Agusta Westland Case: रिटायर्ड ब्रिगेडियर वीएस सैनी को बड़ी राहत CBI ने 7 साल बाद बंद किया केस

बहुचर्चित अगस्ता वेस्टलैंड मामले में आरोपों का सामने कर रहे रिटायर्ड ब्रिगेडियर वीएस सैनी को बड़ी राहत मिली है. सीबीआई ने कोई सबूत नहीं मिलने के बाद उनके खिलाफ जुड़े केस को 7 साल बाद बंद कर दिया है.

Agusta Westland Case: रिटायर्ड ब्रिगेडियर वीएस सैनी को बड़ी राहत CBI ने 7 साल बाद बंद किया केस
हाइलाइट्सबहुचर्चित अगस्ता वेस्टलैंड मामले में रिटायर्ड ब्रिगेडियर वीएस सैनी को बड़ी राहत7 साल बाद सीबीआई ने बंद किया केस नई दिल्ली. बहुचर्चित अगस्ता वेस्टलैंड मामले में आरोपों का सामना कर रहे रिटायर्ड ब्रिगेडियर वीएस सैनी को बड़ी राहत मिली है. रिश्वतखोरी के आरोपों का समर्थन करने वाले कोई सबूत नहीं मिलने के बाद सीबीआई ने एक सेवानिवृत्त ब्रिगेडियर के खिलाफ अगस्ता वेस्टलैंड वीवीआईपी हेलीकॉप्टर से जुड़े भ्रष्टाचार के मामले को 7 साल बाद आखिरकार बंद कर दिया है. साल 2010 में लाइट यूटिलिटी हेलीकॉप्टर के फील्ड परीक्षण के दौरान ब्रिटेन स्थित कंपनी का कथित रूप से पक्ष लेने के मामले में कड़ी पूछताछ का सामना करने वाले सेना की एविएशन शाखा से संबंधित रहे ब्रिगेडियर (अवकाशप्राप्त) वीएस सैनी को मामला बंद होने से आखिरकार राहत मिल गई. अधिकारियों ने बताया कि सैनी पर 2010 में हुए फील्ड मूल्यांकन परीक्षण के दौरान कथित बिचौलिए क्रिश्चियन मिशेल जेम्स से कंपनी का पक्ष लेने के बदले में रिश्वत मांगने का आरोप था. संपर्क करने पर सैनी ने यह कहते हुए कोई टिप्पणी करने से इनकार कर दिया कि वह सिर्फ अपने आसपास सकारात्मक विचार चाहते हैं. अधिकारियों ने बताया कि यह मामला दशकों पुराने चेतक और चीता हेलीकॉप्टरों के बेड़े को बदलने के लिए टोही और निगरानी अभियानों के लिए सेना की उड्डयन शाखा द्वारा 197 लाइट यूटिलिटी हेलीकॉप्टरों की आवश्यकता से संबंधित था. रिटायर्ड ब्रिगेडियर वीएस सैनी पर बड़ा आरोप वीएस सैनी की उड्डयन शाखा ने 24 जुलाई, 2008 को प्रस्ताव के लिए अनुरोध (आरएफपी) जारी किया था, जिसके लिए तीन कंपनियों – ब्रिटेन स्थित अगस्तावेस्टलैंड, फ्रांस स्थित यूरोकॉप्टर और रूस स्थित रोसोबोरोनोएक्सपोर्ट्स ने प्रतिक्रिया दी थी और तकनीकी एवं वाणिज्यिक प्रस्ताव प्रस्तुत किए थे. यह आरोप लगाया गया था कि ब्रिगेडियर सैनी ने परीक्षण टीम के प्रभारी अधिकारी के रूप में कंपनी द्वारा आरएफपी में उल्लिखित हेलीकॉप्टर से इतर अगस्ता वेस्टलैंड हेलीकॉप्टर की एक अलग किस्म की भागीदारी की अनुमति दी थी और उन्होंने तीन फरवरी 2010 को अस्त्र उपकरण (डब्ल्यूई) निदेशालय को अगस्ता वेस्टलैंड के पक्ष में एक पत्र भी लिखा था. पत्र में उल्लेख किया गया था कि निर्णय लेने की प्रक्रिया में कुछ समय लग सकता है जिससे अगस्ता वेस्टलैंड हेलीकॉप्टर के मूल्यांकन में देरी हो सकती है. अधिकारियों ने कहा कि डब्ल्यूई निदेशालय से कोई प्रतिक्रिया नहीं मिलने पर पूरी परीक्षण टीम ने सर्वसम्मति से परीक्षण के साथ आगे बढ़ने का फैसला किया था और यह ब्रिगेडियर सैनी का स्वतंत्र निर्णय नहीं था. ये भी पढ़ें:  CBI Raid on Cyber Crime : साइबर क्राइम पर CBI की नकेल, ऑपरेशन चक्र में देशभर की 105 जगहों पर छापे सीबीआई की जांच वाले वीवीआईपी हेलीकॉप्टर सौदे के भ्रष्टाचार के एक अलग मामले में संयुक्त अरब अमीरात (यूएई) से लाए गए मिशेल ने केंद्रीय एजेंसी द्वारा की गई पूछताछ में सैनी द्वारा मांगी गई कथित रिश्वत के बारे में कोई भी जानकारी होने से इनकार किया था. सीबीआई ने रक्षा मंत्रालय के एक निदेशक के पत्र के आधार पर 12 जून 2013 को प्राथमिक जांच दर्ज की थी और लगभग सात महीने बाद तीन जनवरी 2014 को इसे प्राथमिकी में बदल दिया था. अधिकारियों ने कहा कि सीबीआई को उक्त दस्तावेज में उल्लिखित रिश्वत की मांग की पुष्टि करने के लिए कोई अन्य दस्तावेजी या मौखिक साक्ष्य नहीं मिला, जिसके परिणामस्वरूप पिछले साल मामला बंद हो गया. उन्होंने कहा कि अदालत ने भी निष्कर्षों को स्वीकार कर लिया है. ब्रेकिंग न्यूज़ हिंदी में सबसे पहले पढ़ें up24x7news.com हिंदी| आज की ताजा खबर, लाइव न्यूज अपडेट, पढ़ें सबसे विश्वसनीय हिंदी न्यूज़ वेबसाइट up24x7news.com हिंदी| Tags: Agusta westland, CBIFIRST PUBLISHED : October 25, 2022, 20:12 IST