12वीं में हासिल की 97% अंक पिता के अधूरे सपने के लिए बनीं IPS से IAS

IAS IPS UPSC Success Story: डॉक्टर से आईएएस बनने की कहानी आप में से कई लोगों ने पढ़ा या सुना होगा. लेकिन बहुत ही ऐसी कम कहानियां सुनने को मिलती है, जिसमें अपने पिता के अधूरे सपने को पूरा करने के लिए IPS से IAS बने हों.

12वीं में हासिल की 97% अंक पिता के अधूरे सपने के लिए बनीं IPS से IAS
IAS Success Story: अक्सर देखने या सुनने को मिलता है कि डॉक्टर ने UPSC की परीक्षा को पास करके आईएएस बन गए हैं. लेकिन इस परीक्षा को पास करना एक कठिन चुनौती भी है. ऐसी ही चुनौती को लेने वाली इस डॉक्टर की सिविल सर्वेंट बनने का सफर किसी प्रेरणा से कम नहीं है. उनकी कहानी न केवल व्यक्तिगत महत्वाकांक्षा के बारे में है, बल्कि पीढ़ियों तक फैली पारिवारिक आकांक्षाओं का सम्मान करने के बारे में भी है. हम जिनकी बात कर रहे हैं, उनका नाम मुद्रा गैरोला है. यूपीएससी में हासिल की 53वीं रैंक वर्ष 2022 की यूपीएससी की परीक्षा में 53वीं रैंक लाने वाली मुद्रा गैरोला (Mudra Gairola) उत्तराखंड के चमोली जिले के कर्णप्रयाग की रहने वाली हैं. वह कम उम्र से ही पढ़ने-लिखने में काफी होशियार थी. उन्होंने कक्षा 10वीं की परीक्षा में 96% और कक्षा 12वीं की परीक्षा में 97% अंक हासिल की हैं. उनकी इस उपलब्धि का एक ऐसा मानक स्थापित हुआ, जो उनके आगे बढ़ने के रास्ते के द्वारा खोल दिए. बीडीएस में मिला गोल्ड मेडल शुरुआती दौर में डेंटिस्ट में करियर बनाने वाली मुद्रा ने बीडीएस की पढ़ाई में बेहतरीन परफॉर्म करते हुए गोल्ड मेडल प्राप्त किया. यह उनके दिल के करीब एक सपने को पूरा होने जैसा था. लेकिन उनके पिता का सपना था कि वह भारतीय प्रशासनिक सेवा में जाएं. उनके पिता अरुण गैरोला खुद भी आईएएस अधिकारी बनने की आकांक्षा रखते थे, लेकिन वर्ष 1973 में अपने प्रयास के दौरान असफल हो गए. पिता के अधूरे सपने को किया पूरा मुद्रा गैरोला (Mudra Gairola) के पिता अपने अधूरे सपने को साकार करने के लिए दृढ़ संकल्पित थे और अपनी बेटी को यूपीएससी परीक्षा देने के लिए प्रोत्साहित किया. शुरुआती असफलताओं के बावजूद मुद्रा ने डटे रहने का फैसला किया. वर्ष 2018 में मुद्रा इंटरव्यू राउंड तक पहुंची लेकिन सफलता हाथ नहीं लगी. इसके बाद वह आखिरकार वर्ष 2021 की परीक्षा में सफल हुईं और 165वीं रैंक हासिल की और IPS Officer बन गईं. मुद्रा गैरोला की सफलता दृढ़ता और फैमिली सपोर्ट की पावर का सर्टिफिकेट है. यह पुस्तक अपने सपनों को पूरा करने के साथ-साथ अपने से पहले आए लोगों की आकांक्षाओं को आगे बढ़ाने के गहन प्रभाव को रेखांकित करती है. उनकी कहानी देशभर के उम्मीदवारों के लिए आशा और प्रेरणा की किरण के रूप में गूंजती है. ये भी पढ़ें… गैस सिलेंडर उठाने का करता था काम, 350 रुपये थी रोजाना दिहाड़ी, जेईई एग्जाम किया क्रैक, अब यहां से कर रहा पढ़ाई सिडबी बैंक में नौकरी पाने का शानदार मौका, नहीं देनी है कोई लिखित परीक्षा, बढ़िया है मंथली सैलरी Tags: IAS Officer, IPS Officer, Success Story, UPSCFIRST PUBLISHED : July 19, 2024, 16:12 IST jharkhabar.com India व्हॉट्सऐप चैनल से जुड़ें
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