PTI Fact Check: लोकसभा चुनाव के बीच सोशल मीडिया पर 13 सेकेंड का एक वीडियो क्लिप वायरल हो रहा है. इसे शेयर कर दावा किया जा रहा है कि उत्तर प्रदेश के कौशाम्बी के मानिकपुर मीरगढ़वा में भारतीय जनता पार्टी को वोट न देने के कारण बीजेपी कार्यकर्ताओं ने दलित समुदाय के लोगों की पिटाई कर दी.
पीटीआई फैक्ट चेक डेस्क ने वायरल दावे की पड़ताल की, जिसमें यह फर्जी निकला. दरअसल, प्रतापगढ़ जिले के मानिकपुर थाना क्षेत्र स्थित एक गांव में बिजली के खंभे पर पेड़ की टहनी गिरने से बिजली का तार टूट गया था, जिसे लेकर दो पक्षों में विवाद हुआ. सोशल मीडिया पर कुछ यूजर अब इसी घटना के सीसीटवी फुटेज को फर्जी दावे के साथ शेयर कर रहे हैं.
फेसबुक यूजर राधेश्याम दरोगा ने 13 सेकेंड का क्लिप शेयर कर दावा किया कि बीजेपी को वोट न देने पर कार्यकर्ताओं ने दलित समुदाय के लोगों की बेरहमी से पिटाई की.
20 मई को वीडियो शेयर करते हुए यूजर ने लिखा, “कौशाम्बी के मानिकपुर मीरगढ़वा में BJP को वोट न देने पर बौखलाए भाजपा कार्यकर्ताओं ने दलित समाज के लोगों की बेरहमी से पिटाई कर दी. बाबा साहब के वंशजों के साथ भाजपाइयों का ये व्यवहार अभी से इस तरह का है अगर भाजपा एक बार फिर सत्ता में आ गई तो संविधान को खत्म कर दलित समाज के लोगों से वोट का अधिकार ही छीन लेगी! भाजपा हटाओ, संविधान बचाओ.”
फैक्ट चेक
पीटीआई की फैक्ट चेक टीम ने वीडियो पड़ताल करते हुए सबसे पहले वीडियो के कीफ्रेम्स को गूगल लेंस के जरिए रिवर्स सर्च किया. इस दौरान यह वीडियो उत्तर प्रदेश कांग्रेस और भारत समाचार के सोशल मीडिया अकाउंट पर भी मिला. इसमें बताया गया कि समाजवादी पार्टी प्रत्याशी ने मामले की शिकायत चुनाव आयोग से की.
पड़ताल के दौरान हमें न्यूज चैनल ‘भारत समाचार’ की ‘एक्स’ पोस्ट पर प्रतापगढ़ पुलिस की प्रतिक्रिया मिली, जिसमें उन्होंने वायरल वीडियो को फर्जी बताया तथा इस संबंध में स्पष्टीकरण जारी किया.
पुलिस के मुताबिक, मामला जनपद प्रतापगढ़ के थाना मानिकपुर क्षेत्रान्तर्गत ग्राम रम्मा का पुरवा से संबंधित है. इसमें बताया गया कि 18 मई की शाम में ठेकेदार द्वारा प्रथम पक्ष से खरीदे गये पेड़ को काटा गया था, जिसकी एक डाल ग्राम रम्मा का पुरवा निवासी द्वितीय पक्ष के घर के सामने स्थित बिजली के खंभे पर गिर गया, जिसकी बिजली का तार जमीन पर टूटकर गिर गया. दूसरे पक्ष द्वारा बिजली का तार ठीक कराने हेतु कहे जाने पर दोनों पक्षों के बीच विवाद हो गया. इसका चुनाव से कोई लेना-देना नहीं है.
इस संबंध में प्रतापगढ़ पुलिस के अपर पुलिस अधीक्षक (पश्चिम) संजय राय ने सोशल मीडिया पर एक बाइट भी साझा की. उन्होंने कहा, “थाना मानिकपुर पर दिनांक 18 मई को ठेकेदार अरविंद पटेल और राम नरेश के बीच में तीन पेड़ काटने का सौदा हुआ था, जिसमें दो पेड़ कट चुके थे और एक गूलर का पेड़ कट कर पास में खंभे के तार पर गिर गया, तार टूट गया और खंभा क्षतिग्रस्त हो गया. खंभा उदय प्रकाश शुक्ला के घर के पास था. अरविंद ठेकेदार ने रामधीन सोनकर (लकड़ी काटने वाली मशीन का संचालक) को बुलवाया और इसमें यह बात तय हुआ है कि लाइनमैन को बुलाकर उसको 10 हजार रुपये देकर तार और खंभा ठीक करवाया जाएगा. आपसी समझौते के बाद दोनों पक्ष चले गए. आज दिनांक 20 मई को उदय प्रकाश शुक्ला, रामधीन सोनकर के घर के पास कथा करने गये थे. उसी बात को लेकर आपस में फिर से कहासुनी और मारपीट हुई. दोनों पक्षों को थाने पर लाया गया और कार्रवाई की जा रही है. किसी को मतदान से नहीं रोका गया है. मतदान से रोके जाने का दावा गलत है.”
पड़ताल को आगे बढ़ाते हुए फैक्ट चेक टीम ने संबंधित कीवर्ड्स की मदद से इससे जुड़ी मीडिया रिपोर्ट्स ढूंढने की कोशिश की. इस दौरान ‘लाइव हिंदुस्तान’ की वेबसाइट पर एक खबर मिली, जिसमें बताया गया कि मानिकपुर पंचायत में गूलर का पेड़ काटने के दौरान बिजली का खंभा टूटने को लेकर दो पक्षों में मारपीट हो गयी. रिपोर्ट में पुलिस के हवाले से बताया गया है कि इसमें कोई चुनावी एंगल नहीं है. इसे फर्जी तरीके से फैलाया जा रहा है.
PTI की पड़ताल से यह साफ है कि सोशल मीडिया पर वायरल हो रहे वीडियो का चुनाव से कोई संबंध नहीं है. यह वीडियो बिजली के खंभे पर पेड़ की टहनी गिरने से बिजली का तार टूटने को लेकर दो पक्षों के बीच हुए विवाद से जुड़ा है.
Tags: Fact Check, Fake news, Latest viral video, Loksabha ElectionsFIRST PUBLISHED : May 28, 2024, 19:30 IST jharkhabar.com India व्हॉट्सऐप चैनल से जुड़ें Note - Except for the headline, this story has not been edited by Jhar Khabar staff and is published from a syndicated feed