क्या भारतीयों के पास हो सकती है दोहरी नागरिकता इसे लेकर क्या हैं कानून

Can Indians have dual citizenship? दोहरी नागरिकता का मतलब है कि उसके पास दो देशों की नागरिकता है. दोहरी नागरिकता की स्थिति में उस व्यक्ति को दोनों देशों के अधिकार और विशेषाधिकार हासिल होते हैं. लेकिन भारत का संविधान भारतीय नागरिकता और किसी अन्य देश की नागरिकता एक साथ रखने की अनुमति नहीं देता है.

क्या भारतीयों के पास हो सकती है दोहरी नागरिकता इसे लेकर क्या हैं कानून
Can Indians have dual citizenship? अगर किसी व्यक्ति को एक साथ दो देश नागरिक के तौर पर मान्यता देते हैं तो इसका मतलब है कि उसके पास दोहरी नागरिकता है. दूसरे शब्दों मे कहा जाए तो दोहरी नागरिकता का अर्थ है एक साथ दो देशों का नागरिक होना. नागरिकता को लेकर हर देश का अपना कानून और नियम है. दोहरी नागरिकता किसी को उसकी इच्छा से नहीं मिल सकती. यह एक कानूनी स्थिति है. उदाहरण के लिए अगर किसी अमेरिकी नागरिक के बच्चे का जन्म देश से बाहर होता है तो वह बच्चा खुद ही जन्म लेने वाले देश और अमेरिका का नागरिक बन जाएगा.  दोहरी नागरिकता की स्थिति में व्यक्ति को दोनों देशों के अधिकार और विशेषाधिकार हासिल होते हैं. जैसे कि रहने, काम करने और स्वतंत्र रूप से यात्रा करने की अनुमति, और दोनों देशों में सोशल सर्विस तक पहुंच. इसके तहत व्यक्ति उस देश में मिलने वाले विभिन्न लाभ ले सकता है. जिनमें शिक्षा, स्वास्थ्य देखभाल और सामाजिक सुरक्षा मुख्य हैं. दोहरी नागरिकता रखने से व्यक्तियों को कई पासपोर्ट रखने की भी अनुमति मिलती है, जिससे अंतरराष्ट्रीय यात्रा अधिक सुविधाजनक हो जाती है. कोई भी व्यक्ति जन्म, शादी और नेट्रुलाइजेशन जैसे कई  माध्यमों से दोहरी नागरिकता प्राप्त कर सकता है. हालांकि, दोहरी नागरिकता के साथ कुछ जिम्मेदारियां भी निभानी होती हैं. जैसे दोनों देशों में करों का भुगतान करना और प्रत्येक देश के कानूनों का पालन करना.  ये भी पढ़ें- तिरुपति बालाजी की ‘सीक्रेट रसोई’ में बनाए जाते हैं लड्डू, मंदिर परिसर में किस तरह होती है बिक्री अभी हाल ही में अमेरिका में वाणिज्य दूतावास ने दोहरी नागरिकता पर स्पष्टीकरण दिया था. उसने बताया कि भारत का संविधान भारतीय नागरिकता और किसी विदेशी देश की नागरिकता एक साथ रखने की अनुमति नहीं देता है. भारत सरकार ने कुछ श्रेणी के भारतीय मूल के व्यक्तियों को रजिस्टर  करने का निर्णय लिया है, जैसा कि नागरिकता अधिनियम, 1955 की धारा 7 ए में भारतीय विदेशी नागरिकता (ओसीआई) कार्डधारक के रूप में निर्दिष्ट किया गया है. यह मूल रूप से जीवन भर का वीजा है और इसके साथ कुछ अन्य विशेषाधिकार भी जुड़े हुए हैं. उसने यह भी दोहराया कि ओसीआई कार्ड रखने से इसके धारक किसी भी तरह से दोहरी नागरिकता की स्थिति का दावा करने के हकदार नहीं हो जाते हैं. क्या कहता है भारत का कानून भारत का संविधान किसी भी व्यक्ति को एक ही समय में भारतीय नागरिकता और विदेशी नागरिकता दोनों रखने से रोकता है. हालांकि, भारतीय डायस्पोरा (अनिवासी भारतीय) पर उच्च-स्तरीय समिति की सिफारिशों के आधार पर भारत सरकार ने भारत की विदेशी नागरिकता (ओसीआई) की शुरुआत की, जिसे अक्सर ‘दोहरी नागरिकता’ कहा जाता है. ओसीआई कार्ड उन लोगों के लिए एक विकल्प है जो दूसरे देश की नागरिकता रखते हुए भारत के साथ अपना रिश्ता बनाए रखना चाहते हैं. ये भी पढ़ें- 12 साल पहले शिरडी के लड्डओं में क्यों आने लगी थी बदबू, मिलावट पर तब भी हुआ था बवाल क्या ओसीआई दोहरी नागरिकता के समान है? भारत सरकार ओवरसीज सिटिजनशिप ऑफ इंडिया (OCI) प्रदान करती है, जिसे अक्सर दोहरी नागरिकता के रूप में जाना जाता है. हालांकि ओसीआई पूर्ण नागरिकता का अधिकार प्रदान नहीं करती है. भारत में साल 2005 में ओसीआई देना शुरू किया था. क्या होता है पीआईओ पर्सन ऑफ इंडियन ओरिजन (Person of Indian Origin) वो व्यक्ति होता है, जिसका