तेलंगाना में बीआरएस पार्टी को एक बड़ा झटका लगा है. उसके एक वरिष्ठ नेता को अदालत ने गैर भारतीय करार दिया है. दरअसल, तेलंगाना हाईकोर्ट ने सोमवार को बीआरएस के पूर्व विधायक चेन्नमानेनी रमेश की भारतीय नागरिकता रद्द कर दी. अदालत ने उन्हें जर्मन नागरिक माना है. अदालत ने रमेश पर जर्मन नागरिकता छिपाने और न्यायपालिका को गुमराह करने के लिए 30 लाख रुपये का जुर्माना भी लगाया. यह पहली बार है जब किसी पूर्व विधायक की भारतीय नागरिकता रद्द की गई है.
जस्टिस बी विजयसेन रेड्डी ने कहा कि 2009 से रमेश की गतिविधियों ने वास्तविक भारतीय नागरिकों को चुनाव लड़ने के अधिकार से वंचित कर दिया. इससे पहले केंद्रीय गृह मंत्रालय ने रमेश की भारतीय नागरिकता रद्द कर दी थी. हाईकोर्ट ने गृह मंत्रालय का फैसला बरकरार रखा है. याचिकाकर्ता की ओर से वकील वी रोहित ने तर्क दिया कि रमेश ने 1990 के दशक में जर्मनी में बसने के बाद जर्मन नागरिकता प्राप्त की थी, जहां उन्होंने काम किया, शादी की और परिवार बसाया.
रोहित कांग्रेस के कार्यकर्ता आदि श्रीनिवास के वकील हैं. श्रीनिवास ने ही याचिका दाखिल कर रमेश की नागरिकता रद्द करने की गुहार लगाई थी. रमेश 2009 में पहली बार विधायक चुने गए थे. तब से वह चार बार विधायक बन चुके हैं. उनका लंबा राजनीतिक करियर रहा है. एक जांच में पता चला कि रमेश ने 2008 में भारतीय नागरिकता प्राप्त करने के बावजूद अपना जर्मन पासपोर्ट और नागरिकता बरकरार रखी थी.
Tags: Hyderabad News, Telangana High CourtFIRST PUBLISHED : December 10, 2024, 09:03 IST jharkhabar.com India व्हॉट्सऐप चैनल से जुड़ें Note - Except for the headline, this story has not been edited by Jhar Khabar staff and is published from a syndicated feed