रात में कैसे बढ़ जाता वोटिंग प्रतिशत EC ने राहुल गांधी को दिया जवाब
मुख्य चुनाव आयुक्त ने कांग्रेस नेता राहुल गांधी के हर सवाल का जवाब दिया है. ये भी बताया कि वोटिंग का आंकड़ा कैसे जुटाया जाता है. मतदान के दौरान 5 से 7 बजे के बीच क्या होता है? रात में अचानक वोटिंग प्रतिशत कैसे बढ़ जाता है.
कैसे जुटाया जाता आंकड़ा?
इसके बाद चुनाव आयुक्त ने वोटिंग प्रतिशत इकट्ठा करने का तरीका बताया. राजीव कुमार ने कहा, मतदान के दिन सुबह 11:30 बजे, 01:30 बजे , 03:30 बजे और 05:30 बजे सेक्टर मजिस्ट्रेट सभी पोलिंग बूथ पर जाते हैं. वहां से ट्रेंड कलेक्ट करते हैं. अगर 10.5 लाख बूथ से बिना किसी कनेक्शन डाटा इकट्ठा किया जाता है. ऐसे में 6 बजे मतदान मतदान का फाइनल आंकड़ा कैसे आ सकता है? अगर हम इसे इलेक्ट्रॉनिक डिवाइस से कनेक्ट करके इकट्ठा करेंगे, तो आप कहेंगे, ईवीएम हैक हो गया.
5 से 7 बजे के बीच क्या होता है?
मुख्य चुनाव आयुक्त ने बताया कि 5 से 7 बजे के बीच क्या होता है. प्रिसाइडिंग ऑफिसर अंदर पहुंच चुके वोटर्स को एक टोकन देते हैं. सबको भरोसा दिलाते हैं कि आपका वोट जरूर दर्ज होगा. वोटिंग खत्म होने के बाद मशीन को सील करते हैं. बैटरी को सील करते हैं. तमाम फार्म बनाते हैं, इनमें से 17C महत्वपूर्ण है. सारा फार्म हाथ से लिखा जाता है. फिर इसे एजेंट के हाथ में देते हैं. सोचिए 10.5 लाख बूथ पर अगर चार एजेंट भी हों तो 42 लाख फार्म 17C बनाने पड़ते हैं. महाराष्ट्र में एक लाख बूथ थे. यानी वहां भी 4 लाख से ज्यादा 17C फार्म भरने पड़े थे. ये सारा भरने के बाद ही पोलिंग ऑफिसर वहां से निकलते हैं. आप सोचिए कैसे संभव है. 7 बजे तक वोटिंग हो रही है और तुरंत एग्जेक्ट डाटा आ जाए. असंभव सी बातें हैं.
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