कोई पूर्वज भारतीय नागरिक था और उसके पास वर्तमान में किसी अन्य देश की नागरिकता है. इन लोगों के पास उसी देश का पासपोर्ट होता है. क्योंकि इन लोगों के पास विदेशी पासपोर्ट होता है इसीलिए भारत में इन्हें कोई विशेष लाभ नहीं मिलता. पीआईओ एक विदेशी नागरिक है जिसकी जड़ें या संबंध भारत में हैं, पाकिस्तान, अफगानिस्तान, बांग्लादेश, चीन, ईरान, भूटान, श्रीलंका और नेपाल के व्यक्तियों को छोड़कर. भारत में ओसीआई के लिए पात्रता मानदंड भारत में दोहरी नागरिकता के लिए आवेदन करने से पहले, विशिष्ट पात्रता मानदंडों पर विचार करना महत्वपूर्ण है, जो दूसरे देशों के आधार पर भिन्न हो सकते हैं. भारत के साथ दोहरी नागरिकता (ओसीआई) के लिए पात्र होने के लिए, निम्नलिखित नियम लागू होते हैं… ये भी पढ़ें- वो शख्स जो चपरासी से बना सुप्रीम कोर्ट का चीफ जस्टिस, जिनके एक फैसले से सांसत में पड़ी थी सरकार वे व्यक्ति जो 7 वर्षों से अधिक समय से भारत में रह रहे हैं. जिनका विवाह भारतीय नागरिकों से हुआ है. ऐसे व्यक्ति जिनके माता-पिता के पास भारतीय नागरिकता है, आवेदक कम से कम एक वर्ष से भारत में रह रहा हो. ऐसे व्यक्ति जो कम से कम 5 वर्षों से भारत के प्रवासी नागरिक (ओसीआई) के रूप में पंजीकृत हैं. दुनिया में कुछ देश हैं जिन्होंने दोहरी नागरिकता की नीति अपनाई है. ये देश भारतीय नागरिकों को ओवरसीज सिटिजनशिप ऑफ इंडिया (ओसीआई) कार्ड के माध्यम से अपनी भारतीय विरासत को बनाए रखने का अवसर प्रदान करते हैं. कनाडा: कनाडा दोहरी नागरिकता की अनुमति देता है, जिससे भारतीय नागरिक कनाडाई नागरिकता का लाभ लेते हुए ओसीआई कार्ड के माध्यम से अपनी भारतीय जड़ों को बनाए रख सकते हैं. ऑस्ट्रेलिया: ऑस्ट्रेलिया दोहरी नागरिकता की अनुमति देता है, जिससे भारतीय नागरिकों को ओसीआई कार्ड के साथ भारतीय और ऑस्ट्रेलियाई दोनों विशेषाधिकारों का लाभ मिलता है. जर्मनी: जर्मनी कुछ शर्तों के तहत दोहरी नागरिकता स्वीकार करता है, जिससे भारतीय नागरिकों को ओसीआई कार्ड के माध्यम से भारत के साथ अपने संबंध बनाए रखने की सुविधा मिलती है. स्वीडन: स्वीडन दोहरी नागरिकता की अनुमति देता है, जिससे भारतीय नागरिक स्वीडिश नागरिक बनते समय ओसीआई कार्ड के साथ अपने भारतीय संबंध को बनाए रख सकते हैं. यूनाइटेड किंगडम: यूके दोहरी नागरिकता की अनुमति देता है, जिससे भारतीय नागरिकों को ब्रिटिश राष्ट्रीयता रखते हुए ओसीआई कार्ड के साथ अपनी भारतीय पहचान बनाए रखने की अनुमति मिलती है. नॉर्वे: नॉर्वे दोहरी नागरिकता स्वीकार करता है, जिससे भारतीय नागरिक नॉर्वेजियन नागरिकता रखते हुए ओसीआई कार्ड के माध्यम से अपनी भारतीय जड़ों को संरक्षित कर सकते हैं. आयरलैंड: आयरलैंड दोहरी नागरिकता की अनुमति देता है, जिससे भारतीय नागरिकों को ओसीआई कार्ड के साथ आयरिश और भारतीय दोनों कनेक्शनों का लाभ उठाने का मौका मिलता है. संयुक्त राज्य अमेरिका: संयुक्त राज्य अमेरिका दोहरी नागरिकता की अनुमति देता है, जिससे भारतीय नागरिक अमेरिकी नागरिक बनते समय ओसीआई कार्ड के माध्यम से अपनी भारतीय विरासत को बनाए रखने में सक्षम होते हैं. फिनलैंड: फिनलैंड दोहरी नागरिकता की अनुमति देता है, जिससे भारतीय नागरिक फिनिश नागरिकता रखते हुए ओसीआई कार्ड के माध्यम से अपने भारतीय संबंधों को बनाए रख सकते हैं. न्यूजीलैंड:  न्यूजीलैंड दोहरी नागरिकता की अनुमति देता है, जिससे भारतीय नागरिकों को न्यूजीलैंड का नागरिक बनने के दौरान ओसीआई कार्ड के साथ अपनी भारतीय पहचान बनाए रखने की अनुमति मिलती है. Tags: Citizenship Act, Citizenship Amendment Act, Indian Citizenship, Indian Constitution, Indian GovernmentFIRST PUBLISHED : September 24, 2024, 13:07 IST jharkhabar.com India व्हॉट्सऐप चैनल से जुड़ें
Note - Except for the headline, this story has not been edited by Jhar Khabar staff and is published from a syndicated feed