आखिर क्यों घट रही राजकीय पक्षी सारस की संख्या वन विभाग चिंतित 

सारस पक्षी ज्यादातर नम भूमि वाले खेतों सीपेज इलाके में वह तालाबों के अलावा वेटलैंड और झीलों के किनारे पाए जाते हैं. अपेक्षा के अनुसार इनकी संख्या न बढ़ने का सबसे बड़ा कारण खेतों में बड़ी मात्रा में कीटनाशक दवाइयां का इस्तेमाल है. इसकी वजह से अनाज और पानी विषैला हो रहा है, जो सारस की वृद्धि में बाधक है.

आखिर क्यों घट रही राजकीय पक्षी सारस की संख्या वन विभाग चिंतित 
बाराबंकी: जिले में पड़ रही भीषण गर्मी का असर राजकीय पक्षी सारस को भी प्रभावित कर रहा है. पिछले साल हुई गणना में जहां 298 सारस दिखे थे. वहीं, इस साल इनकी संख्या 257 रही. 41 सारस की कमी से बाराबंकी वन विभाग चिंतित है. इस बार जिले में पड़ रही भीषण गर्मी से पारा 46 डिग्री से अधिक रहा है. जबकि पिछले साल 40 डिग्री तक ही रहा था. हालांकि, गणना के दौरान अभी तक सारस पक्षियों के मरने के साक्ष्य नहीं मिले हैं. समझा जा रहा है कुछ पक्षी सीमावर्ती जिलों में चले गए होंगे. मौसम नम होते ही वापस आ जाएंगे. फिर भी जो संख्या सारस की जिले में पाई गई है. वह अन्य जिलों की तुलना में अच्छी मानी जा रही है. सारस पक्षी ज्यादातर नम भूमि वाले खेतों सीपेज इलाके में वह तालाबों के अलावा वेटलैंड और झीलों के किनारे पाए जाते हैं. अपेक्षा के अनुसार इनकी संख्या न बढ़ने का सबसे बड़ा कारण खेतों में बड़ी मात्रा में कीटनाशक दवाइयां का इस्तेमाल है. इसकी वजह से अनाज और पानी विषैला हो रहा है, जो सारस की वृद्धि में बाधक है. 2023 में हुई ग्रीष्मकालीन गणना में जिले में 298 सरस दिखाई दिए थे. इस बार इनकी संख्या घटकर 257 हो गई है. डीएफओ आकाशदीप ने बताया कि वन विभाग की ओर से हर वर्ष जाड़े व गर्मी के दिनों में राजकीय पक्षी सारस की गणना कराई जाती है. इस दौरान 210 सरस दिखे, तो वहीं दूसरे दिन इनकी संख्या बढ़ कर 257 ही दिखाई दी. गणना के दौरान सभी पक्षियों की डिजिटल फोटोग्राफी भी कराई गई है. दो दिनों की गणना में जो संख्या बढ़ी होती है, वही गणना सही मानी जाती है. इसलिए जिले में माना जायेगा कि इस समय 257 सारस पक्षी मौजूद हैं, जो उनकी संख्या घटी है. इसका मुख्य कारण हो सकता है कि गर्मी की वजह से ये दूर नदी व तालाबों के किनारे चले जाते हैं जिससे इनकी संख्या में कमी आ जाती है. Tags: Barabanki News, Local18, UP newsFIRST PUBLISHED : June 25, 2024, 16:56 IST jharkhabar.com India व्हॉट्सऐप चैनल से जुड़ें
Note - Except for the headline, this story has not been edited by Jhar Khabar staff and is published from a syndicated feed