महाकुंभ में इस बार बदला हुआ दिखेगा संगम बन रहे हैं ये सात पक्के घाट
महाकुंभ में इस बार बदला हुआ दिखेगा संगम बन रहे हैं ये सात पक्के घाट
महाकुंभ 2025 से पहले प्रयागराज की तस्वीर बदल जाएगी काशी एवं अयोध्या के तर्ज पर प्रयागराज में भी पक्के घाटों को देखा जा सकेगा. महाकुंभ से पहले दश्वमेघ घाट, रसूला घाट, नेहरू घाट ,महेवा घाट ,किला घाट का निर्माण कार्य पूरा हो जाएगा इन पक्के घाटों के निर्माण के बाद प्रयागराज की तस्वीर बदली बदली नजर आएगी
रिपोर्ट- रजनीश यादव
प्रयागराज: उत्तर प्रदेश के प्रयागराज में लगने वाले महाकुंभ 2025 को लेकर तैयारी चल रही है. कई निर्माण कार्य अपने अंतिम चरण में पहुंच चुके हैं. इस बार लगने वाले महाकुंभ में प्रयागराज को कई बड़ी सौगातें मिल रही हैं जिससे आने वाले श्रद्धालुओं और पर्यटकों को पर्यटन के अनुकूल स्थिति मिलेगी. प्रयागराज संगम क्षेत्र में पक्के घाटों का निर्माण किया जा रहा है जो अयोध्या और काशी के घाटों की तरह स्थाई रहेगा. इससे आने वाले श्रद्धालुओं और पर्यटकों को आसानी होगी.
ये घाट होंगे तैयार
पक्के घाटों का काम जारी है. दो घाट बनकर तैयार भी हो चुके हैं. कुल सात पक्के घाटों का निर्माण महाकुंभ से पहले पूरा कर दिया जाएगा. जिनमें दश्वमेध घाट, रसूलाबाद घाट, ज्ञान गंगा घाट गंगा नदी पर बनेंगे, जबकि किला घाट (वीआईपी घाट), नेहरू घाट (सरस्वती घाट), महेवा घाट, नौकायान घाट को यमुना नदी पर बनाया जा रहा है.
सिंचाई विभाग के मुख्य अभियंता एसके सिंह ने लोकल 18 से बात करते हुए बताया कि इन घाटों का निर्माण कार्य 70 से 80 फ़ीसदी पूर्ण हो चुका है. गंगा और यमुना का जलस्तर नीचे होते ही फिर से काम शुरू कर दिया जाएगा और महाकुंभ से पहले या पक्के घाट बनकर तैयार हो जाएंगे.
इतने करोड़ की आई लागत
प्रदेश सरकार की ओर से गंगा नदी पर तीन और यमुना नदी पर चार पक्के घाट के निर्माण के लिए 73 करोड़ रुपए का बजट जारी किया गया है जिसमें 58 करोड़ के बजट से साथ पक्के घाटों का निर्माण और 15 करोड़ रुपए के बजट से साज सजावट का काम किया जाएगा. इन कार्यों के निर्माण की जिम्मेदारी सिंचाई विभाग के पास है.
सबसे लंबा है यह घाट
प्रयागराज संगम में गंगा और यमुना नदी पर बनाए जा रहे पक्के घाटों में सबसे लंबा पक्का घाट गंगा नदी पर दश्मेघेश्वर घाट है जिसकी लंबाई 110 मीटर है. जिसका 70 फ़ीसदी से अधिक निर्माण कार्य पूरा हो चुका है. 31 अक्टूबर तक इसे पूरा करने का लक्ष्य है. इसके अलावा रसूलाबाद घाट 30 मीटर एवं ज्ञान गंगा घाट की लंबाई भी 30 मीटर है. यमुना नदी पर बनाए जा रहे वीआईपी घाट की लंबाई 60 मीटर है जबकि नेहरू घाट, नवकायन घाट और महेवा घाट की लंबाई 30 मीटर है.
Tags: Local18FIRST PUBLISHED : August 28, 2024, 10:33 IST jharkhabar.com India व्हॉट्सऐप चैनल से जुड़ें Note - Except for the headline, this story has not been edited by Jhar Khabar staff and is published from a syndicated feed