नेवी को मिली K-4 मिसाइल घड़ियाल की तरह समंदर में छिपकर तबाह कर देगी बीजिंग!
नेवी को मिली K-4 मिसाइल घड़ियाल की तरह समंदर में छिपकर तबाह कर देगी बीजिंग!
भारतीय नौसेना ने आईएनएस अरिघात सबमरीन से के-4 बैलेस्टिक मिसाइल का परीक्षण किया है. यह भारतीय नौसेना के लिए एक बेहद अहम परीक्षण है. इस मिसाइल की रेंज करीब 3000 किमी है.
नीले समुद्र में भारतीय नौसेना की ताकत में जबरदस्त इजाफा हुआ है. वह न्यूक्लियर डेटेरेंस की दिशा में तो आगे बढ़ ही रही है. उसी कड़ी में देश की दूसरी न्यूक्लियर सबमरीन अरिघात नौसेना में शामिल की गई है. इस सबमरीन से 3500 किलोमीटर की रेंज वाली सबमरीन लॉन्च बैलेस्टिक मिसाइल K-4 का सफल परिक्षण हुआ है. इसे बंगाल की खाड़ी में विशाखापindia त्तनम के पास से लॉन्च किया गया. परीक्षण में ये मिसाइल अपनी सभी तय मानकों पर खरी उतरी. हालांकि इस लॉन्च की आधिकारिक जानकारी साझा नहीं की गई है.
रिपोर्ट के मुताबिक इस टेस्ट के लिए पहले से ही नोटम (NOTAM) यानी नोटिस टू एयरमैन जारी किया गया था. ये एक चेतावनी होती है जो कि उस इलाके से उड़ान भरने वाले सिविल या मिलिट्री एयरक्राफ्ट के लिए जारी की जाती है. पहली बार इस मिसाइल को सबमरीन से फायर किया गया. 2010 में इसका डेवलपमेंट ट्रायल किया गया था. उसके बाद से आधा दर्जन से ज्यादा सफल टेस्ट किए जा चुके हैं. 10 मीटर लंबा 20 टन वजनी इस मिसाइल से एक टन पैलोड को 3500 किलोमीटर तक दागा जा सकता है.
फिलहाल सबमरीन से दागे जाने वाली मिसाइलों में शार्ट रेंज बैलेस्टिक मिसाइल K-15 मौजूद है जो कि आईएनएस अरिंहत में लगी है. इसकी रेंज 750 किलोमीटर है. दूसरी मीडियम रेंज बैलिस्टिक मिसाइल K-4 है जिसकी रेंज 3500 किलोमीटर है. इसके अलावा डीआरडीओ इंटर कॉन्टिनेंटल बैलेस्टिक मिसाइल K-5 पर काम कर रही है. इसकी रेंज 5000 किलोमीटर से ज्यादा होगी.
K-4 की जद में बीजिंग और इस्लामाबाद
कोलकाता से बीजिंग की हवाई दूरी तकरीबन 3277 किलोमीटर है. अगर बंगाल की खाड़ी से लॉन्च किया जाए तो ये चीन के मेनलैंड, दक्षिण और वेस्टर्न इलाकों तक आसानी से पहुंच सकती है और जरूरत पड़े तो ये सीधा बीजिंग को भी हिट कर सकती है. वहीं मुंबई से इस्लामाबाद का एरियल डिस्टेंस 1600 किलोमीटर है और अरब सागर में इसे कहीं से भी लॉन्च किया जाए तो ये पाकिस्तान की राजधानी को तहस नहस कर सकती है. खास बात ये है कि इसे आईएनएस अरिघात से लॉन्च किया गया है. यह सबमरीन लंबे समय तक पानी के नीचे ऑपरेट कर सकती है. ये 50 दिन से ज्यादा पानी के अंदर रह सकती है. मतलब ये कि चीनी जासूसी उपकरणों की नजरों से बच कर आसानी से ये मूव कर सकता है.
आईएनएस अरिघात 700 किलोमीटर मार करने वाली 12-15 सबमरीन लॉन्च बैलेस्टिक मिसाइलों और न्यूक्लियर कैपेबल निर्भया मिसाइलों को ऑपरेट कर सकती है. साथ ही छह टॉरपीडो भी लेकर डाइव लगा सकती है. एटीवी प्रोजेक्ट के तहत कुल चार बैलेस्टिक मिसाइल न्यूक्लियर पावर्ड सबमरीन बनाने का प्लान था. इसमें से कुल दो सबमरीन अरिहंत और अरिघात आ चुकी है.
Tags: Indian navyFIRST PUBLISHED : November 28, 2024, 14:42 IST jharkhabar.com India व्हॉट्सऐप चैनल से जुड़ें Note - Except for the headline, this story has not been edited by Jhar Khabar staff and is published from a syndicated feed