हिमाचल विधानसभा सत्रः पहले दिन खूब तपा तपोवन अंदर-बाहर हंगामा 4 विधेयक पेश
हिमाचल विधानसभा सत्रः पहले दिन खूब तपा तपोवन अंदर-बाहर हंगामा 4 विधेयक पेश
Himachal Assembly Session 2024: हिमाचल प्रदेश के धर्मशाला में तपोवन में शीत सत्र का आगाज हुआ. पहले दिन काफी गहमागहमी रही. सरकार और विपक्ष में टकराव भी देखने को मिला.
धर्मशाला. हिमाचल प्रदेश विधानसभा के शीतकालनी सत्र का आगाज हंगामे से साथ हुआ. विपक्ष ने सदन के भीतर और बाहर सत्तापक्ष को घेरने की पूरी कोशिश की लेकिन सत्ताधारी कांग्रेस से भी विपक्षी भाजपा को करारा जवाब मिला. धर्मशाला का तपोवन सत्र के पहले दिन भ्रष्टाचार के मुद्दे पर तपा. भाजपा ने भ्रष्टाचार के मुद्दे पर काम रोको प्रस्ताव लाया, जिसे सरकार ने स्वीकार किया जिसके चलते न प्रश्नकाल हो पाया और न ही शून्यकाल हो पाया. इस बीच 4 संशोधन बिल प्रस्तुत करने में सत्ता पक्ष कामयाब रहा. सदन में कई बार हंगामा देखने को मिला. एक बार विपक्ष ने नारेबाजी की तो कई मौके ऐसे आए जब दोनों पक्षों के बीच तीखी नोक-झोंक भी हुई. चर्चा के दौरान जब पूर्व केंद्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर का जिक्र सीएम सुखविंदर सिंह सुक्खू ने किया तो विपक्षी इस पर भड़के गए.
दरअसल, बुधवार सुबह 11 बजे सदन की कार्यवाही शुरू होने पर सबसे पहले राष्ट्रीय ई–विधान व्यवस्था का शुभारंभ किया गया.
हिमाचल प्रदेश विधान सभा तपोवन आज से ई- विधान प्रणाली छोड़कर राष्ट्रीय ई- विधान ऐप्लिकेशन (नेवा) पर माईग्रेट हो गई है. इस दौरान मुख्यमंत्री सुखविन्दर सिंह सुक्खू और नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर विधान सभा अध्यक्ष के आसन के दाईं और बाईं और बैठे नजर आए. स्पीकर, सीएम और नेता प्रतिपक्ष ने सदन को संबोधित किया और सभी को ई- विधान ऐप्लिकेशन यानी नेवा की बधाई दी.
इसके बाद सदन 10 मिनट के लिए स्थिगित किया गया. सदन की कार्यवाही फिर से शुरू हूई तो प्रश्नकाल शुरू होने से पहले विपक्ष ने नियम 67 के तहत चर्चा मांगी जिसे स्वीकार किया गया. सरकार के दो साल पूरे होने पर भाजपा की ओर से राज्यपाल को 2 सालों के कार्यकाल के दौरान हुए कथित भ्रष्टाचार के काले चिट्ठे पर चर्चा मांगी. प्रस्ताव को स्वीकार करते हुए सीएम ने कहा कि सरकार स्थगन प्रस्ताव पर चर्चा के लिए तैयार है.
भाजपा की ओर से वरिष्ठ विधायक रणधीर शर्मा ने चर्चा की शुरूआत करते हुए सदन में कहा कि सरकार ने जश्न मनाया, लेकिन जश्न में उपलब्धियां कम थी और बीजेपी को कोसने की बातें ज्यादा थी, जो ये दर्शाता है कि कांग्रेस सरकार को बीजेपी का फोबिया है.उन्होंने कहा कि राज्यपाल को सौंपे ज्ञापन में कांग्रेस सरकार पर अनेक आरोप लगाए हैं, उन आरोपों के तथ्य भी दिए हैं. सरकार उसका जवाब दे, इन दो सालों में सरकार ने केवल अपनी पीठ थपथपाई है, एक्साइज पॉलिसी में अपनी पीठ थपथपाई है, लेकिन असलियत यह है कि उस पॉलिसी के तहत शराब घोटाला हुआ है.
