पांडुपोल हनुमान मंदिर को लेकर सुप्रीम कोर्ट ने दिए अहम निर्देश जानें क्या कहा
पांडुपोल हनुमान मंदिर को लेकर सुप्रीम कोर्ट ने दिए अहम निर्देश जानें क्या कहा
Alwar News : सुप्रीम कोर्ट ने राजस्थान के अलवर जिले में स्थित सरिस्का टाइगर रिजर्व में स्थित पांडुपोल हनुमान मंदिर को लेकर राजस्थान सरकार को अहम निर्देश दिए हैं. कोर्ट ने कहा है कि वहां निजी वाहनों का प्रवेश बंद किया जाए और श्रद्धालुओं के लिए इलेक्ट्रिक बसें चलाई जाएं.
अलवर. राजस्थान के अलवर जिले में सरिस्का टाइगर रिजर्व में स्थित पांडुपोल हनुमान मंदिर को लेकर देश की शीर्ष अदालत सुप्रीम कोर्ट ने राजस्थान सरकार को सख्त निर्देश दिए हैं. कोर्ट ने कहा है कि पांडुपोल हनुमान मंदिर में प्रवेश को लेकर सख्त नियमों के साथ प्रभावी कार्रवाई करें. आगामी साल 2025 तक वहां निजी वाहनों की जगह इलेक्ट्रिक शटल बसें चलाने समेत टाइगर रिजर्व के बफर जोन में होटलों और रिसोर्ट्स को लेकर भी नियमों में सख्ती बरती जाए. इसके अलावा रिजर्व में बाघों के आवास प्रबंधन से जुड़ी व्यवस्थाओं को बेहतर बनाने के लिए फील्ड स्टाफ की संख्या बढ़ाई जाए.
टाइम्स ऑफ इंडिया में प्रकाशित रिपोर्ट के मुताबिक बुधवार को इस दौरान राजस्थान के अतिरिक्त महाविधवक्ता शिव मंगल शर्मा ने कोर्ट को कहा कि राजस्थान सरकार जल्द ही प्राइवेट वाहनों को रोकने और श्रद्धालुओं को मंदिर तक लाने ले जाने के लिए इलेक्ट्रिक बसें शुरू करने के लिए कदम उठाएगी. महाधिवक्ता ने टाइगर रिजर्व में केन्द्रीय अधिकार प्राप्त समिति (CEC) की ओर गिनाई खामियों को लेकर कहा कि उनकी पालना के लिए प्रदेश के मुख्य सचिव के साथ बैठकर जल्द काम किया जाएगा.
सीईसी ने कर रखी हैं कई सिफारिशें
सीईसी ने टाइगर रिजर्व को सुरक्षित रखने के लिए आगामी 31 मार्च 2025 तक निजी वाहनों का प्रवेश रोकने के साथ ही श्रद्धालुओं के लिए आईसीआईसीआई फाउंडेशन की ओर से वित्त पोषित इलेक्ट्रिक शटल बसें शुरू करने की सिफारिश की थी. वहीं इसके साथ ही कहा था कि बफर क्षेत्र में स्थित सभी होटल और रिसोर्ट को राष्ट्रीय वन्यजीव बोर्ड (एनबीडब्ल्यूएल) और राष्ट्रीय बाघ संरक्षण प्राधिकरण (एनटीसीए) के नियमों से रेगुलाइज किया जाना चाहिए.
मंदिर में बड़ी संख्या में श्रद्धालु आते हैं
उल्लेखनीय है कि सरिस्का स्थित महाभारतकालीन पांडुपोल हनुमान मंदिर काफी प्रसिद्ध है. यहां बड़ी संख्या में श्रद्धालु आते हैं. बीते दिनों यहां श्रद्धालुओं की ओर से प्रसाद सामग्री लाने पर पाबंदी लगाए जाने का मसला भी उठा था. इस मसले को लेकर श्रद्धालु आक्रोशित हो गए थे. उन्होंने वन विभाग पर मनमानी करने आरोप लगाया था. उस समय भी वन विभाग का कहना है कि वह केवल नियमों की पालना कर रहा है. अपनी तरफ से कोई नियम नहीं थोप रहा है.
Tags: Alwar News, Rajasthan news, Tiger reserve newsFIRST PUBLISHED : August 8, 2024, 10:55 IST jharkhabar.com India व्हॉट्सऐप चैनल से जुड़ें Note - Except for the headline, this story has not been edited by Jhar Khabar staff and is published from a syndicated feed