अलीगढ़ का ये धाम है बेहद खास यहां भगवान श्रीकृष्ण ने किया था विश्राम

भक्त प्रदीप पुंडीर बताते हैं कि खेरेश्वर धाम मंदिर एक ऐतिहासिक धर्मस्थल है. इस मंदिर का इतिहास द्वापर काल से जुड़ा हुआ है. बताया जाता है कि यहां भगवान श्री कृष्ण और दाऊजी महाराज स्वंय अपनी सेना के साथ यहां आए थे. वे मथुरा से गंगा स्नान के लिए राजघाट जा रहे थे. इस दौरान उन्होंने इस मंदिर स्थल पर विश्राम किया था.

अलीगढ़ का ये धाम है बेहद खास यहां भगवान श्रीकृष्ण ने किया था विश्राम
अलीगढ़ /वसीम अहमद: अलीगढ़ के खेरेश्वर धाम मंदिर में भगवान श्री कृष्ण ने पांडवों के साथ आकर शिवलिंग की पूजा और हवन किया था. इसलिए यह मंदिर सिद्ध पीठ के रूप में प्रसिद्ध हो गया. आज दूर-दूर से श्रद्धालु भगवान भोलेनाथ के दर्शन के लिए यहां पर आते हैं. मंदिर अलीगढ़ जिला मुख्यालय से करीब 13 किलोमीटर दूर खैर बाईपास पर खेरेश्वर चौराहा के पास बना है.ये श्रद्धालुओं की अपार श्रद्धा एवं भक्ति का केंद्र है. जानकारी देते हुए भक्त प्रदीप पुंडीर बताते हैं कि खेरेश्वर धाम मंदिर एक ऐतिहासिक धर्मस्थल है. इस मंदिर का इतिहास द्वापर काल से जुड़ा हुआ है. बताया जाता है कि यहां भगवान श्री कृष्ण और दाऊजी महाराज स्वंय अपनी सेना के साथ यहां आए थे. वे मथुरा से गंगा स्नान के लिए राजघाट जा रहे थे. इस दौरान उन्होंने इस मंदिर स्थल पर विश्राम किया था. कहा जाता है कि दाऊजी महाराज ने रास्ते में अपने हल की धुलाई की थी. इसी के चलते उस जगह को हल दुआ के नाम से जाना जाने लगा. खेरेश्वेर धाम की मान्यता ब्रज की देहरी कहे जाने वाले अलीगढ़ का इतिहास पौराणिक कथा और कहानियों से भी जुड़ा हुआ है. साक्षात भगवान श्री कृष्ण के चरण अलीगढ़ की धरती पर पड़ चुके हैं. लोधा क्षेत्र में स्थित सिद्धपीठ खेरेश्वर धाम भगवान श्री कृष्ण अपने बड़े भाई बलराम के साथ आए हुए थे. पांडवों के साथ उन्होंने खेरेश्वर धाम स्थित शिव मंदिर पर हवन भी किया था. इसलिए पश्चिमी उत्तर प्रदेश में खेरेश्वर धाम की मान्यता है और यहां कई प्रांतों के श्रद्धालु भगवान भोलेनाथ और श्री बांके बिहारी जी के स्वरूप का दर्शन कर उनका आशीर्वाद लेते हैं. स्वामी हरिदास जी की कर्म स्थली के रूप में भी खेरेश्वर धाम को जाना जाता है. दूर-दूर से दर्शन करने आते हैं लोग मंदिर कमेटी के अध्यक्ष सतपाल सिंह ने बताया कि भगवान श्री कृष्ण खेरेश्वर धाम में रुके थे. इसलिए धीरे धीरे खेरेश्वर धाम की पौराणिक मान्यता और वहां भक्तों का आना शुरू हो गया. ऐसा भी बताया जाता है कि भगवान श्री कृष्ण ने पांडवों के साथ आकर उन्होंने शिवलिंग की पूजा और हवन किया था. इसीलिए यह मंदिर सिद्ध पीठ के रूप में प्रसिद्ध हो गया. आज जिले भर के साथ ही दिल्ली, गाजियाबाद, नोएडा आदि जगहों से भी श्रद्धालु भगवान भोलेनाथ के दर्शन के लिए यहां पर आते हैं. Tags: Aligarh news, Local18, UP newsFIRST PUBLISHED : June 13, 2024, 14:30 IST jharkhabar.com India व्हॉट्सऐप चैनल से जुड़ेंDisclaimer: इस खबर में दी गई जानकारी, राशि-धर्म और शास्त्रों के आधार पर ज्योतिषाचार्य और आचार्यों से बात करके लिखी गई है. किसी भी घटना-दुर्घटना या लाभ-हानि महज संयोग है. ज्योतिषाचार्यों की जानकारी सर्वहित में है. बताई गई किसी भी बात का Local-18 व्यक्तिगत समर्थन नहीं करता है.
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