उन्होंने विद्युत परियोजना को लेकर गुमनाम पत्र का जिक्र किया जिसमें कथित तौर पर सीएम कार्यालय को 25 करोड़ देने की बात का जिक्र किया. उन्होंने कहा कि सीएम के विधानसभा क्षेत्र नादौन में सीएम के 3 दोस्तों ने कुछ समय पहले 2 लाख 60 हजार में जमीन ली थी. सरकार बनने के बाद 400 प्रतिशत की वृद्धि के साथ एचआरटीसी को 6 करोड़ 73 लाख में बेच दिया औऱ चहेतों को लाभ पहुंचाया. इस बीच सीएम ने उन सभी के नाम लेने की भी नसीहत दी सीएम ने विपक्षी सदस्यों के सदन में नदारद रहने पर इस मुद्दे की गंभीरता का सवाल कई बार उठाया.
इसको लेकर News 18 से बातचीत में शिक्षा मंत्री रोहित ठाकुर ने विपक्ष पर साधा निशाना और सरकार के खिलाफ प्रदर्शन को विपक्ष की बौखलाहट करार दिया. बीजेपी के प्रदर्शन पर कैबिनेट मंत्री यादविंदर गोमा ने कहा कि बीजेपी को सदन बाहर जाने की जल्दी है, बीजेपी के भीतर नेताओं में वर्चस्व की जंग चल रही है और इसलिए प्रदर्शन किए जा रहे हैं.
हिमाचल भवन और होटलों को लेकर सरकार को घेरा
रणधीर शर्मा ने हिमाचल भवन दिल्ली और पर्यटन निगम के 18 होटलों को लेकर हाई कोर्ट के आदेशों के बहाने सरकार को घेरा और कहा कि सरकार इन्हें निजी हाथों में देना चाहती. इस के बाद भी कई आरोप लगाए. भाजपा की ओर से बलवीर वर्मा, सुरेंद्र शौरी औऱ सत्तपाल सत्ती ने भी कई आरोप लगाए.
इसी बीच सीएम ने सदन में फिर कहा कि विपक्ष की ओर से काम रोको प्रस्ताव लाया गया है और फिर से नेता प्रतिपक्ष सदन में नहीं हैं, इस से गंभीरता का पता चलता है, सरकार हर आरोप का जवाब देगी, विपक्ष ने काल्पनिक बातें कही हैं और एचआरटीसी की जमीन को लेकर जो कहा है वो तो भाजपा नेता रविंद्र रवि का आदमी है, रवि अनुराग ठाकुर के करीबी है और दूसरा विजय अग्निहोत्री का करीबी आदमी है, इस मामले में अनुराग ठाकुर और राजेंद्र राणा ग्रुप की राजनीतिक लड़ाई चल रही है. इस पर फिर से सीएम और रणधीर शर्मा के बीच हल्की बहस हुई और सदन की कार्यवाही फिर से 10 मिनट के लिए स्थगित की गई. हिमाचल विधानसभा की कार्यवाही के दौरान जयराम ठाकुर से मिलते सीएम सुक्खू.
विपक्ष की आत्मा सदन के बाहर है, शरीर यहां है-मुकेश
सदन की कार्यवाही फिर से शुरू हुई तो डिप्टी सीएम मुकेश अग्निहोत्री ने सदन में कहा कि विपक्ष की आत्मा सदन के बाहर है, शरीर यहां है और आत्मा बाहर है, विपक्ष की प्लानिंग गड़बड़ हो गई, इन्हें लगा था कि हम स्थगन प्रस्ताव देंगे जो स्वीकार नहीं होगा और हम सदन से बाहर चले जाएंगे, ऐसा नहीं हो पाया, अध्यक्ष जी इन्हें बाहर जाने की अनुमति दें.
