क्या है जनेऊ संस्कार की सही उम्रपहनने के बाद इन बातों का रखें ध्यान!

ज्योतिषाचार्य पंडित राकेश पांडेय ने बताया कि जनेऊ पहनने की उम्र 9, 11 और 13 वर्ष होती है. इसके बाद जनेऊ पहनना उचित नहीं माना जाता है. आजकल लोग शादी के वक्त जनेऊ धारण करते हैं उसका कोई महत्व नहीं होता है.

क्या है जनेऊ संस्कार की सही उम्रपहनने के बाद इन बातों का रखें ध्यान!
अंजलि सिंह राजपूत/लखनऊ : सनातन धर्म में 16 संस्कारों में जनेऊ संस्कार बेहद महत्वपूर्ण माना जाता है. कहते हैं सभी पुरुषों को जनेऊ जरूर पहनना चाहिए. आखिर क्यों सनातन धर्म में पुरुषों के लिए जरूरी है जनेऊ पहनना, इसके क्या नियम होते हैं और कौन इसे पहन सकता है. यही जानने के लिए जब देश के मशहूर ज्योतिषाचार्य पंडित राकेश पांडेय से बात की गई तो उन्होंने बताया कि जनेऊ पहनने की उम्र 9, 11 और 13 वर्ष होती है. इसके बाद जनेऊ पहनना उचित नहीं माना जाता है. आजकल लोग शादी के वक्त जनेऊ धारण करते हैं उसका कोई महत्व नहीं होता है. पंडित राकेश पांडेय ने बताया कि यज्ञोपवीत तीन वर्ण के लोगों का धारण करने का विधान है ब्राह्मण, क्षत्रिय और वैश्य, इनके लिए जनेऊ बेहद महत्वपूर्ण माना गया है. आपको बता दें कि पंडित राकेश पांडेय ने अपने घर पर गुरुकुल की शुरुआत की है. ऐसे पहना जाता है जनेऊ पंडित राकेश ने बताया कि जनेऊ हमेशा बाएं कंधे से पहना जाता है और दाहिने कंधे पर जो ऊपर कान है उसी में अगर लघुशंका जा रहे हैं तो दो बार मोड़ा जाता है और अगर दीर्घ शंका जा रहे हैं तो तीन बार मोड़ा जाता है. इसका वैज्ञानिक महत्व भी है क्योंकि कान के पीछे बारीक नस होती है जो दबती हैं तो हमारा जो अंदर का तंत्र है वह स्वस्थ रहता है. कब अपवित्र हो जाता है जनेऊ? ज्योतिषाचार्य राकेश ने बताया कि जनेऊ कभी भी अपवित्र नहीं होता है. इस पर कोई सूतक भी नहीं लगता है. कभी भी इसे उतरना नहीं चाहिए. अगर जनेऊ का एक धागा भी टूट जाए तो जब तक दूसरा जनेऊ ना पहन लें तब तक पानी भी आप नहीं पी सकते. जनेऊ के नियमों का पालन करना होता है, जो जनेऊ पहनकर इसके नियमों का पालन करता है वह दीर्घायु, तेजस्वी और यशस्वी होता है. जनेऊ पहनने से पहले करें इन मंत्रों का जाप ॐ यज्ञोपवीतं परमं पवित्रं, प्रजापतेयर्त्सहजं पुरस्तात्। आयुष्यमग्र्यं प्रतिमुञ्च शुभ्रं, यज्ञोपवीतं बलमस्तु तेजः।। अगर यह मंत्र ना आता हो तो सिर्फ गायत्री मंत्र ही पढ़कर जनेऊ पहने जा सकता है. . Tags: Dharma Aastha, Local18, Lucknow news, Religion 18, Uttar Pradesh News HindiFIRST PUBLISHED : April 27, 2024, 10:31 IST jharkhabar.com India व्हॉट्सऐप चैनल से जुड़ें
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