बागपत में है 5000 साल पुराना शिव मंदिर सावन में लगती है श्रद्धालुओं की भीड़

First Sawan Somwar 2024: बागपत में भगवान शिव का 5000 साल पुराना एक ऐतिहासिक मंदिर है. इस मंदिर का निर्माण ग्रामीणों और ऋषि मुनियों द्वारा कराया गया था. इस मंदिर की स्थापना के पहले यहां भंडारे ऋषि और तूफानपुरी महाराज पहुंचकर मंदिर में पूजा अर्चना की थी.

बागपत में है 5000 साल पुराना शिव मंदिर सावन में लगती है श्रद्धालुओं की भीड़
बागपत: देश में आज से सावन का महीना शुरू हो गया है. ऐसे में उत्तर प्रदेश के बागपत में भगवान शिव का 5000 वर्ष पुराना ऐतिहासिक मंदिर की अलग परंपरा है. इस मंदिर का निर्माण ग्रामीण और ऋषि मुनियों द्वारा कराया गया था, यहां पर भंडारा कराने के लिए ऋषि और तूफानपुरी महाराज पहुंचे थे, जिन्होंने यहां पर पूजा अर्चना कर इस मंदिर की स्थापना की थी. उस समय इस गांव में अकाल पड़ा था और मंदिर स्थापना के बाद यहां सुख शांति का माहौल हो गया और मेल मिलाप से लोग रहने लगे. इस मंदिर की मान्यता है कि जो भी सच्चे मन से यहां पूजा अर्चना करता है, उसकी मुराद जरूर पूरी होती है. 5 हजार साल पहले हुई थी मंदिर की स्थापना बागपत के ढिकोली गांव में भगवान शिव का प्राचीन मंदिर है. मंदिर के मुख्य पुजारी सोमनाथ महाराज ने बताया कि यहां गांव में 5000 वर्ष पूर्व विकट अकाल पड़ा था. तभी यहां दो महाराज पहुंचे थे, जिनका नाम भांडे ऋषि और तूफानपुरी महाराज था, दोनों ऋषियों ने यहां पर यज्ञ तपस्या और पूजा पाठ का आयोजन किया. इसके बाद यहां पर मंदिर की स्थापना की गई. पुजारी ने बताया कि मंदिर की स्थापना के बाद से यहां गांव में सुख शांति समेत अन्य समस्याओं और लोगों के कष्टों का निवारण हुआ. इस मंदिर की मान्यता तभी से अब तक बढ़ती जा रही है और लगातार लोग इस मंदिर में पहुंचकर पूजा अर्चना करते हैं. मंदिर में बड़ी संख्या में पहुंचते हैं श्रद्धालु मंदिर के पुजारी ने बताया कि यह भक्तों की आस्था का बड़ा केंद्र बन चुका है.  यहां की मान्यता है कि अगर किसी ने मंदिर में भी सच्चे मन से पूजा अर्चना की. उसकी सभी मनोकामनाएं पूर्ण होती है. यहां पूजा-अर्चना करने के लिए देश के प्रत्येक कोने से लोग पहुंचते हैं. इस मंदिर में सभी देवी देवताओं की मूर्तियां मौजूद हैं. यहां पर लगातार पूजा अर्चना और यज्ञ का आयोजन किया जाता है. यहां बड़े-बड़े ऋषि मुनि पहुंचकर पूजा अर्चना करते हैं. Tags: Baghpat, Baghpat news, Local18FIRST PUBLISHED : July 22, 2024, 10:23 IST jharkhabar.com India व्हॉट्सऐप चैनल से जुड़ें
Note - Except for the headline, this story has not been edited by Jhar Khabar staff and is published from a syndicated feed