भोजनावकाश के बाद सीएम ने सरकारी कर्मचारियों की भर्ती और सेवा शर्तें विधेयक में संख्यांक 39 को पुर:स्थापित किया, इसके बाद पुलिस अधिनियम 2007 में संशोधन विधेयक भी सदन में प्रस्तुत किया. राजस्व मंत्री जगत सिंह नेगी ने लैंड सीलिंग एक्ट में संशोधन विधेयक प्रस्तुत किया. पंचायत राज मंत्री अनिरूद्ध सिंह हिमाचल प्रदेश पंचायती राज अधिनियम 1994 के अधिनियम संख्यांक 4 में संशोधन विधेयक प्रस्तुत किया.
इसके बाद, काम रोको प्रस्ताव पर फिर से चर्चा हुई तो दोनों पक्षों में खूब नोक-झोंक देखने को मिली. इसी बीच नेता प्रतिपक्ष जय राम ठाकुर ने सदन में कहा कि स्थगन प्रस्ताव पर कोई और कार्य सदन में नहीं होता, लेकिन बिल प्रस्तुत कर नियमों की धज्जियां उड़ाई गई, इसे फिर से प्रस्तुत किया जाए. इसके जवाब में संसदीय कार्य मंत्री हर्षवर्धन चौहान ने कहा कि नियम 67 को आज तक के इतिहास में केवल हमारी सरकार ने स्वीकार किया है. यह बिल बहुत जरूरी थे इसलिए प्रस्तुत किए गए.इसके बाद बीजेपी विधायक सतपाल सत्ती ने भ्रष्टाचार के खिलाफ मिलकर लड़ाई लड़ने की कही बात, अधिकारियों पर कमीशनखोरी के गंभीर आरोप भी लगाए. सदन में कार्यवाही के दौरान सीएम सुक्खू.
सीएम सुक्खू ने दिए जवाब
सत्र के पहले दिन की कार्यवाही समाप्त होने पर सीएम सुक्खू ने कहा कि नियम 67 के तहत भ्रष्ट्राचार के मुद्दे पर काम रोको प्रस्ताव वाले खुद ही सदन में उपस्थित नहीं थे. जय राम ठाकुऱ भी सदन में गायब रहे. मुद्दा कोई नहीं है बस विपक्ष को आरोप लगाने हैं, बीजेपी 5 गुटों में बंटी हुई है. उन्होंने कहा कि आज भाजपा प्रदेश अध्यक्ष राजीव बिंदल के नेतृत्व में प्रदर्शन किया, बिंदल जब स्वास्थ्य मंत्री थे तो उस समय पीपीई किट घोटाला हुआ. भाजपी की आंतरिक राजनीति और अंदरूनी कलह से उन्हे स्वास्थ्य मंत्री के पद से हटाया गया और आज उसी भ्रष्ट्राचार के मुद्दे पर भाजपा उन्हीं के नेतृत्व पर प्रदर्शन कर रही है. विपक्ष इस मुद्दे पर गंभीर नहीं था, इसका पता इस बात से चलता है कि जय राम ठाकुर 3 बजे तक सदन में नहीं आए. भाजपा के 28 में से 14 सदस्य सदन में चर्चा के दौरान नहीं आए. भाजपा ने सोचा था कि सरकार प्रस्ताव स्वीकार नहीं करेगी. भाजपा के पास कोई तथ्य नहीं थे, इसलिए राज्यपाल अभिभाषण पर चर्चा की तरह अपनी बात कह रहे थे. हिमाचल प्रदेश के धर्मशाला में विधानसभा के बाहर प्रदर्शन करते भाजपा नेता और पूर्व सीएम जयराम ठाकुर.
