देश के लाखों कारोबारियों को GST के बाद भी वैट से जुड़े पुराने विवाद से क्यों नहीं मिल पा रहा छुटकारा

देश में जीएसटी (GST) लागू हुए काफी समय हो गया है, लेकिन लाखों कारोबारियों (Businessmen) को वैट से जुड़े पुराने विवाद (VAT Dispute) से अभी तक छुटकारा नहीं मिल पा रहा है. जीएसटी पूर्व के यानी 1 जुलाई 2017 के पहले के वाणिज्य कर (Commercial Tax) से संबंधित विवाद का निपटारा नहीं होने से दिल्ली- एनसीआर (Delhi-NCR) सहित देश के लाखों कारोबारी परेशान हैं.

देश के लाखों कारोबारियों को GST के बाद भी वैट से जुड़े पुराने विवाद से क्यों नहीं मिल पा रहा छुटकारा
नई दिल्ली. देश में जीएसटी (GST) लागू हुए काफी समय हो गया है, लेकिन लाखों कारोबारियों (Businessmen) को वैट से जुड़े पुराने विवाद (VAT Dispute) से अभी तक छुटकारा नहीं मिल पा रहा है. जीएसटी पूर्व के यानी 1 जुलाई 2017 के पहले के वाणिज्य कर (Commercial Tax) से संबंधित विवाद का निपटारा नहीं होने से दिल्ली- एनसीआर (Delhi-NCR) सहित देश के लाखों कारोबारी परेशान हैं. अगर राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र दिल्ली-एनसीआर की बात करें तो करीब 10, 000 हजार कारोबारी वैट से जुड़े विवाद से परेशान हैं. एक हजार व्यापारियों के तो पिछले कई सालों से खाते सील हो रखे हैं. हालांकि, समय-समय पर कई राज्य सरकारें जैसे बिहार जैसे राज्यों ने 35 फीसदी रकम जमा कर विवाद का एकमुश्त निपटारा का प्लान भी तैयार किया, लेकिन किसी कारण अभी तक यह लागू नहीं हो सका है. ऐसे में सवाल यह उठता है कि जब जीएसटी लागू हो गया है तो फिर वैट से जुड़े विवाद का निपटारा में क्या दिक्कतें आ रही हैं? दिल्ली के लक्ष्मी नगर के कारोबीर मनोज बंसल कहते हैं, मेरे कंपनी का खाता पिछले 7 सालों से सीज हो रखा है. मेरे जैसे दिल्ली में तकरीबन 1 हजार कारोबारी हैं, जिनको यह समस्या है. हमने कई बार लिख कर दिया है कि अब जीएसटी लागू हो गया है और हमलोग जीएसटी भुगतान कर कारोबार कर रहे हैं. सबकुछ ऑनलाइन है तो अब तो हमारे पुराने विवाद को सुलझा दिया जाए. मेरी सरकार से मांग है कि वैट से जुड़े विवाद का निस्तारण के लिए एक स्कीम लाई जाए, जिससे पुराने विवाद का खत्म किया जाए. दिल्ली-एनसीआर के करीब 10, 000 हजार कारोबारी वैट से जुड़े विवाद से परेशान हैं. (फाइल फोटो) वैट से जुड़े विवाद का हल कब होगा? गौरतलब है कि दिल्ली के 10 हजार से भी ज्यादा कारोबारी वैट से जुड़े वाद में फंसे हुए हैं. इनमें तकरीबन 1 हजार व्यापारियों के खाते पिछले कई सालों से सीज किए गए हैं. जीएसटी लागू हुए भी लगभग 5 साल हो गए हैं. ऐसे में इन व्यापारियों की मांग है कि केंद्र सरकार वैट से जुड़े मामलों को खत्म करने के लिए कोई एकमुश्त स्कीम ले कर आए, जिसमें लोक अदालतों जैसी कार्यवाही हो और न्यूनतम पेनाल्टी लगा कर इन वादों को खत्म कर दिया जाए. वैट से जुड़े क्या हैं विवाद? देश के कई राज्यों में व्यापारी वैट से जुड़े विवाद से परेशान हैं. वैट से जुड़े विवाद को हल करने के लिए पिछले साल बिहार सरकार ने कराधन समाधान विधेयक 2021 को विधानसभा ने पास भी कर दिया. इसमें वैट से संबंधित विवाद के निपटारे के लिए सरकार ने एकमुश्त समाधान योजना लाई गई. इसके लिए सरकार बिहार कराधान विवादों का समाधान-2 अध्यादेश 2020 लाई थी. देश के कई राज्यों में व्यापारी वैट से जुड़े विवाद से परेशान हैं. (सांकेतिक तस्‍वीर) ये भी पढ़ें: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और लालू यादव के बड़े लाल तेज प्रताप यादव शेयर करेंगे कल एक मंच, जानें वजह इन व्यापारियों की चिंता इस बात की भी है कि सालों से इनके खाते सीज हैं, जिससे इनका लेन-देन रुक गया है. व्यापारियों का एक समूह बहुत जल्द ही वित्त मंत्रालय में एक ज्ञापन देगी और सरकार से इस पर जल्द से जल्द कार्रवाई करने की मांग करेगी. ब्रेकिंग न्यूज़ हिंदी में सबसे पहले पढ़ें up24x7news.com हिंदी | आज की ताजा खबर, लाइव न्यूज अपडेट, पढ़ें सबसे विश्वसनीय हिंदी न्यूज़ वेबसाइट up24x7news.com हिंदी | Tags: Bank account, Business news, Delhi news live, Gst news, Modi government, TaxFIRST PUBLISHED : September 22, 2022, 16:00 IST