ज्यादा आ रही है. प्रो. अभय कुमार के मुताबिक मौसमी बदलाव के कारण लोगों में कई तरह की बीमारियां देखी जा रही है. इसमें खास है ब्रोंकाइटिस (Bronchitis). यह बीमारी धूल या किसी पार्टिकुलर डस्ट पार्टिकल से होती है. वातावरण में धूल की मात्रा अधिक होने के कारण यह मानव शरीर में पहुंचता है, जिसके कारण फेफड़े सिकुड़ जाते हैं. शरीर के अंदर लगातार धूल-मिट्टी के जाने से फेफड़ों में संक्रमण होता है. महिलाओं में गॉलब्लैडर स्टोन की समस्या ज्यादा प्रो. अभय कुमार ने लोकल18 को बताया कि तराई क्षेत्र की महिलाओं में गॉलब्लैडर स्टोन की समस्या काफी ज्यादा है. इसका मुख्य कारण है कि इस क्षेत्र में पानी और खान-पान की व्यवस्था सही नहीं है. साथ ही यहां पाए जाने वाले पानी में कई ऐसे मिनरल्स (Mineral) हैं, जो लोगों के गाल ब्लैडर स्टोन के ‘फार्मेस’ को बढ़ा देते हैं. साल्मोनेला टाइफी (Salmonella Typhi) बैक्टीरिया जो टाइफाइड को बढ़ाता है. कई बार एंटीबायोटिक खाने के बाद लोगों का टाइफाइड खत्म हो जाता है, लेकिन यह बैक्टीरिया पेट में मौजूद रहता है. फिर आगे यही गाल ब्लैडर में जाकर स्टोन बनता है. बीमारियों से बचाव के तरीके तराई क्षेत्र के इस पूरे वातावरण पर अध्ययन करने वाले प्रो. अभय कुमार बताते हैं कि बनारस यूनिवर्सिटी में इस पर अध्ययन किया गया था. इस विषय में अभी भी फॉलोअप किया जा रहा है. जहां तक महिलाओं के गाल ब्लैडर स्टोन और कैंसर की बात है तो उन्हें इस बैक्टीरिया से बचने के लिए सफाई का बेहद ध्यान रखना होगा. साथ ही लंग्स इन्फेक्शन की समस्या से बचने के लिए लोगों को अपने आसपास का वातावरण सही रखना होगा. साफ-सफाई रखनी होगी, पेड़-पौधे लगाने होंगे. खान-पान का विशेष ख्याल रखना होगा, ताकि मौसमी बदलाव से होने वाली दिक्कतों से बचा जा सके. Tags: Air pollution, Gorakhpur news, Local18, Science news, UP news, Water PollutionFIRST PUBLISHED : May 23, 2024, 16:50 IST jharkhabar.com India व्हॉट्सऐप चैनल से जुड़ें
Note - Except for the headline, this story has not been edited by Jhar Khabar staff and is published from a syndicated feed