सीएम ने कहा कि अब कल तथ्य हमारी सरकार पेश करेगी, जिनके खिलाफ भ्रष्टाचार के साक्ष्य होंगे उनके खिलाफ कार्रवाई की जाएगी. कल चर्चा पर मेरे जवाब से पहले विपक्षी वॉकआउट कर देंगे. जिस जमीन खरीद की बात भाजपा कह रही है उसमें तीनों लोग अनुराग ठाकुर के समर्थक हैं. भाजपा अनुराग ठाकुर के समर्थकों के खिलाफ चार्जशीट लेकर आए हैं. भाजपा में बिंदल, जय राम ठाकुर, अनुराग ठाकुर का अलग-अलग गुट है और एक गुट कांग्रेस से गई गंदगी का है.
नेता प्रतिपक्ष की कुर्सी गई है, कुर्सी का दर्द बहुत होता है मैं भी कई बार कुर्सी से हटा हूं. ये पहला मौका है कि जो भ्रष्टाचार पर चर्चा लाए और जिन्होंने चर्चा स्वीकार की वो चर्चा में बैठे हैं और जो चर्चा लाए वो भाग रहे हैं. विपक्ष की दुर्दशा पर दुख हो रहा है, भाजपा अनुशासित पार्टी थी और आज कांग्रेस से गई गंदगी ने भाजपा में भी गंदगी डालना शुरू कर दिया है, भाजपा में भी अनुशासनहीनता आ गई है. इन दो सालों में कोई भ्रष्टाचार नहीं हुआ है. उल्टा चोर कोतवाल को नहीं डांट सकता है.
सीएम के आरोपों पर पलटवार करते हुए प्रतिपक्ष जय राम ठाकुर ने कहा कि मुख्यमंत्री सुक्खू की अगुवाई में प्रदेश सरकार दो साल का कार्यकाल में सरकार भ्रष्टाचार के मामलों में उलझ कर रह गई है जिनका जवाब देने में उन्हें कठिनाई महसूस हो रही है. उन्होंने कहा कि इन दो सालों के कार्यकाल को लेकर हमारी ओर से कुछ सवाल खड़े किए गए हैं जिसका ज्ञापन राज्यपाल को भी सौंपा गया है, अब तक सरकार की ओर से इस बाबत कोई जवाब नहीं दिया गया है. इसी के चलते आज सदन में स्थगन प्रस्ताव लाकर इस मुद्दे पर चर्चा मांगी थी. सरकार के ऊपर भ्रष्टाचार के जो आरोप लगे हैं, वो बेहद गंभीर हैं और जवाब देने की बजाय दांए बांए करने की कोशिश हो रही है. आरोप गंभीर हैं और तथ्यों के साथ हैं, मगर जवाब देने में रुचि नहीं है. प्रदर्शन के दौरान भाजपा नेता गोबर और दुध लेकर पहुंचे थे.
नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि उन्हें उम्मीद है कि चर्चा के जवाब में सीएम निश्चित तौर पर ये कहेंगे कि वो इन इन मामलों में जांच और कार्रवाई करेंगे तब वो मानेंगे. जय राम ठाकुर ने सीएम की ओर से भाजपा के गुटों में बंटने संबंधी सवाल पर पलटवार करते हुए कहा कि सीएण को भाजपा को ज्ञान देने की जरूरत नहीं है. भाजपा देश ही नहीं दुनिया की सबसे बड़ी पार्टी है, कांग्रेस तो सार्वजनिक मंच पर अपने ही प्रदेशाध्यक्ष को बोलने नहीं देती, पार्टी के ही विधायक पार्टी को छोड़कर चले गए, ये होती है गुटबाजी, भाजपा हमेशा अनुशासन का पालन करती है इसलिए एकजुट भी है.
Tags: CM Sukhwinder Singh Sukhu, Himachal Politics, Jairam ThakurFIRST PUBLISHED : December 19, 2024, 06:54 IST jharkhabar.com India व्हॉट्सऐप चैनल से जुड़ें Note - Except for the headline, this story has not been edited by Jhar Khabar staff and is published from a syndicated feed