दिल्‍ली में पॉल्‍यूशन पर नियम और सख्‍त स्‍कूल-इंटरस्‍टेट बसों पर फोकस

Delhi Air Pollution Rules: दिल्‍ली और आसपास के इलाकों में एयर पॉल्‍यूशन की स्थिति सर्दियों में गंभीर हो जाती है. AQI का लेवल गंभीर से गंभीरतम स्थिति में पहुंच जाती है, जिससे खुली हवा में सांस लेना भी मुश्किल हो जाता है.

दिल्‍ली में पॉल्‍यूशन पर नियम और सख्‍त स्‍कूल-इंटरस्‍टेट बसों पर फोकस
नई दिल्ली. देश की राजधानी दिल्‍ली और आसपास के इलाकों में ठंड के मौसम में एयर पॉल्‍यूशन की स्थिति काफी गंभीर हो जाती है. हालात ऐसे हो जाते हैं कि खासकर बच्‍चों, बुजुर्गों और सांस की बीमारी से जूझ रहे लोगों को खुली हवा में जाने से परहेज करने की सलाह दी जाती है. कंडीशन के अनुसार, दिल्‍ली एनसीआर में GRAP-1, GRAP-2, GRAP-3 और GRAP-4 लागू किया जाता है, ताकि पॉल्‍यूशन को कंट्रोल किया जा सके और लोगों को इसके हानिकारक प्रभावों से बचाया जा सके. अब एयर पॉल्‍यूशन से निपटने के लिए बड़ा कदम उठाया गया है. एयर क्‍वालिटी पर गठित कमेटी ने नियमों को संशोधित कर उसे और सख्‍त बना दिया गया है. जानकारी के अनुसार, दिल्ली-एनसीआर में एयर क्‍वालिटी पर गठित केंद्र की समिति ने सर्दियों में प्रदूषण से निपटने के लिए एक संशोधित योजना जारी की है. इसके तहत संबंधित राज्यों से एयर क्‍वालिटी खराब होने पर इस सख्त उपाय को लागू करने के लिए कहा गया है. सीवियर एयर पॉल्‍यूशन वाले दिनों में स्‍कूलों के लिए हाइब्रिड लर्निंग को अनिवार्य कर दिया गया है. मौसम की प्रतिकूल स्थिति के कारण खराब एयर क्‍वालिटी की स्थिति आमतौर पर सर्दियों के मौसम के दौरान नवंबर से जनवरी तक रहती है. इस दौरान, दिल्ली में GRAP सिस्‍टम के तहत अक्सर प्रतिबंध लागू किए जाते हैं. इसके तहत एयर क्‍वालिटी को चार चरणों में बांट गया है. पहला चरण, एक्यूआई 201 और 300 (खराब श्रेणी) के बीच होने पर लागू किया जाता है, जबकि दूसरा चरण एक्यूआई 301 और 400 (बहुत खराब) के बीच, तीसरा चरण एक्यूआई 401 और 450 (गंभीर श्रेणी) के बीच और चौथा चरण एक्यूआई 450 से ऊपर (अति गंभीर) होने पर लागू किया जाता है. दिल्‍लीवालों को लगा तगड़ा पलीता, न्‍यू ईयर से पहले लाखों लोगों की जेब हुई ढीली, नहीं सुधरे तो और होगी बुरी हालत सख्‍त होंगे नियम संशोधित योजना के अनुसार, अब दूसरे चरण में ही एनसीआर से आने वाली इंटरस्‍टेट बसों को (इलेक्ट्रिक वाहनों और सीएनजी या बीएस-6 डीजल बसों को छोड़कर) दिल्ली में प्रवेश की अनुमति नहीं दी जाएगी. इससे पहले तीसरे चरण में इस प्रावधान को लागू किया जाता था. संशोधित योजना के तहत RWA को सर्दियों के दौरान ठोस कचरा (सॉलिड वेस्‍ट) को खुले में जलाने से रोकने के लिए सुरक्षा कर्मियों के अलावा सफाई, बागवानी और अन्य सेवाओं में शामिल कर्मियों को इलेक्ट्रिक हीटर उपलब्ध कराने होंगे. इन्‍हें मिलेगी राहत दिव्यांगों को दिल्ली और गुरुग्राम, फरीदाबाद, गाजियाबाद और गौतमबुद्ध नगर जिलों में, तीसरे चरण के तहत बीएस-3 पेट्रोल और बीएस-चार डीजल वाहनों पर लगाए गए प्रतिबंधों से ढील दी गई है. दिल्ली सरकार को GRAP के तीसरे चरण के तहत शहर में आवश्यक वस्तुओं की आपूर्ति करने वाले वाहनों को छोड़कर, बीएस-4 या पुराने मानकों वाले डीजल माल ढुलाई वाहनों (एमजीवी) पर प्रतिबंध लगाने का निर्देश दिया गया है. इसी प्रकार, दिल्ली के बाहर रजिस्‍टर्ड बीएस-4 या उससे पुराने मानकों वाले डीजल चालित हल्के वाणिज्यिक वाहनों को शहर में प्रवेश की अनुमति नहीं दी जाएगी. पहले ऐसे प्रतिबंध केवल बीएस-3 वाहनों पर ही लागू थे. स्‍कूल-कॉलेजों पर खास फोकस समिति ने यह भी निर्देश दिया है कि दिल्ली, गुरुग्राम, फरीदाबाद, गाजियाबाद और गौतमबुद्ध नगर के स्कूल और कॉलेज तीसरे चरण में ही पांचवीं तक की कक्षाओं का संचालन हाइब्रिड मोड (ऑनलाइन और ऑफलाइन दोनों) में करेंगे. छात्रों और अभिभावकों के पास जहां भी ऑनलाइन शिक्षा उपलब्ध होगी, उसे चुनने का विकल्प होगा. GRAP का चौथा चरण तब लागू किया जाता है जब एक्यूआई 450 का आंकड़ा पार कर जाता है, ऐसे में दिल्ली और एनसीआर के स्‍कूलों में छठी कक्षा से नौवीं कक्षा और ग्यारहवीं कक्षा के छात्रों के लिए हाइब्रिड मोड में कक्षाएं चलाने होंगे. Tags: Delhi AQI, Delhi news, Delhi pollutionFIRST PUBLISHED : December 14, 2024, 17:56 IST jharkhabar.com India व्हॉट्सऐप चैनल से जुड़ें
Note - Except for the headline, this story has not been edited by Jhar Khabar staff and is published from a syndicated feed