बहराइच में भेड़ियों के आतंक के बाद अब एक बाघ ने उत्तर प्रदेश के लखीमपुर खीरी जिले में बवाल मचा दिया है. बाघ इंसानी खून का प्यासा हो गया है. एक किसान पर हमला कर दिया है. किसान खेतों पर जाने से डर रहे हैं. इधर, वन विभाग कोशिश तो कर रहा है लेकिन बाघ अभी पिंजरे से बाहर है.
वन विभाग के लिए चुनौती बना आदमखोर बाघ
महेशपुर रेंज की बिलहरी बीट के ग्राम इमलिया अजान में एक युवक को मारने वाला बाघ वन विभाग के लिए बड़ी चुनौती साबित हो रहा है. बाघ को पिंजरे में फंसाने के लिए वन विभाग नए-नए तरीकों का इस्तेमाल कर रहा है. अब वनकर्मियों ने जालीदार ट्रैक्टर से पेट्रोलिंग शुरू कर दी है.
कहां-कहां मिली लोकेशन
बाघ की लोकेशन इमलिया, अजान, घरथनिया, बघमरा और मूड़ा इलाके में मिल रही है. नए प्रयास के तहत वन विभाग ने गन्ने के खेतों के बीच से गुजरने वाले चक मार्गों को ट्रैक्टर से जोतवाया है. जोताई से मिट्टी नरम हो गई है, जिससे बाघ के पगचिह्न साफ दिखाई दे रहे हैं. हालांकि, बाघ लगातार अपनी जगह बदल रहा है, जिस कारण उसे पकड़ना वन विभाग के लिए चुनौती बना हुआ है.
खेत पर नहीं जा पा रहे किसान
बाघ के डर से किसान अपने खेतों में नहीं जा पा रहे हैं. वहीं, वन विभाग लगातार ग्रामीणों को जागरूक करने का प्रयास कर रहा है. इस दौरान बाघ पिंजरों और कैमरों के करीब भी आ चुका है. बताया जा रहा है कि बाघ ने गन्ने के खेतों में नीलगाय का शिकार भी किया है. माना जाता है कि बाघ एक शिकार को तीन दिन तक खाता है और फिर नया शिकार करने के लिए निकलता है.
फिलहाल, बाघ की मौजूदगी से पूरे इलाके में डर का माहौल है. किसान अपने खेतों में जाने से बच रहे हैं. कई जगहों पर बाघ से बचाव और जागरूकता के लिए बैनर और पोस्टर भी लगाए गए हैं. वन विभाग ने चार पिंजरे और 24 निगरानी कैमरे लगाए हैं. बाघ की तस्वीर तो कैमरों में कैद हो गई है, लेकिन अभी तक वह पिंजरे में नहीं फंसा है. वन विभाग की टीम लगातार उसकी तलाश कर रही है और गन्ने के खेतों में ड्रोन कैमरों से निगरानी भी की जा रही है.
FIRST PUBLISHED : September 9, 2024, 10:59 IST jharkhabar.com India व्हॉट्सऐप चैनल से जुड़ें Note - Except for the headline, this story has not been edited by Jhar Khabar staff and is published from a syndicated feed